ओवीएल, आईओसी ने रूस की ग्राजप्रोम के साथ समझौतों पर हस्ताक्षर किये

By भाषा | Published: September 3, 2021 08:16 PM2021-09-03T20:16:36+5:302021-09-03T20:16:36+5:30

OVL, IOC sign agreements with Russia's Grazprom | ओवीएल, आईओसी ने रूस की ग्राजप्रोम के साथ समझौतों पर हस्ताक्षर किये

ओवीएल, आईओसी ने रूस की ग्राजप्रोम के साथ समझौतों पर हस्ताक्षर किये

भारत की विदेशों में काम करने वाली प्रमुख तेल एवं गैस कंपनी ओएनजीसी विदेश लि. (ओवीएल) और देश की सबसे बड़ी रिफाइनरी कंपनी इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन (आईओसी) ने हाइड्रोकार्बन क्षेत्र में सहयोग के लेकर शुक्रवार को रूस की पेट्रोलियम क्षेत्र की कंपनी गाजप्रोम के साथ समझौते पर हस्ताक्षर किये। देश की तेल और गैस कंपनियां रूस के समृद्ध तेल और गैस क्षेत्रों में हिस्सेदारी हासिल करने पर गौर कर रही हैं। यह कदम ऊर्जा की जरूरतों को पूरा करने के लिए आयात पर देश की 85 प्रतिशत निर्भरता की कुछ हद तक भरपाई कर सकता है। सार्वजनिक क्षेत्र की ऑयल एंड नेचुरल गैस कॉरपोरेशन (ओएनजीसी) की विदेश इकाई ओवीएल ने ब्लादिवोस्तोक में पूर्वी आर्थिक मंच की बैठक के दौरान समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये। ओवीएल ने ट्विटर पर यह जानकारी दी। आईओसी ने भी हाइड्रोकार्बन क्षेत्र में इसी प्रकार के सहयोग को लेकर समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये। पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पुरी की अगुवाई में अधिकारियों तथा उद्योगपतियों का एक प्रतिनिधिमंडल छठे पूर्वी आर्थिक मंच शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिये रूस गया है। रूस भारतीय तेल और गैस कंपनियों के लिए सबसे बड़ा निवेश गंतव्य है। भारतीय सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों ने सुदूर पूर्व और पूर्वी साइबेरिया सहित रूस में सखालिन-1, वैंकोर और तास-युरीख जैसी तेल और गैस परिसंपत्तियों में लगभग 16 अरब डालर निवेश किये हैं। रूस भी भारत के तेल एवं गैस क्षेत्र में सबसे बड़ा निवेशक है। समझौतों के बारे में पुरी ने भी ट्वीट कर जानकारी दी है। उन्होंने कहा, ‘‘गाजप्रोमनेफ्ट के सीईओ श्री अलेक्जेंडर डाइकोव ने इंडियन ऑयल और ओएनजीसी विदेश के साथ समझौतों पर हस्ताक्षर का स्वागत किया। यह हमारी कंपनियों की रूसी ऊर्जा कंपनियों के साथ जुड़ाव में गहरी रुचि को प्रदर्शित करता है।’’ केवल तेल और गैस क्षेत्र में ही नहीं भारत रूस से तरलीकृत प्राकृतिक गैस (एलएनजी) का आयात करने पर भी गौर कर रहा ताकि पश्चिम एशिया पर आयात निर्भरता को कम किया जा सके। सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनी गेल पहले से ही गाजप्रोम से 25 लाख टन सालाना एलएनजी का आयात करती है। भारत रूस से कच्चा तेल खरीदने का भी इच्छुक है।

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Web Title: OVL, IOC sign agreements with Russia's Grazprom

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