रोजगार पर संतोष गंगवार के बयान को मायावती ने बताया शर्मनाक, कहा-देश से माफी मांगें मंत्री
By स्वाति सिंह | Published: September 15, 2019 03:39 PM2019-09-15T15:39:49+5:302019-09-15T15:45:54+5:30
भारत सरकार में श्रम और रोजगार मंत्रालय में स्वतंत्र प्रभार वाले राज्य मंत्री संतोष गंगवार ने उत्तर प्रदेश के बरेली में एक प्रेस वार्ता में कहा, ''देश में रोजगार की कमी नहीं है। बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की सुप्रीमो मायावती ने इसे शर्मनाक बताया है।
बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की सुप्रीमो मायावती ने अर्थव्यवस्था और रोजगार के मुद्दे पर मोदी सरकार पर निशाना साधा है। मायावती ने कहा कि यह अति-शर्मनाक बयान है जिसके लिए देश से माफी मांगनी चाहिए। मायावती ने ट्वीट किया 'देश में छाई आर्थिक मंदी आदि की गंभीर समस्या के सम्बंध में केन्द्रीय मंत्रियों के अलग-अलग हास्यास्पद बयानों के बाद अब देश व खासकर उत्तर भारतीयों की बेरोजगारी दूर करने के बजाए यह कहना कि रोजगार की कमी नहीं बल्कि योग्यता की कमी है, अति-शर्मनाक है जिसके लिए देश से माफी मांगनी चाहिए।'
उधर, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने केंद्रीय श्रम एवं रोजगार मंत्री संतोष गंगवार के नौकरी वाले बयान पर पलटवार किया है। प्रियंका ने ट्वीट किया 'मंत्रीजी, 5 साल से ज्यादा आपकी सरकार है। नौकरियाँ पैदा नहीं हुईं। जो नौकरियाँ थीं वो सरकार द्वारा लाई आर्थिक मंदी के चलते छिन रही हैं। नौजवान रास्ता देख रहे हैं कि सरकार कुछ अच्छा करे। आप उत्तर भारतीयों का अपमान करके बच निकलना चाहते हैं। ये नहीं चलेगा।'
देश में छाई आर्थिक मंदी आदि की गंभीर समस्या के सम्बंध में केन्द्रीय मंत्रियों के अलग-अलग हास्यास्पद बयानों के बाद अब देश व खासकर उत्तर भारतीयों की बेरोजगारी दूर करने के बजाए यह कहना कि रोजगार की कमी नहीं बल्कि योग्यता की कमी है, अति-शर्मनाक है जिसके लिए देश से माफी मांगनी चाहिए।
— Mayawati (@Mayawati) September 15, 2019
दरअसल, रविवार को भारत सरकार में श्रम और रोजगार मंत्रालय में स्वतंत्र प्रभार वाले राज्य मंत्री संतोष गंगवार ने उत्तर प्रदेश के बरेली में एक प्रेस वार्ता में कहा, ''देश में रोजगार की कमी नहीं है। हमारे उत्तर भारत में जो रिक्रूटमेंट करने आते हैं इस बात का सवाल करते हैं कि जिस पद के लिए हम रख रहे हैं उसकी क्वॉलिटी का व्यक्ति हमें कम मिलता है।''
मंत्रीजी, 5 साल से ज्यादा आपकी सरकार है। नौकरियाँ पैदा नहीं हुईं। जो नौकरियाँ थीं वो सरकार द्वारा लाई आर्थिक मंदी के चलते छिन रही हैं। नौजवान रास्ता देख रहे हैं कि सरकार कुछ अच्छा करे।
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) September 15, 2019
आप उत्तर भारतीयों का अपमान करके बच निकलना चाहते हैं। ये नहीं चलेगा।https://t.co/2f9ZhGmVoT
संतोष गंगवार ने मंत्रालय का पदभार संभालते वक्त स्पष्ट किया था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार के दूसरे कार्यकाल में श्रम सुधारों और अनौपचारिक क्षेत्र के कामगारों के कल्याण पर ध्यान दिया जाएगा। उन्होंने जानकारी दी थी कि विभिन्न सामाजिक सुरक्षा योजनाओं के तहत मंत्रालय के दायरे में औपचारिक क्षेत्र के करीब 6 करोड़ कामगार हैं लेकिन एनडीए की पिछली सरकार ने अनौपचारिक क्षेत्र के करीब 50 करोड़ कामगारों के कल्याण की योजनाओं पर का शुरू किया है।
बता दें कि मोदी सरकार के सामने देश में रोजगार पैदा करने की बड़ी चुनौती है। पिछली सरकार हो या वर्तमान सरकार दोनों के चुनावी एजेंडे में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की अगुवाई वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) ने रोजगार सृजन के वादे को प्रमुखता से जगह दी थी और कांग्रेस समेत तमाम विपक्षी दल रोजगार पैदा करने के मोर्चे पर नरेंद्र मोदी सरकार में असफल बता चुके हैं। हालांकि, लोगों को स्वावलंबी बनाने के लिए मोदी सरकार कौशल विकास और प्रधानमंत्री मुद्रा लोन जैसी सुविधाएं लेकर आई। मुद्रा लोन के तहत कम ब्याज दर पर बैंक से लोन लेकर खुद का व्यवसाय शुरू किया जा सकता है।