केंद्रीय मंत्रिपरिषदः किरेन रीजीजू के बाद बघेल का भी स्थानांतरण, स्वास्थ्य राज्य मंत्री बनाया, जानें
By सतीश कुमार सिंह | Published: May 18, 2023 04:23 PM2023-05-18T16:23:12+5:302023-05-18T16:27:18+5:30
केंद्रीय मंत्रिपरिषदः राज्य मंत्री प्रोफेसर एस पी सिंह बघेल का कानून मंत्रालय से स्थानांतरण कर दिया गया है और स्वास्थ्य राज्य मंत्री बनाया गया है।
नई दिल्लीः केंद्रीय मंत्रिपरिषद में लगातार बदलाव हो रहा है। चौंकाने वाले बदलाव के तहत किरेन रीजीजू को विधि एवं न्याय मंत्री के पद से हटाकर पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय का जिम्मा सौंप दिया गया। इस बीच राष्ट्रपति भवन के प्रवक्ता ने कहा कि राज्य मंत्री प्रोफेसर एस पी सिंह बघेल का कानून मंत्रालय से स्थानांतरण कर दिया गया है और स्वास्थ्य राज्य मंत्री बनाया गया है।
विधि एवं न्याय मंत्रालय से किरेन रीजीजू को हटाए जाने के कुछ घंटों के बाद ही इस महत्वपूर्ण मंत्रालय के राज्यमंत्री सत्यपाल (एसपी) सिंह बघेल की भी छुट्टी कर दी गई है। उन्हें अब स्वास्थ व परिवार कल्याण मंत्रालय में राज्यमंत्री का जिम्मा सौंपा गया है। राष्ट्रपति भवन की ओर से जारी एक बयान में बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी गई।
Minister of State SP Singh Baghel to be the Minister of State in the Ministry of Health and Family Welfare in place of Minister of State in the Ministry of Law and Justice.
— ANI (@ANI) May 18, 2023
(File photo) pic.twitter.com/osUQrSeh5d
इसमें कहा गया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सलाह पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने एस पी सिंह बघेल को विधि व न्याय मंत्रालय में राज्यमंत्री के स्थान पर स्वास्थ व परिवार कल्याण मंत्रालय में राज्यमंत्री के रूप में नियुक्त किया है। इससे पहले, रीजीजू की जगह संसदीय कार्य राज्यमंत्री अर्जुन राम मेघवाल को विधि एवं न्याय मंत्रालय (स्वतंत्र प्रभार) का जिम्मा सौंपा गया था। रीजीजू को पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय की जिम्मेदारी सौंपी गई।
संसदीय कार्य राज्यमंत्री अर्जुन राम मेघवाल अब देश के विधि व न्याय (स्वतंत्र प्रभार) मंत्री बन गए हैं। संसद में राजस्थान की बीकानेर लोकसभा का प्रतिनिधित्व करने वाले मेघवाल ने अपना कार्यभार संभाल लिया और कहा कि सभी को त्वरित न्याय दिलाना उनकी शीर्ष प्राथमिकता होगी। उन्होंने कहा कि सरकार और न्यायपालिका के बीच कोई टकराव नहीं है।
रीजीजू ने मेघवाल से मुलाकात की और नयी जिम्मेदारी के लिए शुभकामना दी। रीजीजू जहां आदिवासी समुदाय से आते हैं वहीं मेघवाल दलित वर्ग से ताल्लुक रखते हैं। न्यायिक नियुक्तियों को लेकर उच्चतम न्यायालय के साथ लगातार टकराव का सामना करने वाले रीजीजू सात जुलाई, 2021 को देश के कानून मंत्री बने थे।
उन्होंने भारतीय जनता पाटी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता रविशंकर प्रसाद का स्थान लिया था। उस समय खेल मंत्री और अल्पसंख्यक मामलों के राज्य मंत्री रीजीजू को पदोन्नत कर केंद्रीय मत्रिमंडल में शामिल किया गया था। कानून मंत्री के तौर पर रीजीजू उच्चतम न्यायालय और उच्च न्यायालयों के न्यायाधीशों की नियुक्ति की कॉलेजियम प्रणाली की आलोचना करने में सरकार में सबसे मुखर रहे थे।
उन्होंने इस प्रणाली को भारत के संविधान से ‘अलग’ बताया था और कहा था कि यह देश के लोगों द्वारा समर्थित नहीं है। कुछ सेवानिवृत्त न्यायाधीशों के ‘भारत विरोधी गिरोह’ का हिस्सा होने संबंधी उनकी हालिया टिप्पणी पर भी कड़ी प्रतिक्रिया हुई थी।
उन्होंने दावा किया था कि कुछ सेवानिवृत्त न्यायाधीश और कुछ कार्यकर्ता जो ‘भारत विरोधी गिरोह’ का हिस्सा हैं, वे कोशिश कर रहे हैं कि भारतीय न्यायपालिका विपक्षी दल की भूमिका निभाए। राष्ट्रपति भवन की ओर से जारी एक विज्ञप्ति में कहा गया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सलाह पर राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने केंद्रीय मंत्रिपरिषद के मंत्रियों के बीच विभागों का बंटवारा किया है।
बयान में कहा गया है, ‘‘पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय का प्रभार किरेन रीजीजू को सौंपा गया है।’’ केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय का प्रभार संभाल रहे थे। मेघवाल वर्तमान में संसदीय कार्य राज्यमंत्री और संस्कृति राज्यमंत्री हैं। बयान के अनुसार, मेघवाल को उनके मौजूदा विभागों के अतिरिक्त कानून और न्याय मंत्रालय में राज्य मंत्री के रूप में स्वतंत्र प्रभार सौंपा गया है।
इस बीच, रीजीजू ने एक ट्वीट में कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन में केंद्रीय विधि एवं न्याय मंत्री के रूप में कार्य करना उनके लिए ‘एक विशेषाधिकार और सम्मान’ की बात रही है। उन्होंने कहा, ‘‘मैं भारत के प्रधान न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़, उच्चतम न्यायालय के सभी न्यायाधीशों, उच्च न्यायालयों के मुख्य न्यायाधीशों और न्यायाधीशों, निचली न्यायपालिका और सभी कानून अधिकारियों को न्याय की सुगमता सुनिश्चित करने और हमारे नागरिकों के लिए कानूनी सेवाएं प्रदान करने में भारी समर्थन के लिए धन्यवाद देता हूं।’’
रीजीजू ने कहा, ‘‘मैं पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय में प्रधानमंत्री के दृष्टिकोण को पूरा करने के लिए उसी उत्साह और जोश के साथ काम करने को तत्पर हूं, जिसे मैंने एक विनम्र कार्यकर्ता के रूप में आत्मसात किया है।’’ अचानक हुए इस बदलाव के बाद कांग्रेस समेत कुछ विपक्षी दलों ने रीजीजू पर निशाना साधते हुए उन्हें ‘विफल मंत्री’ करार दिया।
कांग्रेस सांसद मणिकम टैगोर ने ट्वीट किया, ‘‘विफल कानून मंत्री चले गये। पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय में वह क्या कर सकते हैं? उम्मीद है कि अर्जुन राम मेघवाल कानून मंत्री के रूप में गरिमापूर्ण तरीके से काम करेंगे।’’ पूर्व विधि एवं न्याय मंत्री सिब्बल ने चुटकी लेते हुए कहा, ‘‘अब कानून नहीं, पृथ्वी विज्ञान मंत्री! कानूनों के पीछे का विज्ञान समझना सरल नहीं है।
अब वह विज्ञान के कानूनों का सामना करेंगे। शुभकामना मेरे दोस्त।’’ उद्धव ठाकरे नीत शिवसेना की नेता और राज्यसभा सदस्य प्रियंका चतुर्वेदी ने रीजीजू को कानून मंत्री पद से हटाकर पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय में भेजे जाने के संभावित कारणों का जिक्र करते हुए कहा कि क्या महाराष्ट्र के मुद्दे पर उच्चतम न्यायालय का हालिया फैसला तो वजह नहीं था? उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘क्या महाराष्ट्र पर आये फैसले से बात बिगड़ी?’’
(इनपुट एजेंसी)