बिहार: जदयू प्रमुख ललन सिंह ने कहा, "तेजस्वी यादव सीबीआई से डरने वाले नहीं, मोदी सरकार राजनीतिक शिकार कर रही है"
By आशीष कुमार पाण्डेय | Published: July 4, 2023 01:15 PM2023-07-04T13:15:02+5:302023-07-04T13:17:22+5:30
जदयू प्रमुख ललन सिंह ने सीबीआई द्वारा नौकरी के बदले जमीन घोटाले केस में बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव का नाम आरोप पत्र में शामिल किये जाने पर कहा कि केंद्र सरकार "नौकरी के बदले जमीन" केस में तेजस्वी यादव का राजनीतिक शिकार कर रही है।
पटना:सीबीआई द्वारा नौकरी के बदले जमीन घोटाले केस में बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव सहित अन्य के खिलाफ आरोपपत्र दायर करने के एक दिन बाद राजद के सत्ता की साझेदार जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन सिंह ऊर्फ ललन सिंह ने मंगलवार को केंद्र सरकार पर जमकर हमला किया और कहा कि केंद्र की भाजपा नेतृत्व वाली केंद्र सरकार "नौकरी के बदले जमीन" केस में तेजस्वी यादव का राजनीतिक शिकार कर रही है।
ललन सिंह ने कहा, “इस मामले में सीबीआई की दूसरी चार्जशीट यादव के खिलाफ बिना किसी सबूत के दायर की गई है। सीबीआई ने पहले कहा था कि तेजस्वी यादव के खिलाफ कोई सबूत नहीं है। लेकिन जब राजद और जदयू ने कांग्रेस समेत अन्य दलों के साथ मिलकर अगस्त 2022 में बिहार में महागठबंधन सरकार बना ली तो केंद्र को यह सहन नहीं हुआ और उसने डिप्टी सीएम के खिलाफ अपने 'तोते' (सीबीआई) के साथ-साथ अन्य केंद्रीय जांच एजेंसियों को लगा दिया।''
उन्होंने कहा, “यह सर्वविदित है कि सीबीआई केवल उन लोगों के पीछे जाती है, जो भाजपा के विरोधी हैं। हम सभी जानते हैं कि 23 जून को पटना में विपक्ष की बैठक के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक सार्वजनिक बैठक में कहा था कि एनसीपी के नेता 70,000 करोड़ रुपये के भ्रष्टाचार के मामलों में शामिल हैं। पांच दिन बाद जब एनसीपी नेता शिवसेना (एकनाथ शिंदे) और भाजपा नेतृत्व वाली महाराष्ट्र सरकार का हिस्सा बन गए तो मोदी के लिए सब कुछ ठीक हो गया। वह बहुत से एनसीपी के भ्रष्ट नेताओं को भूल गए।''
जदयू अध्यक्ष ने बेहद तीखे शब्दों में कहा, “इस तरह की राजनीतिक साजिश से पूरे देश में विपक्षी एकता और मजबूत होगी। तेजस्वी यादव न तो सीबीआई के इस कृत्य से और न ही भाजपा नेतृत्व वाली केंद्र सरकार से डरेंगे। मतदाता मोदी सरकार के इन सभी अलोकतांत्रिक कृत्यों को अच्छे से समझती है और लोग 2024 के लोकसभा चुनावों में भगवा पार्टी को करारा जवाब देंगे।”
मालूम हो कि सीबीआई ने बीते सोमवार को दिल्ली की कोर्ट में नौकरी के बदले जमीन घोटाले के केस में तेजस्वी यादव, उनके पिता और पूर्व रेल मंत्री लालू प्रसाद और मां और पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया। सीबीआई के आरोपपत्र में 14 अन्य लोगों के नाम भी शामिल हैं।
वहीं केस में दूसरा आरोप पत्र दाखिल करने के संबंध में सीबीआई अधिकारियों ने कहा कि दूसरा आरोपपत्र इसलिए दाखिल किया गया क्योंकि प्रारंभिक रिपोर्ट दाखिल होने तक आरोपियों की कथित भूमिका की जांच पूरी नहीं हो सकी थी।