इटली में एक व्यक्ति को एक ही समय में हुआ मंकीपॉक्स, कोविड-19 और HIV, दुनिया का पहला ऐसा मामला
By शिवेंद्र राय | Published: August 25, 2022 04:15 PM2022-08-25T16:15:43+5:302022-08-25T16:17:22+5:30
इटली में दुनिया का पहला ऐसा मामला पाया गया है जिसमें एक ही व्यक्ति मंकीपॉक्स, कोविड-19 और एचआईवी तीनों से पॉजिटिव मिला है। विशेषज्ञों का कहना है कि यह अपनी तरह का पहला केस है। इसलिए इस पर अभी और शोध किए जाने की जरूरत है।
नई दिल्ली: इटली में एक अनोखा मामला सामने आया है। यहां एक 36 वर्षीय व्यक्ति को मंकीपॉक्स, कोविड-19 और एचआईवी तीनों पॉजीटिव पाया गया है। दुनिया का यह पहला मामला है जिसमें किसी एक ही व्यक्ति में इन तीनों बीमारियों के लक्षण मिले हों। स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने इसे लेकर चिंता जताई है।
अंतरराष्ट्रीय पत्रिका जर्नल ऑफ इंफेक्शन में प्रकाशित एक रिपोर्ट के अनुसार पीड़ित व्यक्ति इस साल जून में पांच दिनों के लिए स्पेन की यात्रा पर गया था। स्पेन से वापस आने पर उसे बुखार, गले में खराश, थकान, सिरदर्द और कमर में सूजन जैसी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। जब व्यक्ति की जांच की गई तो पाया गया कि वह कोरोना संक्रमित है। व्यक्ति के चेहरे और दूसरे हिस्सों पर बड़े चकत्ते भी दिखाई दिए इसलिए डॉक्टरों ने उसे संक्रामक रोग यूनिट में भेज दिया। पीड़ित ने पहले फाइजर के एमआरएनए वैक्सीन की दो खुराक के साथ कोरोनावायरस का टीका लगवाया था। वह ओमिक्रोन के उप-संस्करण BA.5.1 से संक्रमित था।
पीड़ित को इटली के कैटेनिया में सैन मार्को यूनिवर्सिटी अस्पताल में आपातकालीन विभाग में भर्ती कराया गया था। यहां जांच में व्यक्ति मंकीपॉक्स और एचआईवी के लिए भी सकारात्मक पाया गया। परीक्षण में पता चला कि उसके पास एक उच्च वायरल लोड था और संक्रमण हाल ही में हुआ था। यह भी पता चला कि व्यक्ति ने स्पेन की अपनी यात्रा पर पुरुषों के साथ असुरक्षित यौन संबंध बनाए थे।
इस अनोखे मामले के सामने आने के बाद कैटेनिया विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने कहा, "यह मामला इस बात पर प्रकाश डालता है कि मंकीपॉक्स और सीओवीआईडी -19 के लक्षण कैसे ओवरलैप हो सकते हैं। यह पुष्टि करता है कि सह-संक्रमण के मामले में, एनामेनेस्टिक संग्रह और यौन आदतें सही निदान करने के लिए कैसे महत्वपूर्ण हैं।"
जर्नल ऑफ इंफेक्शन की रिपोर्ट में कहा गया है कि मंकीपॉक्स ऑरोफरीन्जियल स्वैब 20 दिन बाद भी पॉजीटिव था। इससे यह पता चलता है कि पीड़ित कई दिनों तक संक्रमित हो सकता है। ऐसे में डॉक्टरों को उचित सावधानी की सलाह देनी चाहिए। विशेषज्ञों का कहना है कि यह अपनी तरह का पहला केस है। इसलिए इस पर अभी और शोध किए जाने की जरूरत है।