सोने की हॉलमार्किंग नियमों के खिलाफ जौहरियों की हड़ताल का कोई असर नहीं: सरकार

By भाषा | Published: August 23, 2021 08:03 PM2021-08-23T20:03:37+5:302021-08-23T20:03:37+5:30

No impact of jewelers' strike against gold hallmarking rules: Govt | सोने की हॉलमार्किंग नियमों के खिलाफ जौहरियों की हड़ताल का कोई असर नहीं: सरकार

सोने की हॉलमार्किंग नियमों के खिलाफ जौहरियों की हड़ताल का कोई असर नहीं: सरकार

केंद्र ने सोमवार को कहा कि सोने की हॉलमार्किंग नियमों के खिलाफ 'ज्वैलर्स के एक बहुत छोटे वर्ग' के आह्वान पर हुई राष्ट्रव्यापी हड़ताल का कोई प्रभाव नहीं पड़ा है। हालांकि, हड़ताल का समर्थन करने वाले अखिल भारतीय रत्न और आभूषण घरेलू परिषद (जीजेसी) सहित 350 संघों और महासंघों ने कहा कि उन्हें ‘‘मजबूत प्रतिक्रिया’’ प्राप्त हुई है क्योंकि बड़ी कंपनियों के शो-रूम को छोड़कर अधिकांश दुकानें दिन भर बंद रहीं। उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘‘आभूषण कारोबारियों के एक बहुत छोटे हिस्से द्वारा बुलाई गई हड़ताल का कोई प्रभाव नहीं रहा।’’ बयान में कहा गया, ‘‘जैसा कि अपेक्षित था, आभूषण कारोबार के सामान्य कामकाज को बाधित करने के लिए सीमित व्यक्तियों द्वारा गुमराह करने का प्रयास आज बुरी तरह विफल रहा है।’’ इस बीच, मंत्रालय ने ज्वैलर्स बॉडीज - ऑल इंडिया ज्वैलर्स एंड गोल्डस्मिथ फेडरेशन (एजेजीएफ), स्वर्णकार सभा, जेम्स एंड ज्वैलरी मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन ऑर्गनाइजेशन (जीजेएमए), सर्व स्वर्णकार समाज नेत्रत्व विकास संस्था के पत्र भी जारी किए, जिन्होंने हड़ताल का विरोध किया और हॉलमार्किंग चिशिष्ट पहचान संख्या (एचयूआईडी) प्रणाली का समर्थन किया। उदाहरण के लिए, एजेजीएफ के राष्ट्रीय अध्यक्ष पंकज अरोड़ा ने एक पत्र में दावा किया कि हड़ताल का ‘आंशिक प्रभाव’ पड़ा। उन्होंने कहा, ‘‘खासकर कुछ बड़े आभूषण व्यापारी और कॉरपोरेट ज्वैलर्स बंद रहे। चूंकि हड़ताल का कोई औचित्य नहीं था, इसलिए देश भर के आभूषण व्यापारियों ने हड़ताल को खारिज कर दिया।’’ अरोड़ा ने आगे कहा, ‘‘कुछ बड़े ज्वैलर्स नहीं चाहते कि सरकार को उनकी व्यावसायिक गतिविधियों के बारे में पता चले (और) उन्होंने अपने निहित स्वार्थों के कारण हड़ताल का आह्वान किया है।’’ इसके विपरीत तनिष्क, कल्याण ज्वैलर्स, मालबार गोल्ड एंड डायमंड्स, पीसी ज्वैलर्स जैसे बड़े कॉरपोरेट ज्वैलरी शोरूम सोमवार को मंत्रालय द्वारा जारी तस्वीरों के अनुसार खुले रहे। मंत्रालय ने कुछ ज्वैलर्स की दुकानों की तस्वीरें जारी की जिनकी दुकानें देश के विभिन्न हिस्सों में खुली रहीं। मंत्रालय के अनुसार, प्रतिदिन रिकॉर्ड संख्या में उपभोक्ताओं द्वारा गोल्ड हॉलमार्किंग को अपनाया जा रहा है। कुछ ही हफ्तों में एक करोड़ से अधिक आभूषणों की हॉलमार्किंग की गई है। बयान में कहा गया है, 'ज्वैलरी कारोबार के कई संगठनों ने भी हड़ताल पर जाने के विचार पर चिंता और विरोध जताया है। सोने की हॉलमार्किंग उपभोक्ताओं के साथ-साथ व्यवसायों दोनों के हित में होने का दावा करते हुए, मंत्रालय ने दोहराया कि वह हमेशा ही रचनात्मक सुझावों के लिए तैयार रहा है। सोने की हॉलमार्किंग को 16 जून से चरणबद्ध तरीके से लागू किया गया है। इसमें कहा गया है, ‘‘निहित स्वार्थी लोग जो दशकों पुरानी अपारदर्शी और संभवत: व्यावसायिक प्रथाओं के समाप्त होने से डरते हैं, उन्हें खुले दिल से आगे आना चाहिए और दूसरों की तरह बदलाव को अपनाना चाहिए।

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Web Title: No impact of jewelers' strike against gold hallmarking rules: Govt

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