बेंगलुरु की एक पत्रकारिता छात्रा को एक दिन के लिए ब्रिटिश डिप्टी हाई कमिश्नर (ब्रिटिश उप उच्चायुक्त) बनाया गया। अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस पर 24 साल की अंबिका बनर्जी ने ब्रिटेन और भारत के बीच राजनयिक संबंधों के बारे में जाना। संयुक्त राष्ट्र द्वारा घोषित अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस के अवसर पर अंबिका को यह मौका मिला।
न्यूज एजेंसी एएनआई के मुताबिक, अंबिका बनर्जी ने ब्रिटिश उप उच्चायुक्त के तौर पर एक दिन के लिए जेरेमी पिल्मोर बेडफोर्ड का प्रभार लिया। ब्रिटिश उप उच्चायुक्त भारत में ब्रिटेन का तीसरा सबसे बड़ा पद है।
अंबिका बनर्जी ने पदभार संभालते हुए बंगलूरू स्थिति ब्रिटिश उच्चायोग में सरकार और उद्योगपतियों के साथ बैठक भी की। अंबिका ने कहा है कि उसे बहुत खुशी है कि उसे ब्रिटिश उप उच्चायुक्त कार्यालय के सभी अधिकारियों से मिलने का मौका मिला।
अंबिका ने कहा, ये एक दिन पूरे मेरे काफी उत्साह भरा रहा, क्योंकि हमारे पास पूरे दिन की प्लानिंग थी। मैंने यह भी सीखा कि कैसे काम किया जाता है। अंबिका ने बताया कि वब वहां विद्या लक्ष्मी से भी मिली, जो लैंगिक समानता को लेकर बहुत मुखर हैं।
गोरखपुर की आयशा भी बनी थीं ब्रिटिश उच्चायुक्त
उत्तर प्रदेश के गोरखपुर की 22 वर्षीय आयशा खान को भी चार अक्टूबर को एक दिन के लिए भारत में ब्रिटिश उच्चायुक्त बनाया गया था। आशया ने कहा था कि वह खुशकिस्मत थी जो उन्हें ये मौका मिला। आयशा ने कहा था कि वह मानवाधिकार और लैंगिक समानता के लिए जमीनी स्तर पर काम करना चाहती हैं।