महेश भट्ट के बोल, फिल्म निर्माता और लेखक इस समय प्री सेंसरशिप युग में रह रहे हैं

By भाषा | Published: March 20, 2019 02:12 PM2019-03-20T14:12:13+5:302019-03-20T14:12:13+5:30

निर्देशक महेश भट्ट का कहना है कि भारतीय संविधान ने भले ही लोगों को अभिव्यक्ति की आजादी का अधिकार दिया हो

mahesh bhatt says writers and film producers are in pre censorship era now | महेश भट्ट के बोल, फिल्म निर्माता और लेखक इस समय प्री सेंसरशिप युग में रह रहे हैं

महेश भट्ट के बोल, फिल्म निर्माता और लेखक इस समय प्री सेंसरशिप युग में रह रहे हैं

निर्देशक महेश भट्ट का कहना है कि भारतीय संविधान ने भले ही लोगों को अभिव्यक्ति की आजादी का अधिकार दिया हो लेकिन मौजूदा समय में फिल्म निर्माता और लेखकों को खुद ही अपने पर सेंसरशिप लगानी पड़ रही है।

भट्ट ‘नो फादर्स इन कश्मीर’ के ट्रेलर लॉन्च के मौके पर बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि उन्हें यह देखकर तकलीफ होती है कि इस फिल्म को केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड (सीबीएफसी) की तरफ से मंजूरी मिलने में समस्या हुई। 

फिल्म निर्माता ने कहा, ‘‘ पहले से ही सेंसरशिप लगाने का दौर है ये ।एक फिल्म निर्माता और लेखक कागज पर कलम चलाने से पहले ही दस बार सोचता है कि उसे क्या लिखना चाहिए? सीबीएफसी उसे मंजूरी देगा या नहीं .... इस देश का जन्म अभिव्यक्ति की आजादी के प्रति प्रेम के चलते हुआ था और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता एक संवैधानिक अधिकार है।’’ 

उन्होंने कहा कि वह इस फिल्म के निर्देशक अश्विन कुमार के साथ खड़े हैं क्योंकि वह कुमार के नजरिए में विश्वास करते हैं। 

Web Title: mahesh bhatt says writers and film producers are in pre censorship era now

बॉलीवुड चुस्की से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे