हॉकी वर्ल्ड कप: भारत को क्वॉर्टर फाइनल में 2-1 से हराकर नीदरलैंड्स ने तोड़ा सपना
By विनीत कुमार | Published: December 13, 2018 09:02 PM2018-12-13T21:02:21+5:302018-12-14T07:37:49+5:30
नीदरलैंड्स ने कलिंगा स्टेडियम में खेले गये क्वॉर्टर फाइनल मुकाबले में भारत को 2-1 से हराकर सेमीफाइनल में प्रवेश किया।
भारत के 1975 के बाद एक बार फिर हॉकी वर्ल्ड कप जीतने का सपना टूट गया है। नीदरलैंड्स ने गुरुवार को भुवनेश्वर के कलिंगा स्टेडियम में खेले गये क्वॉर्टर फाइनल मुकाबले में भारत को 2-1 से हराकर सेमीफाइनल में प्रवेश किया।
भारत बिना किसी हार के टूर्नामेंट के क्वॉर्टर फाइनल तक पहुंचा था। टूर्नामेंट में 1971 से अब तक भारत सिर्फ एक बार 1975 में खिताब जीत सका है और उसके बाद से उसका सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 1994 में रहा जब टीम पांचवें स्थान पर रही थी।
बेहद संघर्षपूर्ण क्वॉर्टर फाइनल में पिछले बार की उपविजेता टीम नीदरलैंड्स की ओर से भारत के खिलाफ क्वॉर्टर फाइनल मैच में थिरी ब्रिंकमैन (15वें मिनट) और वेन डेर वीरडन मिंक (50वें मिनट) ने गोल दागे।
वहीं, भारत की ओर से एकमात्र गोल आकाशदीप सिंह ने 12वें मिनट में पेनल्टी कॉर्नर पर किया। नीदरलैंड्स तीन बार (1973, 1990, 1998) में खिताब जीत चुका है। नीदरलैंड्स का सामना अब सेमीफाइनल में 15 दिसंबर को ऑस्ट्रेलिया से होगा।
पहले क्वॉर्टर में जबर्दस्त मुकाबला
दोनों टीमों के बीच पहले क्वॉर्टर से ही कड़ा मुकाबला देखने को मिला। मैच के पहले ही मिनट में नीदरलैंड्स ने धावा बोला पर भारतीय डिफेंडर्स ने उसे आसानी से नाकाम कर दिया। इसके बाद ललित उपाध्याय ने दूसरे मिनट में दाएं ओर से बेहतरीन अटैक किया पर गेंद नीदरलैंड्स के सर्कल में भारतीय स्ट्राइकर के पैर से जा टकराई। एक-दूसरे पर आक्रमण का यह दौर जारी रहा और छठे मिनट में भारत ने बेहद करीबी मौका गंवाया। दरअसल, नीलकंठ शर्मा ने एक अच्छा पास मंदीप सिंह की ओर से बढ़ाया लेकिन वे इसे गोल में बदलने में नाकाम हुए।
भारत ने दागा मैच का पहला गोल
आखिरकार भारतीय स्ट्राइकर्स को पहली सफलता 12वें मिनट में मिली। मैच का पहला पेनल्टी कॉर्नर भारत को मिली औ इस मौके पर कोई गलती नहीं करते हुए आकाशदीप ने भारत को बढ़त दिला दी। टूर्नामेंट में आकाशदीप का यह दूसरा गोल रहा।
हालांकि भारत की ये बढ़त ज्यादा देर तक कायम नहीं रह सकी और पहला क्वॉर्टर खत्म होने से ठीक पहले 15वें मिनट में नीदरलैंड्स के स्ट्राइकर थिरी ब्रिंकमैन ने एक शानदार फील्ड गोल कर स्कोर को 1-1 से बराबरी पर ला दिया।
पहले क्वॉर्टर में दिखे जबर्दस्त एक्शन के बाद दूसरे क्वॉर्टर में भी दोनों टीमों ने पूरा जोर दिखाया लेकिन कोई भी गोल नहीं हो सका। हालांकि, कुछ मौकों पर दोनों टीमों ने जरूर कुछ अच्छे हाथ दिखाये। इस बीच 28वें मिनट में नीदरलैंड्स के खिलाड़ी को फाउल के लिए ग्रीन कार्ड दिखाया गया था और इस कारण उन्हें दो मिनट के लिए मैदान से बाहर जाना पड़ा था।
आखिरी दो क्वॉर्टर में नीदरलैंड्स ने बनाई पकड़
तीसरा क्वॉर्टर भारतीय टीम के लिए सघर्ष वाला रहा और नीदरलैंड्स को तीन पेनल्टी कॉर्नर मिले। लेकिन भारतीय रक्षा-पंक्ति ने किसी भी मौके पर नीदरलैंड्स को मौका नहीं दिया। भारत की मुश्किलें हालांकि चौथे क्वॉर्टर में बढ़ गई जब 50वें मिनट में वेन डेर वीरडन मिंक ने पेनल्टी कॉर्नर पर गोल कर अपनी टीम को 2-1 से आगे कर दिया।
भारत ने इसके बाद बराबरी की कई कोशिशें की लेकिन दबाव के आगे टीम मैच पर अपनी पकड़ गंवाती चली गई। आखिरी दस मिनटों में पूरी तरह से नीदरलैंड्स का दबदबा नजर आया। हालांकि, 55वें मिनट में भारत को एक पेनल्टी कॉर्नर जरूर मिला पर नीदरलैंड्स के गोलकीपर के बचाव के आगे भारतीय खिलाड़ियों को हताश होना पड़ा।
इसके बाद नीदरलैंड्स को 57वें मिनट में पेनल्टी कॉर्नर मिला। भारत के लिए यह खतरे की स्थिति थी क्योंकि टीम पिछले कुछ मिनटों से बिना गोलकीपर के खेल रही थी। हालांकि, भारतीय खिलाड़ियों ने इसका बचाव करते हुए किसी और गोल की संभावना को खत्म किया।