क्लीन चिट पर चुनाव आयोग में 'तनातनी', अशोक लवासा की नाराजगी पर CEC सुनील अरोड़ा ने दिया जवाब

By विनीत कुमार | Published: May 18, 2019 01:16 PM2019-05-18T13:16:25+5:302019-05-18T13:21:13+5:30

सुनील अरोड़ा ने लिखा, 'चुनाव आयोग की तीन सदस्यीय समिति से ये उम्मीद नहीं की जाती कि वे एक-दूसरे के क्लोन की तरह काम करेंगे। अंतर हो सकते हैं और ऐसा होना भी चाहिए।'

CEC Sunil Arora on Ashok Lavasa's purported letter says there is time for everything | क्लीन चिट पर चुनाव आयोग में 'तनातनी', अशोक लवासा की नाराजगी पर CEC सुनील अरोड़ा ने दिया जवाब

मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा (फाइल फोटो)

Highlightsचुनाव आयुक्त आशोक लवासा के कथित तौर पर चिट्ठी लिखकर नाराजगी जताने पर सीईसी सुनील अरोड़ा ने दिया जवाबअसहमति की बात पहले भी कई बार हुई है, ऐसा होना चाहिए, मैं कभी बहस से नहीं भागा: सुनील अरोड़ापीएम नरेंद्र मोदी और बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह को आचार संहिता उल्लंघन पर क्लीन चिट देने का है मामला

चुनाव आयुक्त आशोक लवासा के आयोग के बैठक में हिस्सा नहीं लेने और चिट्ठी लिखकर नाराजगी जताने पर मचे विवाद के बाद मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा का जवाब सामने आया है।

सीईसी सुनील अरोड़ा ने अशोक लवासा के कथित चिट्ठी के जवाब में लिखा है कि वे कभी किसी बहस से नहीं भागे लेकिन हर चीज का एक समय होता है। साथ ही सुनील अरोड़ा ने कहा कि ऐसा पहले भी कई बार हुआ है जब आयोग के तीन सदस्यों के मत किसी मसले पर अलग-अलग रहे और ऐसा होना भी चाहिए।

सुनील अरोड़ा ने लिखा, 'चुनाव आयोग की तीन सदस्यीय समिति से ये उम्मीद नहीं की जाती कि वे एक-दूसरे के क्लोन की तरह काम करेंगे। कई ऐसे मौके पूर्व में आये हैं जब मत में बहुत अधिक अतंर रहा। ऐसा हो सकता है और ऐसा होना भी चाहिए।'

सुनील आरोड़ ने साथ ही लिखा, 'हालांकि, ये सारी बातें कार्यालय में रहने तक कई हद तक दायरे में रहीं जब तक कि संबंधित ईसी/ सीईसी ने किसी किताब में इसका जिक्र नहीं किया। मैं व्यक्तिगत तौर पर कभी किसी पब्लिक डिबेट से नहीं भागा लेकिन हर चीज का एक समय होता है।'

मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा ने एक बयान भी जारी किया और कहा, 'एक गैरजरूरी और टाले जा सकने वाले विवाद को मीडिया में आज रिपोर्ट किया गया, जिसमें चुनाव आयोग के आंतरिक कामकाज की बात की गई। यह बातें ऐसे समय में आई हैं जब सभी सातवें और आखिरी चरण के चुनाव की तैयारी में जुटे हैं।' 

जानिए, क्या है विवाद

ऐसी खबरें आई हैं कि आचार संहिता मामले पर पीएम नरेंद्र मोदी को क्लीनचिट देने पर असहमति जताने वाले चुनाव आयोग के सदस्य अशोक लवासा ने आयोग की बैठकों में शामिल नहीं से इनकार किया है। रिपोर्ट्स के अनुसार अशोक लवासा ने पीएम मोदी और अमित शाह के क्लीन चिट पर असहमति जताई थी। उनकी नारजगी असहमति को 'ऑनरिकॉर्ड' नहीं रखे जाने की है। उन्होंने हाल ही में मुख्य चुनाव आयुक्त को एक पत्र लिखकर कहा है कि जब तक उनके असहमति वाले मत को ऑन रिकॉर्ड नहीं किया जाएगा तब तक वह आयोग की किसी मीटिंग में शामिल नहीं होंगे।

कांग्रेस ने मोदी सरकार को घेरा

इस विवाद के सामने आने के बाद कांग्रेस ने भी मोदी सरकार पर एक बार फिर निशाना साधा है। कांग्रेस पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने एक खबर शेयर करते हुए ट्वीट किया, 'चुनाव आयोग है या चूक आयोग। लोकतंत्र के लिए एक और काला दिन। चुनाव आयोग के सदस्य ने बैठकों में शामिल होने से इनकार किया। जब चुनाव मोदी-शाह जोड़ी को क्लीनचिट देने में व्यस्त था तब लवासा ने कई मौकों पर असहमति जताई।' 

सुरजेवाला ने दावा किया, 'संस्थागत गरिमा धूमिल करना मोदी सरकार की विशेषता है। सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश सार्वजनिक तौर पर बयान देते हैं, रिजर्व बैंक के गवर्नर इस्तीफा देते हैं, सीबीआई निदेशक को हटा दिया जाता है। सीवीसी खोखली रिपोर्ट देता है। अब चुनाव आयोग बंट रहा है।' सुरजेवाला ने सवाल किया कि क्या चुनाव आयोग अशोक लवासा की असहमति को रिकॉर्ड करके शर्मिंदगी से बचेगा? 

Web Title: CEC Sunil Arora on Ashok Lavasa's purported letter says there is time for everything