Vision IAS के वायरल हुए वीडियो पर विवाद, ओवैसी से लेकर शशि थरूर और इस्लाम सहित हिंदू सस्कृति का जिक्र, जानें पूरा मामला
By विनीत कुमार | Published: February 28, 2022 03:02 PM2022-02-28T15:02:54+5:302022-02-28T15:07:06+5:30
कोचिंग सेंटर Vision IAS की कक्षाओं के कुछ वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद संस्थान की ओर से बयान जारी कर कहा गया है कि उसका मकसद किसी की भावनाओं को ठेस पहुंचाना नहीं था।
नई दिल्ली: सिविल सेवा की परीक्षाओं की तैयारी कराने वाले कोचिंग सेंटर Vision IAS की कक्षाओं के कई वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने और उस पर विवाद के बाद संस्थान की ओर से सफाई दी गई है। साथ ही बयान जारी कर ये भी कहा गया है कि अगर उनकी ओर से किसी की भावनाओं को ठेस पहुंचा है तो वे माफी मांगते हैं।
इन वायरल हुए वीडियो में इस्लाम से लेकर हिंदू संस्कृति, भारत में संयुक्त परिवार, माता-पिता के बच्चों के प्रति रवैये सहित कई विषयों पर संस्थान की एक फैकल्टी बात करती नजर आ रही हैं। वायरल हुए वीडियो छोटे-छोटे टुकड़ों में हैं और संभवत: कक्षा के दौरान की हैं।
बहरहाल, विवाद के बाद Vision IAS की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि भारत के संविधान में निहित भावनाओं का वह पूरा सम्मान करता है और मकसद किसी की भावनाओं को ठेस पहुंचाना नहीं था। बयान में कहा गया है कि Vision IAS के जो वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं वे वीडियो उनके किसी आधिकारिक प्लेटफॉर्म पर मौजूद नहीं है।
संस्थान के अनुसार वीडियो को लेकर कई तरह की चर्चाएं शुरू हो गईं लेकिन उनका मकसद किसी की भावनाओं को ठेस पहुंचाना नहीं था। आखिर ये पूरा मामला क्या है और Vision IAS ने क्यों माफीनामा जारी किया, ये सब विस्तार से जानने से पहले वो बयान देखिए जो कोचिंग संस्थान ने जारी किया है।
Vision IAS statement on recent events surrounding a video clip#VisionIASpic.twitter.com/0UvZDIDd3c
— Vision IAS (@Vision_IAS) February 27, 2022
क्या है Vision IAS के वायरल हुए वीडियो से जुड़ विवाद
दरअसल Vision IAS की कोचिंग क्लास से जुड़े छह से सात वीडियो वायरल हो रहे हैं। इसमें एक वीडियो में फैकल्टी भारत में भक्ति आंदोलन की शुरुआत के कारणों की चर्चा करती नजर आती हैं। इस विषय पर बात करते हुए वे कहती हैं कि भारत में भक्ति आंदोलन इस्लाम के आने की वजह से शुरू हुआ क्योंकि इस्लाम उदार नीतियों की बात कर रहा था और इसमें भेदभाव नहीं था। इससे बड़ी संख्या में नीची समझे जाने वाली जातियों के लिए धर्म छोड़ने लगे। इस्लाम में एक ईश्वर के प्रति समर्पण की बात है और ऐसे में हिंदू संस्कृति में भी भक्ति आंदोलन शुरू कर कुछ ऐसा ही दिखाने की कोशिश हुई।
ऐेस ही कुछ अन्य वीडियो में महिला फैकल्टी भारत में दीवाली पर गिफ्ट लेने-देने की परंपरा, हरियाणा और पंजाब में 'पत्नी खरीदने' की बात, भारत में संयुक्त परिवार की भूमिका सहित कई विषयों पर बात करती नजर आ रही हैं।
Owaisi ko suno, Tharoor ko suno. Fascism aa raha hai. pic.twitter.com/qGRTTVys0a
— Wokeflix (@wokeflix_) February 28, 2022
She definitely has a thing or two for #Bhakts / #Bhakti. pic.twitter.com/p8jvqTcdXX
— Wokeflix (@wokeflix_) February 28, 2022
Joint Family satisfies our sexual gratification. Marriage serves the purpose. And finally Reproduction.
— Wokeflix (@wokeflix_) February 28, 2022
Charan kaha hai iss devi ke. pic.twitter.com/9m9GdvMqSj
Everyone in #Punjab / #Haryana has to ‘Purchase’ a wife.
— Wokeflix (@wokeflix_) February 28, 2022
Purchase 1 Wife for all your sons.
End on #Draupadi. 🤮 pic.twitter.com/cdxF9irKMq
Parenting bhi seekh lo.
— Wokeflix (@wokeflix_) February 28, 2022
Kids didn’t ask parents to give birth. pic.twitter.com/Ot3BiWlnwI
सामने आई जानकारी के अनुसार वीडियो में नजर आ रही महिला फैकल्टी का नाम स्मृति शाह है। ट्विटर के जरिए सामने आई जानकारी के मुताबिक स्मृति भारतीय समाज के विषय के बारे में विजिन आईएएस में पढ़ाती हैं।