मध्यप्रदेश: शहडोल और सागर के भाजपा सांसद बगावत की राह पर, डा. विनय सहस्त्रबुद्धे को मिला मनाने का जिम्मा
By राजेंद्र पाराशर | Published: April 26, 2019 09:25 AM2019-04-26T09:25:37+5:302019-04-26T09:25:37+5:30
शहडोल में ज्ञान सिंह भाजपा प्रत्याशी के लिए परेशानी बनते जा रहे हैं. वहीं अब सागर के सांसद लक्ष्मीनारायण यादव की नाराजगी सामने आई है.
मध्यप्रदेश में भाजपा टिकट कटने से नाराज सांसदों को मना नहीं पा रही है. सांसदों की नाराजगी अब खुलकर सामने आ रही है. सागर के सांसद लक्ष्मीनारायण यादव ने अब भाजपा प्रत्याशी के खिलाफ मोर्चा खोला है और साफ कह दिया कि वे पार्टी के प्रत्याशी के लिए प्रचार नहीं करेंगे.
उन्होंने यहां तक आरोप लगा दिया कि एक पूर्व मंत्री ने संसदीय क्षेत्र में हाइजेक कर लिया है. वहीं बुरहानपुर के विधायक सुरेन्द्र सिंह शेरा नेफिर से कांग्रेस प्रत्याशी अरुण यादव के खिलाफ अपनी पत्नी को मैदान में उतरने की बात कही है.
मध्यप्रदेश में भाजपा और कांग्रेस दोनों ही दल अपनों की नाराजगी को दूर नहीं कर पा रहे हैं. कांग्रेस से ज्यादा नाराजगी भाजपा में दिखाई दे रही है. भाजपा में टिकट कटने से नाराज चल रहे सांसद अब तक नहीं माने हैं. भाजपा के चुनाव प्रभारी स्वतंत्रदेव सिंह, सह चुनाव प्रभारी सतीश उपाध्याय और प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भी इन नाराज सांसदों को मनाने का प्रयास कर चुके हैं, मगर सभी नेताओं के ये प्रयास विफल रहे हैं.
पार्टी संगठन ने बालाघाट सांसद के बागी होने पर निष्कासन की कार्रवाई कर यह प्रयास किया था कि अन्य नाराज सांसद मान जाएंगे, मगर ऐसा हो नहीं रहा है. शहडोल में ज्ञान सिंह भाजपा प्रत्याशी के लिए परेशानी बनते जा रहे हैं. वहीं अब सागर के सांसद लक्ष्मीनारायण यादव की नाराजगी सामने आई है. यादव का टिकट उम्र का क्राइटेरिया बताकर काट दिया गया. यहां पर उनके स्थान पर राजबहादुर सिंह को प्रत्याशी घोषित किया गया है.
जैन समाज इस प्रत्याशी के नाम पर सहमत नहीं था और उसने उमा भारती के समर्थक मुकेश जैन ढ़ाना को मैदान में उतार दिया है. वहीं अब यादव ने प्रत्याशी के खिलाफ साफ कर दिया कि वे उसका प्रचार करने नहीं जाएंगे.यादव ने एक पूर्व मंत्री पर यह आरोपी भी लगाया कि जिले में पूर्व मंत्री ने पार्टी को हाईजेक कर लिया है.
यादव ने अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए यह कहा कि वे पार्टी तो नहीं छोड़ेंगे, बल्कि सागर संसदीय क्षेत्र में प्रत्याशी का विरोध करेंगे. वे दूसरे क्षेत्र में जाकर पार्टी के लिए प्रचार करेंगे. भाजपा संगठन ने अब प्रदेश भाजपा प्रभारी डा. विनय सहस्त्रबुद्धे को नाराज नेताओं को मनाने की जिम्मेदारी सौंपी है.
डा. सहस्त्रबुद्धे ने ग्वालियर-चंबल अंचल के नेताओं से बातचीत तो शुरु की है, मगर अभी तक उन्हें भी इस मामले में सफलता नहीं मिली है.