Kanjhawala incident: पीड़िता अंजलि सिंह के घर से एलईडी टीवी, कुछ कपड़े और बर्तन चोरी, परिवार ने कहा-स्कूटी पर पीछे बैठी निधि और आरोपी इस घटना के पीछे
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: January 9, 2023 06:48 PM2023-01-09T18:48:38+5:302023-01-09T18:49:31+5:30
Kanjhawala incident: पीड़िता के परिवार के सदस्यों को सोमवार सुबह उनके पड़ोसियों ने चोरी की जानकारी दी। मौत के बाद से परिवार के लोग एक रिश्तेदार के यहां रह रहे हैं।
नई दिल्लीः कंझावला कांड की पीड़िता अंजलि सिंह के परिवार ने आरोप लगाया है कि जब वे लोग घर से बाहर थे, उसी दौरान यहां करण विहार स्थित उनके घर से अन्य चीजों के अलावा एक एलईडी टीवी की चोरी कर ली गई। पुलिस ने सोमवार को यह जानकारी दी।
पुलिस के अनुसार, पीड़िता के परिवार के सदस्यों को सोमवार सुबह उनके पड़ोसियों ने चोरी की जानकारी दी। सिंह की मौत के बाद से परिवार के लोग एक रिश्तेदार के यहां रह रहे हैं। उन्होंने आशंका जताई कि दुर्घटना के समय सिंह की स्कूटी पर पीछे बैठी निधि और मामले के आरोपी इस घटना के पीछे हो सकते हैं। सिंह के परिवार ने सुबह 8:30 बजे अमन विहार थाने में चोरी की शिकायत की।
पुलिस की एक टीम तुरंत मौके पर पहुंची और घर के दरवाजे का ताला टूटा मिला। दर्ज की गई शिकायत के अनुसार, एक एलईडी टीवी, कुछ कपड़े और बर्तन चोरी हुए हैं। इस मामले में भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत एक मामला दर्ज किया गया है। पुलिस ने कहा कि वह परिवार द्वारा लगाए गए आरोपों की जांच कर रही है और सभी पहलुओं से मामले की जांच कर रही है।
अदालत ने छह आरोपियों को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा
यहां की एक अदालत ने कंझावला मामले के छह आरोपियों को सोमवार को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया। मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट सान्या दलाल ने कहा, "14 दिन की न्यायिक हिरासत मंजूर की जाती है।’’ अंजलि सिंह (20) की 31 दिसंबर व एक जनवरी की दरमियानी रात को उस वक्त मौत हो गई थी, जब एक कार ने उसकी स्कूटी को टक्कर मार दी थी।
अंजलि कार के नीचे फंस गई थी। उसे सुल्तानपुरी से कंझावला तक करीब 12 किलोमीटर तक घसीटा गया था । अभियोजन पक्ष ने कहा कि हिरासत में पूछताछ के दौरान पता लगा कि आरोपियों को पता था कि पीड़िता का शव पहियों में फंसा है। हालांकि, अतिरिक्त सरकारी वकील ने उन दो आरोपियों की पहचान का खुलासा नहीं किया, जो यह देखने के लिए कार से नीचे उतरे थे कि पहियों के नीचे क्या है।
मामले के जांच अधिकारी ने अदालत को बताया कि सीसीटीवी फुटेज प्राप्त किए जा रहे हैं और उस रास्ते का पता लगाया जा रहा है, जिससे कार गुजरी थी। उन्होंने कहा कि करीब 20 गवाहों ने अपने बयान दर्ज कराए हैं। उन्होंने यह भी कहा कि एक नया गवाह जांच में शामिल हो गया है, जो दुर्घटनास्थल से करीब 100 मीटर की दूरी पर था।
पुलिस ने इस मामले में पिछले सोमवार को दीपक खन्ना (26), अमित खन्ना (25), कृष्ण (27), मिथुन (26) और मनोज मित्तल को पहले गिरफ्तार किया था। बाद में, उन्होंने शुक्रवार को आशुतोष को गिरफ्तार किया। एक अन्य आरोपी अंकुश खन्ना ने शुक्रवार को पुलिस के सामने आत्मसमर्पण कर दिया और उसे शनिवार को जमानत मिल गई।
कंझावला कांड के आरोपियों को पता था कि एक युवती उनकी कार के पहियों के बीच फंसी हुई है। पुलिस सूत्रों ने सोमवार को यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि आरोपियों ने उसे (महिला को) बचाने की कोशिश नहीं की, क्योंकि उन्हें डर था कि कोई उन्हें देख लेगा।
अंजलि सिंह (20) की 31 दिसंबर व एक जनवरी की दरमियानी रात को उस वक्त मौत हो गई थी, जब एक कार ने उसकी स्कूटी को टक्कर मार दी थी। अंजलि कार के नीचे फंस गई थी। उसे सुल्तानपुरी से कंझावला तक करीब 12 किलोमीटर तक घसीटा गया था । पुलिस के मुताबिक, कार में पांच लोग पार्टी कर रहे थे, जिनमें से एक घटना से पहले वाहन से उतर गया था।
सूत्रों ने कहा कि कार में सवार आरोपियों को दुर्घटना के कुछ मिनट बाद पता चला कि अंजलि उनकी कार के नीचे फंस गयी है। हालांकि, उन्होंने पीड़िता को बचाने की कोशिश नहीं की, क्योंकि उन्हें डर था कि अगर वे कार से उतरेंगे और पीड़ित को बाहर निकालेंगे तो कोई उन्हें देख लेगा। उन्होंने कहा कि आरोपियों के बयानों में विरोधाभास है, क्योंकि वे बार-बार बयान बदलते रहे।
सूत्रों ने कहा कि इन सभी दावों और बयानों का सत्यापन किया जा रहा है और घटनाओं के ठीक-ठीक क्रम की स्पष्ट तस्वीर प्राप्त करने के लिए हर कोण की जांच की जा रही है। पुलिस ने शुरू में दीपक खन्ना (26), अमित खन्ना (25), कृष्ण (27), मिथुन (26) और मनोज मित्तल को घटना के सिलसिले में गिरफ्तार किया था। बाद में आरोपियों को कथित तौर पर बचाने के आरोप में दो और लोगों - आशुतोष व अंकुश खन्ना- को भी गिरफ्तार किया गया।