यहां मौजूद है देश का दूसरा ताज महल, पीली पड़ रही हैं इसकी दीवारें
By मेघना वर्मा | Published: February 19, 2018 03:40 PM2018-02-19T15:40:11+5:302018-02-19T16:56:35+5:30
यह मकबरा अकबर एवं शाहजहां के काल के शाही निर्माण से अंतिम मुगलों के साधारण वास्तुकला के परिवर्तन को दर्शाता है। ताजमहल से तुलना के कारण ही यह उपेक्षा का कारण बना रहा।
प्यार की निशानी 'ताज महल' देश के सबसे पसंदीदा पर्यटन स्थलों में से एक है। दुनिया के सात अजूबों में शुमार ये ताज दो प्यार करने वालों की कहानी बयां करता है। उत्तर की शान कहे जाने वाले ताज महल पर पर्यटकों की भीड़ लगी होती है लेकिन क्या आप जानते हैं कि प्यार की इस निशानी की एक प्रतिकृति देश के दक्षिण हिस्से में भी मौजूद है। भारत के औरंगाबाद में ताजमहल के ही जैसा हूबहू एक और स्मारक बना है। 'बीबी के मकबरे' के नाम से प्रसिद्ध इस मकबरे को देखने के लिए भी पर्यटकों की भीड़ रहती है।
अपनी बेगम की याद में डाली थी नींव
बीबी का मकबरा भारत के महाराष्ट्र के औरंगाबाद में स्थित एक मकबरा है। माना जाता है कि औरंगजेब ने इसकी नींव अपनी बेगम दिलराज बानू बेगम की याद में रखवाई थी लेकिन इसका निर्माण उनके पुत्र आजम शाह ने 1678 में संपूर्ण करवाया था। ताजमहल और इस मकबरे को एक ही समान माना जाता है। औरंगजेब को आर्किटेक्चर का शौक नहीं था इसीलिये उसने दिल्ली में छोटी लेकिन खूबसूरत मस्जिद का निर्माण करवाया था। औरंगजेब ने अपने जीवन में जितनी भी इतिहासिक इमारतों का निर्माण किया है उनमें से बीबी का मकबरा सबसे प्रसिद्ध और खूबसूरत है। कई लोग बीबी के मकबरे की तुलना ताजमहल से करते हैं। इस समानता की वजह से ही इसे 'दक्षिण का ताज महल' कहा जाता है।
उपेक्षा भी करते हैं लोग
बीबी का मकबरा औरंगजेब और उसके इतिहासिक शहर का मुख्य केंद्र बिंदु था। इस मकबरे का मुख्य आकर्षण मकबरे के मुख्य द्वार पर बनी समाधी है जिसे उस समय के इंजीनियर हंसपत राय उर्फ़ अत-उल्लाह ने बनवाया था। अत-उल्लाह उस्ताद अहमद लाहौरी का बेटा था जिन्होंने ताज महल को डिजाइन किया था। यह मकबरा अकबर एवं शाहजहां के काल के शाही निर्माण से अंतिम मुगलों के साधारण वास्तुकला के परिवर्तन को दर्शाता है। ताजमहल से तुलना के कारण ही यह उपेक्षा का कारण बना रहा।
पीली पड़ रही है दीवार
यह मकबरा चारबाग गार्डन में बना हुआ है। एक विशाल चारदिवारी के केंद्र में स्थित इस मकबरे के उद्यान विन्यास से इसके सौंदर्य और भव्यता में चार चांद लग जाते हैं। चार दिवारी की ऊंची दीवार नुकीले चापाकार आलों से मोखेदार बनाई गई हैं और इसे आकर्षक बनाने के लिए नियमित अंतरालों पर बुर्ज बनाए गए हैं। वर्तमान में इसकी स्थिति ठीक नहीं है। ठीक से रख-रखाव ना हो पाने के कारण इसकी दीवारें पिली पद गयी हैं। जगह-जगह से दीवारों की पपड़ियां निकल रही हैं और सीढ़िया भी टूट रही हैं। दक्षिण में सरकार को उनकी विरासत के लिए कड़े कदम उठाने की जरूरत है।
बीबी के मकबरे की कुछ रोचक बातें
1. यह मकबरा चारबाग गार्डन के बीचों बीच बना हुआ है।
2. ताजमहल के साथ इसकी तुलना होने के कारण इसे 'दक्खनि ताज' कहा जाता है।
3. बीबी का मकबरा छठे मुगल शासक औरंगजेब ने अपनी पहली पत्नी दिलरस बानो बेगम की याद में बनवाया था। जो उनके बेटे आज़म शाह ने बनाया| यह ताजमहल की ही प्रतिकृति है।
4. ऐसा माना जाता है की इस मकबरे को 1651 और 1661 के बीच बनाया गया था। उस समय इसे बनाने में लगबग – 7,00,000 की लागत लगी थी।
5. बीबी का मकबरा बनाने में जिस मार्बल का उपयोग किया गया था उसे जयपुर की खान से लाया गया था।