प्राइवेट नौकरी वालों के लिए खुशखबरी, सिर्फ साल भर में ग्रेच्युटी देने की तैयारी कर रही मोदी सरकार!

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: November 1, 2019 14:10 IST2019-11-01T14:10:23+5:302019-11-01T14:10:23+5:30

मोदी सरकार सिर्फ एक साल की नौकरी में ग्रेच्युटी देने की तैयारी कर रही है। इसका फायदा उन प्राइवेट नौकरी करने वाले लोगों को होगा जो जल्दी-जल्दी नौकरी बदलते रहते हैं।

Modi government is preparing to provide gratuity in just one year employment, things to know | प्राइवेट नौकरी वालों के लिए खुशखबरी, सिर्फ साल भर में ग्रेच्युटी देने की तैयारी कर रही मोदी सरकार!

प्राइवेट नौकरी वालों के लिए खुशखबरी, सिर्फ साल भर में ग्रेच्युटी देने की तैयारी कर रही मोदी सरकार!

Highlightsनए प्रस्ताव में सरकार ग्रैच्युटी के नियमों में बदलाव करेगी सिर्फ एक साल की नौकरी पर ही ग्रेच्युटी के लिए कर्मचारी पात्र हो जाएगा।

मोदी सरकार एक ऐसे प्रस्ताव पर विचार कर रही है जिसका बड़ा फायदा प्राइवेट सेक्टर में नौकरी करने वालों को होगा। इकोनॉमिक टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक सरकार सोशल सिक्योरिटी एंड ग्रेच्युटी के नियमों में बदलाव की तैयारी कर रही है। 

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक नए प्रस्ताव में सरकार ग्रैच्युटी के नियमों में बदलाव करेगी जिससे सिर्फ एक साल की नौकरी पर ही ग्रेच्युटी के लिए कर्मचारी पात्र हो जाएगा। इस समय ग्रेच्युटी की पात्रता के रूप में एक कंपनी में कम से कम पांच साल तक काम करना पड़ता है। माना जा रहा है कि आगामी शीतकालीन सत्र में इस प्रस्ताव को सदन में पेश किया जा सकता है।

अगर ये प्रस्ताव पारित हो जाता है तो प्राइवेट नौकरी करने वालों के लिए बड़ी सौगात साबित होगी। दरअसल, प्राइवेट सेक्टर में जॉब बदलने का एक अनकहा दबाव होता है। इसमें सैलरी हाइक से लेकर काम का प्रेशर तक कोई भी कारण हो सकता है। ऐसे में बहुत कम कर्मचारी ही एक संस्थान में लगातार पांच साल टिक पाते हैं। अब यह सीमा एक साल होने से काफी राहत होगी।

ग्रेच्युटी प्राइवेट सेक्टर में काम करने वाले कर्मचारियों को दी जाने वाली रकम है जिसका सैलरी या भत्तों से कोई लेना-देना नहीं होता। ये एक प्रकार से कंपनी की सेवा के बदले आभार अमाउंट होता है। मौजूदा प्रावधान के मुताबिक कर्मचारी के नौकरी छोड़ने, रिटायर होने, मृत्यु या दुर्घटना का शिकार होने पर 30 दिनों के अंदर ग्रेच्युटी दिए जाने का प्रावधान है।

कैसे तय होती है ग्रेच्युटी?

ग्रेच्युटी तय करने का फॉर्मूलाः- 15*लास्ट सैलरी*सेवा के साल/26

उदाहरण के लिए विनीत ने एक प्राइवेट कंपनी के लिए 20 साल की सेवा दी है। उनकी लास्ट सैलरी 20 हजार रुपये प्रतिमाह थी। फॉर्मूले के हिसाब से (15*20,000*20)/26 = 2,30,769 रुपये। यानि कि विनीत को 2 लाख 30 हजार 769 रुपये मिलेंगे। ग्रेच्युटी की अधिकतम सीमा 20 लाख रुपये है।

Web Title: Modi government is preparing to provide gratuity in just one year employment, things to know

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