भारत की बढ़ती भूमिका से चिढ़े इमरान खान, बोले-अमेरिका के साथ ‘सभ्य’ और ‘बराबरी’ का रिश्ता चाहता है पाकिस्तान, जैसे भारत-अमेरिका के हैं 

By अभिषेक पारीक | Updated: June 26, 2021 17:16 IST2021-06-26T17:08:31+5:302021-06-26T17:16:08+5:30

प्रधानमंत्री इमरान खान ने कहा कि पाकिस्तान वाशिंगटन के साथ 'सभ्य' और 'बराबरी' वाले रिश्ते चाहता है जैसे अमेरिका के ब्रिटेन या भारत के साथ हैं।

Imran Khan said Pakistan wants civilized and equal relationship with America like India and US | भारत की बढ़ती भूमिका से चिढ़े इमरान खान, बोले-अमेरिका के साथ ‘सभ्य’ और ‘बराबरी’ का रिश्ता चाहता है पाकिस्तान, जैसे भारत-अमेरिका के हैं 

इमरान खान। (फाइल फोटो)

Highlightsइमरान खान ने कहा कि पाकिस्तान अमेरिका के साथ भारत-अमेरिका जैसे रिश्ते चाहता है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के अमेरिका के साथ रिश्ते सभ्य और बराबरी वाले होने चाहिए। उन्होंने भारत के साथ रिश्तों को सामान्य करने के प्रयासों में प्रगति नहीं होने पर निराशा जताई। 

युद्ध प्रभावित अफगानिस्तान से अमेरिका के जाने के बाद वहां पाकिस्तान द्वारा निभाई जा सकने वाली भूमिका को लेकर प्रधानमंत्री इमरान खान ने कहा कि पाकिस्तान वाशिंगटन के साथ 'सभ्य' और 'बराबरी' वाले रिश्ते चाहता है जैसे अमेरिका के ब्रिटेन या भारत के साथ हैं। खान ने अमेरिकी अखबार 'द न्यूयॉर्क टाइम्स' को दिए साक्षात्कार के दौरान यह टिप्पणी की। उन्होंने साक्षात्कार में इस बात को लेकर निराशा भी जाहिर की कि भारत के साथ रिश्तों को सामान्य करने के उनके प्रयासों पर कोई प्रगति नहीं हुई यद्यपि उन्होंने अगस्त 2018 में पदभार संभालने के कुछ समय बाद ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से संपर्क किया था। 

'द डान' अखबार की खबर के मुताबिक यह साक्षात्कार ऐसे वक्त आया है जब अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने शुक्रवार को अपने अफगानी समकक्ष अशरफ गनी के साथ व्हाइट हाउस में आमने-सामने की पहली मुलाकात की। खान ने कहा कि क्षेत्र के भारत जैसे अन्य देशों के मुकाबले उसका अमेरिका के साथ करीबी रिश्ता रहा है और आतंकवाद के खिलाफ जंग में वह अमेरिका का साझेदार था। 

उन्होंने कहा, 'अब, अमेरिका के अफगानिस्तान से जाने के बाद, पाकिस्तान मूल रूप से एक सभ्य रिश्ता चाहता है जैसा आपका देशों के साथ होता है और हम अमेरिका के साथ अपने कारोबारी रिश्तों में सुधार करना चाहेंगे।' सभ्य रिश्तों की अपनी परिकल्पना के बारे में विस्तार से बताने के लिये कहे जाने पर खान ने कहा कि वह ऐसे रिश्ते चाहते हैं जैसा 'अमेरिका और ब्रिटेन की बीच है या जैसा अब अमेरिका और भारत के बीच है। इसलिये, ऐसा रिश्ता जो बराबरी वाला हो।'

पाकिस्तान को चुकानी पड़ी बड़ी कीमत

उन्होंने कहा, 'दुर्भाग्य से आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई के दौरान संबंध थोड़े असंतुलित थे।' उन्होंने कहा, 'यह असंतुलित रिश्ता था क्योंकि अमेरिका को लगता था कि वो पाकिस्तान को सहायता दे रहा है। उन्हें लगता था कि पाकिस्तान को ऐसे में अमेरिका की आज्ञा माननी होगी और अमेरिका की बात को मानने की कोशिश के चलते पाकिस्तान को काफी कीमत चुकानी पड़ी। 70 हजार पाकिस्तानी मारे गए और 150 अरब डॉलर से ज्यादा का अर्थव्यवस्था को नुकसान पहुंचा क्योंकि आत्मघाती हमले हो रहे थे और पूरे देश में बम फट रहे थे।'

दोनों मुल्कों के बीच अविश्वास पैदा हुआ

खान ने कहा कि इस असंतुलित रिश्ते के साथ मुख्य समस्या थी कि पाकिस्तानी सरकार ने वह करने की कोशिश की जिसमें वह सक्षम नहीं थी और इसकी वजह से दोनों देशों में अविश्वास पैदा हुआ। उन्होंने कहा, 'और पाकिस्तान में लोगों को लगता है कि उन्होंने इस रिश्ते के लिये भारी, बहुत भारी कीमत चुकाई। और अमेरिका को लगता है कि पाकिस्तान ने पर्याप्त काम नहीं किया।' साक्षात्कार में खान ने यह भी दावा किया कि भारत में अगर कोई दूसरी सरकार होती को पाकिस्तान के उनके साथ रिश्ते बेहतर होते और वे बातचीत के जरिये अपने सभी मतभेदों को सुलझाते। 

सभ्य कारोबारी रिश्ते का नजरिया रखा

उन्होंने कहा, 'जब मैंने पदभार संभाला था, तो मैंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सामने एक सामान्य, सभ्य कारोबारी रिश्ते (बनाने) का नजरिया रखा। हमनें कोशिश की लेकिन बात आगे बढ़ी नहीं।' खान ने दावा किया, 'अगर वहां कोई दूसरा भारतीय नेतृत्व होता, मुझे लगता है हमारे उनके साथ अच्छे रिश्ते होते और हम अपने सभी मतभेदों को बातचीत के जरिये सुलझा लेते।' 

सामान्य रिश्तों में बाधक रहेगा

भारत द्वारा अगस्त 2019 में जम्मू-कश्मीर को दिए गए विशेष दर्जे को वापस लेने और राज्य को दो केंद्र शासित प्रदेशों में विभाजित करने के फैसले के बाद दोनों देशों में संबंध और बिगड़ गए। कश्मीर में यथास्थिति पर खान ने कहा, 'मुझे लगता है कि यह भारत के लिये एक आपदा है क्योंकि इसका मतलब होगा कि यह विवाद बना ही रहेगा और भारत तथा पाकिस्तान के बीच रिश्तों-सामान्य रिश्तों- में बाधक रहेगा।'

चीन-भारत का कारोबार दोनों के लिए लाभकारी

भारत पाकिस्तान को बता चुका है कि वह पड़ोसी से सामान्य रिश्ते चाहता है जो आतंकवाद, दुश्मनी और हिंसा से मुक्त हों। खान ने कहा कि अमेरिका की यह धारणा गलत थी कि चीन के खिलाफ भारत सुरक्षा कवच होगा। उन्होंने कहा, 'मुझे लगता है कि यह भारत के लिये नुकसानदेह होगा क्योंकि चीन के साथ भारत का कारोबार दोनों देशों के लिये लाभकारी होगा।' उन्होंने कहा कि पाकिस्तान सामने आ रहे परिदृश्य को थोड़ी चिंता के साथ देख रहा है।

Web Title: Imran Khan said Pakistan wants civilized and equal relationship with America like India and US

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