ब्रिटेन ने सुरक्षा परिषद में भारत की स्थाई सदस्यता का समर्थन किया, कही UNSC के विस्तार की बात

By शिवेन्द्र कुमार राय | Published: July 4, 2023 05:48 PM2023-07-04T17:48:53+5:302023-07-04T17:50:43+5:30

सुरक्षा परिषद संयुक्त राष्ट्र का सबसे शक्तिशाली निकाय है जिसकी प्राथमिक जिम्मेदारी अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा कायम रखना है। इसका गठन द्वितीय विश्वयुद्ध के दौरान 1945 में हुआ था।

Britain has called for expansion of UN Security Council's permanent seats to include India | ब्रिटेन ने सुरक्षा परिषद में भारत की स्थाई सदस्यता का समर्थन किया, कही UNSC के विस्तार की बात

संयुक्त राष्ट्र में ब्रिटेन की स्थायी प्रतिनिधि बारबरा वुडवर्ड

Highlightsसुरक्षा परिषद में भारत की दावेदारी को ब्रिटेन का समर्थन मिला हैबारबरा वुडवर्ड ने की सुरक्षा परिषद के विस्तार की बातजुलाई महीने में संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की अध्यक्षता ब्रिटेन के पास है

नई दिल्ली: संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में विस्तार में विस्तार की बात लंबे समय से की जा रही है। फिलहाल पांच सदस्य देशों वाले इस समूह में शामिल होने की दावोदारी भारत लंबे समय से कर रहा है। अब भारत की दावेदारी को ब्रिटेन का समर्थन मिला है। ब्रिटेन ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में विस्तार पर साफ कहा है कि इसमें भारत, जापान, जर्मनी, ब्राजील और अफ्रीकी देशों को शामिल किया जाना चाहिए।

संयुक्त राष्ट्र में ब्रिटेन की स्थायी प्रतिनिधि बारबरा वुडवर्ड ने कहा कि हम चाहते हैं कि सुरक्षा परिषद का विस्तार किया जाए और इसमें भारत, ब्राजील, जर्मनी, जापान और अफ्रीकी प्रतिनिधित्व को स्थायी जगह दी जाए। यह सही समय है, जब सुरक्षा परिषद 2020 में दाखिल हो। 

फिलहाल इस ताकतवर समिति के पांच स्थाई सदस्य हैं। अमेरिका, फ्रांस, ब्रिटेन, रूस और चीन फिलहाल इसके सदस्य हैं। जुलाई महीने में संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की अध्यक्षता ब्रिटेन के पास है। इन देशों में चीन को छोड़कर बाकी सारे देश भारत की स्थाई सदस्यता के पक्ष में हैं। वुडवर्ड ने कहा कि भारत और ब्राजील सुरक्षा परिषद में विस्तृत प्रतिनिधत्व लेकर आएंगे। दोनों देशों में विशाल जनसंख्या है और दोनों देश तेजी से आर्थिक विकास कर रहे हैं। 

बता दें कि सुरक्षा परिषद संयुक्त राष्ट्र का सबसे शक्तिशाली निकाय है जिसकी प्राथमिक जिम्मेदारी अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा कायम रखना है। इसकी शक्तियों में शांति अभियानों का योगदान, अंतर्राष्ट्रीय प्रतिबंधों को लागू करना तथा सुरक्षा परिषद के प्रस्तावों के माध्यम से सैन्य कार्रवाई करना शामिल है।

इसके सदस्य देशों के पास वीटो पॉवर होता है। वीटो पॉवर का अर्थ होता है कि मैं अनुमति नहीं देता हूँ। स्थायी सदस्यों के फैसले से अगर कोई सदस्य सहमत नहीं है तो वह वीटो पावर का इस्तेमाल करके उस फैसले को रोक सकता है।

इसका गठन द्वितीय विश्वयुद्ध के दौरान 1945 में हुआ था। तब से लेकर अब तक दुनिया के हालात काफी बदल गए हैं। बदली हुई वैश्विक परिस्थितियों में चीन को छोड़कर बाकी सदस्य देश भारत को इस शक्तिशाली निकाय का सदस्य बनाना चाहते हैं।

Web Title: Britain has called for expansion of UN Security Council's permanent seats to include India

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