भाजपा नेता खड़से और मुडे के निशाने पर पूर्व सीएम फड़नवीस, कहा-पार्टी नेतृत्व में ‘ईर्ष्या और द्वेष’ के लक्षण दिखते हैं
By भाषा | Published: December 12, 2019 05:08 PM2019-12-12T17:08:49+5:302019-12-12T17:08:49+5:30
दूसरे कार्यकाल में महज 80 घंटे तक मुख्यमंत्री रह पाने के लिए देवेंद्र फड़नवीस पर कटाक्ष करते हुए खड़से ने कहा कि समय- समय पर, चमत्कार होता रहता है । उन्होंने अपना यह आरोप भी दोहराया कि उनकी बेटी रोहिणी खड़से और पूर्व मंत्री पंकजा मुंडे को इस साल अक्टूबर में प्रदेश विधानसभा चुनाव के दौरान हराने के पीछे कोई साजिश थी।
परोक्ष रूप से महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस पर निशाना साधते हुए भाजपा के वरिष्ठ नेता एकनाथ खड़से ने बृहस्पतिवार को कहा कि मौजूदा प्रदेश पार्टी नेतृत्व में ‘ईर्ष्या और द्वेष’ के लक्षण दिखते हैं।
दूसरे कार्यकाल में महज 80 घंटे तक मुख्यमंत्री रह पाने के लिए देवेंद्र फड़नवीस पर कटाक्ष करते हुए खड़से ने कहा कि समय- समय पर, चमत्कार होता रहता है । उन्होंने अपना यह आरोप भी दोहराया कि उनकी बेटी रोहिणी खड़से और पूर्व मंत्री पंकजा मुंडे को इस साल अक्टूबर में प्रदेश विधानसभा चुनाव के दौरान हराने के पीछे कोई साजिश थी।
उन्होंने कहा कि भाजपा के विकास के लिए जिन लोगों ने काम किया उनकी उपेक्षा की जा रही है और पार्टी में उनका अपमान हो रहा है। हालांकि, खड़से ने कहा कि वह भाजपा से ‘‘नाखुश नहीं’’ हैं। पूर्व मंत्री खड़से बीड जिले के पर्ली में एक कार्यक्रम से पहले संवाददाताओं से बात कर रहे थे।
यहां पर भाजपा के दिवंगत नेता गोपीनाथ मुंडे की जयंती पर कार्यक्रम का आयोजन किया गया। मुंडे की बेटी पंकजा मुंडे भी कार्यक्रम में मौजूद थीं। खड़से ने कहा, ‘‘गोपीनाथ मुंडे नेक और उदार नेता थे। हालांकि, मौजूदा पार्टी नेतृत्व में ‘ईर्ष्या और द्वेष’ का भाव है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘हमने कुछ लोगों पर भरोसा किया लेकिन उन्होंने हमसे छल किया। एक महीने में ही महाराष्ट्र में 80 घंटे के मुख्यमंत्री हुए। समय-समय पर चमत्कार होता रहता है।’’ उन्होंने दावा किया, ‘‘ विधानसभा चुनाव में मेरी जीत सुनिश्चित थी लेकिन मुझे टिकट नहीं दिया गया। इसके उलट मेरी बेटी चुनाव नहीं लड़ना चाहती थी लेकिन उसे लड़ने के लिए मजबूर किया गया।’’
ओबीसी नेता खड़से ने कहा, ‘‘एक समय भाजपा का मजाक बनाया जाता था कि यह अगड़ी जातियों और कारोबारियों की पार्टी है, लेकिन वह गोपीनाथ मुंडे थे जिन्होंने अन्य पिछड़ा वर्ग समुदाय के लोगों को पार्टी से जोड़ने का काम किया। उन्होंने ओबीसी के कई नेताओं को उभरने और जगह बनाने में मदद की।’’