देश में 100 शीर्ष ड्रग माफिया सरगनाओं की पहचान कर कार्रवाई शुरू हुई : सरकार

By भाषा | Published: September 5, 2021 01:21 PM2021-09-05T13:21:16+5:302021-09-05T13:21:16+5:30

Action started by identifying 100 top drug mafia gangsters in the country: Government | देश में 100 शीर्ष ड्रग माफिया सरगनाओं की पहचान कर कार्रवाई शुरू हुई : सरकार

देश में 100 शीर्ष ड्रग माफिया सरगनाओं की पहचान कर कार्रवाई शुरू हुई : सरकार

सरकार ने मादक पदार्थों की तस्करी पर लगाम लगाने के लिए चलाए जा रहे अभियान के तहत देश में 100 शीर्ष ड्रग माफिया सरगनाओं की पहचान की है और उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई शुरू की है। संसद के मानसून सत्र के दौरान एन गणेशमूर्ति के प्रश्न के लिखित उत्तर में रसायन एवं उर्वरक मंत्री मनसुख मांडविया ने यह जानकारी दी । मांडविया ने बताया, ‘‘ मादक पदार्थ नियंत्रण ब्यूरो (एनसीबी) के अनुसार, गृह मंत्रालय ने शीर्ष 100 ड्रग तस्करों/सरगनाओं की पहचान की है और उनके खिलाफ औषधि और मन:प्रभावी पदार्थ अवैध व्यापार (पीआईटीएनडीपीएस) अधिनियम 1988 के तहत कार्रवाई शुरू कर दी है । ’’ उन्होंने बताया कि एनसीबी ने दिसंबर 2019 से पहचान प्रक्रिया शुरू करने के बाद औषधि और मन:प्रभावी पदार्थ अवैध व्यापार संबंधी 25 प्रस्ताव पर काम शुरू कर दिया है और इनमें से 21 प्रस्ताव पर राजस्व विभाग ने निवारक आदेश जारी कर दिया है। सरकार ने संसद में बताया कि सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्रालय ने देश में नशीले पदार्थों के प्रयोग की सीमा और स्वरूप के संबंध में नयी दिल्ली स्थित भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) के माध्यम से एक राष्ट्रीय सर्वेक्षण कराया था। इस सर्वेक्षण में पाया गया कि देश में करीब 16 करोड़ लोग शराब का सेवन करते हैं जिसमें सबसे अधिक उपयोग छत्तीसगढ़, त्रिपुरा, पंजाब, गोवा, उत्तर प्रदेश आदि राज्यों में पाया गया । देश में 3.1 करोड़ लोग भांग, गांजा और चरस का इस्तेमाल करते हैं जिसमें सबसे अधिक इस्तेमाल सिक्किम, नगालैंड, ओडिशा, अरूणाचल प्रदेश, दिल्ली, मिजोरम और हिमाचल प्रदेश में बताया गया है। वहीं, शामक पदार्थों तथा सूंघकर या कश के जरिए लिए जाने वाले मादक पदार्थों का सेवन करने वालों की संख्या 1.18 करोड़ थी । सर्वेक्षण में उत्तेजना पैदा करने वाले मादक पदार्थो का सेवन करने वालों की संख्या 2.26 करोड़ बतायी गई है । कोकीन का सबसे अधिक उपयोग महाराष्ट्र, पंजाब, राजस्थान और कर्नाटक में पाया गया । फोर्टिस अस्पताल के मानसिक स्वास्थ्य व व्यवहार विज्ञान के निदेशक डॉ. समीर पारिख ने ‘भाषा’ से कहा कि नशीले पदार्थों के सेवन की प्रवृत्ति और चलन लगातार बढ़ रहा है और यह खास तौर पर किशोरों के शारीरिक, मानसिक व भावनात्मक विकास पर नकारात्मक प्रभाव डालते हैं और नशे की लत के चलते किशोर आक्रामक हो रहे हैं। पारिख ने कहा कि इसके अलावा यह देखा गया है कि कई ऐसी दर्दनाक घटनाएं हो जाती हैं, जिससे मानसिक तनाव होता है। ऐसी परिस्थिति में भी लोग नशे का सहारा लेने लगते हैं। उन्होंने कहा कि भाग-दौड़ भरी जिंदगी में लोग अपने कार्यों में काफी व्यस्त हैं तथा कई तरह के तनाव का शिकार होने के कारण नशे की लत का शिकार हो जाते हैं । उन्होंने कहा कि लोगों के स्वस्थ जीवनशैली अपनाने की जरूरत है। वहीं, सरकार ने बताया कि 15 अगस्त 2020 में 272 जिलों में नशा मुक्त भारत अभियान शुरू किया गया है। इसके तहत खास तौर पर युवाओं, शैक्षणिक संस्थाओं पर ध्यान दिया जा रहा है।

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Web Title: Action started by identifying 100 top drug mafia gangsters in the country: Government

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