लोकसभा चुनाव: अभिनेता से नेता बने सनी देओल, जानिए बॉलीवुड डेब्यू से राजनीति में एंट्री तक का पूरा सफर
By ऐश्वर्य अवस्थी | Published: April 23, 2019 12:53 PM2019-04-23T12:53:23+5:302019-04-23T12:53:23+5:30
सनी देओल ने अभिनेता से नेता बनने की नई पारी शुरू की है। आइए सनी के अब तक के सफर पर एक नजर डालते हैं।
अपनी दमदार एक्टिंग से फैंस के दिलों में राज करने वाले सनी देओल का भला कौन दीवाना नहीं है। 5 अगस्त 1983 को एक्टर धर्मेंद्र के बड़े बेटे अजय सिंह देओल यानि सनी देओल ने बॉलीवुड में अपना शानदार डेब्यू किया था। सिनेमा की तरफ सनी देओल का पहला कदम बेहद कामयाब रहा और उनकी फिल्म ‘बेताब’ सुपरहिट साबित हुई। इस फिल्म के बाद सनी ने कभी करियर में पीछ पलटकर नहीं देखा। अब सनी ने अभिनेता से नेता बनने की नई पारी शुरू की है। आइए सनी के अब तक के सफर पर एक नजर डालते हैं।
-फिल्मों में लांच करने के पहले धर्मेन्द्र ने सनी को बर्मिंघम में अभिनय सीखने के लिए भेजा था। खास बात है कि धर्मेन्द्र को सनी अपना प्रिय अभिनेता मानते हैं। जबकि अभिनेत्रियों में सनी को तनूजा बहुत पसंद है।
- सनी खुद कह चुके हैं कि वह एक पारिवारिक इंसान हैं। संयुक्त परिवार में रहना उन्हें पसंद है। वे अपने पिता और मां के बिना नहीं रह सकते। सनी देओल फिल्मी पार्टियों से दूर रहते हैं। उनका मानना है कि इन पार्टियों में सारे लोग बनावटी रहते हैं और झूठ बोलते हैं।
-सिल्वेस्टर स्टेलॉन को सनी देओल बेहद पसंद करते हैं और रैम्बो सीरिज की फिल्में उन्हें बहुत पसंद है। सिल्वेस्टर स्टेलॉन से प्रेरणा लेकर ही उन्होंने बॉडी बनाई। सनी ने उस दौर में अपनी बॉडी बनाई जब आमतौर पर हीरे दुबले-पतले हुआ करते थे। उनका मजबूत शरीर देख ज्यादातर उन्हें एक्शन रोल निभाने को मिले और उन्हें भारत का अर्नाल्ड कहा गया।
- 1990 में प्रदर्शित 'घायल' ने सनी के करियर में अहम मोड़ निभाया। इस फिल्म में उन्होंने शानदार अभिनय के बल पर स्पेशल ज्युरी अवॉर्ड (राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार) और फिल्म फेअर बेस्ट एक्टर अवॉर्ड जीता।
-कहते हैं डर फिल्म में काम करना सनी के लिए खराब अनुभव रहा। सनी को लगा कि सेट पर उनकी उपेक्षा की जा रही है। चीजें उनके मन के मुताबिक नहीं हो रही है। एक बार तो वे इतने गुस्से में आ गए कि जींस की जेब में हाथ डालकर उन्होंने पैंट को नीचे तक फाड़ दी।
- सनी देओल और आमिर खान की तीन बार फिल्में आमने-सामने हुई। दिल और घायल, घातक और राजा हिन्दुस्तानी तथा गदर और लगान। तीनों बार दोनों ही फिल्में सफल रहीं।
- 2001 में प्रदर्शित 'गदर- एक प्रेम कथा' सनी देओल के करियर की सबसे बड़ी हिट रही। कहा जाता है कि पिछले 15 वर्षों में इस फिल्म के सर्वाधिक टिकट बिके। कहते हैं कि 'गदर' में सनी का हैंडपंप उखाड़ने वाला सीन बेहद पसंद किया गया और माना गया कि इस सीन को केवल सनी देओल ही ना भूलने वाला बना सकते थे।
-निजी जिंदगी में सनी देओल बेहद शर्मीले और कम बोलने वाले इंसान हैं। उन्हें अपनी निजी जीवन की बातें करना बिलकुल पसंद नहीं है। कहा जाता है कि सनी जब इंग्लैंड में अभिनय का पाठ सीखने गए थे जब पूजा को देखते ही दिल दे बैठे। दोनों ने शादी कर ली। पूजा देओल को कभी भी किसी कार्यक्रम या पार्टी में नहीं देखा गया।
-लंबे करियर में सनी देओल का नाम डिम्पल कपाड़िया से जुड़ा। सनी और डिंपल ने कभी भी अपने संबंधों को नहीं स्वीकारा।
- सनी देओल को दो बार राष्ट्रीय पुरस्कार (घायल-स्पेशल ज्युरी अवॉर्ड/1991 और दामिनी- बेस्ट सपोर्टिंग एक्टर/1994) मिले। घायल और दामिनी के लिए उन्हें बेस्ट एक्टर और बेस्ट सपोर्टिंग एक्टर के फिल्मफेअर अवॉर्ड भी मिले।
- बेताब, अर्जुन, डकैत, यतीम, त्रिदेव, घायल, घातक, नरसिम्हा, दामिनी, क्षत्रिय, जीत, जिद्दी, सलाखें, बॉर्डर, गदर, यमला पगला दीवाना उनके करियर की उल्लेखनीय फिल्में हैं। 1995-96 में सनी ने जीत, अजय, घातक, बॉर्डर और जिद्दी के रूप में पांच लगातार हिट फिल्में दी थी।