विजय दिवस की 22वीं वर्षगांठः करगिल नहीं पहुंच पाए राष्ट्रपति, डैगर युद्ध स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित की
By सुरेश एस डुग्गर | Published: July 26, 2021 03:51 PM2021-07-26T15:51:27+5:302021-07-26T15:52:31+5:30
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद खराब मौसम के कारण विजय दिवस की 22वीं वर्षगांठ पर करगिल के शहीदों को श्रद्धांजलि देने के लिए सोमवार को द्रास का दौरा नहीं कर सके।
जम्मूः तीन सालों में दूसरी बार जोजिला में खराब मौसम के कारण राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद करगिल विजय दिवस पर द्रास नहीं पहुंच पाए। उन्होंने देश की रक्षा में अपने प्राणों की आहुति देने वाले सभी सैनिकों को बारामुल्ला स्थित डैगर युद्ध स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित की।
इसके बाद राष्ट्रपति ने चिनार कोर और हाई एल्टीट्यूड वारफेयर स्कूल, गुलमर्ग पहुंच कर सैन्य अधिकारियों और जवानों से बातचीत की। इस दौरान प्रदेश के उप-राज्यपाल मनोज सिन्हा भी मौजूद रहे। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद का कारगिल दौरा आज सोमवार को खराब मौसम के कारण रद्द कर दिया गया।
On Kargil Vijay Diwas, President Kovind laid a wreath at the Dagger War Memorial, Baramulla, Jammu & Kashmir, to pay tributes to all soldiers who sacrificed their lives in defending the nation. pic.twitter.com/0ZheR8KIZr
— President of India (@rashtrapatibhvn) July 26, 2021
कारगिल द्रास शहीदी स्मारक न पहुंच जाने पर राष्ट्रपति बारामुला स्थित डैगर युद्ध स्मारक पर पहुंचे और शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित की। उनके साथ उपराज्यपाल मनोज सिन्हा के अलावा सेना के कई वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल थे। देश की रक्षा में अपनी जान अर्पित करने वाले शहीदों को श्रद्धासुमन अर्पित करते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि सेना के इन वीरों की शहादत की वजह से ही आज देश का हर नागरिक शांति से अपना जीवन व्यतीत कर रहा है। राष्ट्रपति ने कहा कि देश का हर नागरिक इन वीरों व इनके परिजनों का सदैव कर्जदार रहेगा।
इनकी शहादत को इसी तरह हमेशा याद रखना चाहिए। उन्होंने इस दौरान कश्मीर घाटरी में आतंकवाद व पड़ोसी देशों की सेनाओं की साजिशों का सामना कर रहे सैनिकों का मनोबल बढ़ाते हुए कहा कि वे इसी वीरता व साहस के साथ सरहद पर डटे रहकर दुश्मन की हर नापाक साजिश को नाकाम बनाएं।
In a message at the Dagger War Memorial at Baramulla, President Kovind paid tributes to the soldiers who laid down their lives defending the nation with indomitable courage and valour. pic.twitter.com/YweORqkf7W
— President of India (@rashtrapatibhvn) July 26, 2021
खराब मौसम की वजह से आज सोमवार सुबह राष्ट्रपति का विशेष विमान श्रीनगर एयरपोर्ट से उड़ान नहीं भर पाया। जोजिला दर्रे जैसी हिमालय की चोटियों को इस मौसम में पार करना कठिन हो सकता था। वहीं प्रशासनिक अधिकारी ने बताया कि राष्ट्रपति कारगिल शहीदों को श्रद्धांजलि अर्पित कर सकें इसके लिए प्लान-बी तैयार किया गया।
इस प्लान के तहत राष्ट्रपति गुलमर्ग बारामुल्ला पहुंचे। वहां स्थित हाई एल्टीट्यूड वारफेयर स्कूल में आयोजित समारोह से पूर्व उन्होंने डैगर युद्ध स्मारक पर शहीदों को श्रद्धांजलि दी। राष्ट्रपति वर्ष 2019 में भी आए थे उस दौरान भी वह खराब मौसम के कारण कारगिल विजय दिवस पर श्रद्धांजलि समारोह में नहीं पहुंच पाए थे।
President Kovind interacts with officers and jawans of Chinar Corps and High Altitude Warfare School, Gulmarg. pic.twitter.com/aWamNV8zov
— President of India (@rashtrapatibhvn) July 26, 2021
उस दौरान उन्होने बदामीबाग स्थित सेना की 15कोर के हेडक्वार्टर में आयोजित समारोह के दौरान शहीदों को श्रद्धांतलि दी थी। आज भी करगिल न जा पाने की सूरत में वह गुलमर्ग स्थित हाई एल्टीट्यूड वारफेयर स्कूल में उपराज्यपाल मनोज सिन्हा के साथ पहुंचे और शहीदों के समक्ष श्रद्धासुमन अर्पित किए।
इस बीच करगिल युद्ध में अपना जीवन बलिदान करने वाले सैनिकों को सेना ने लद्दाख के द्रास सेक्टर में स्थित युद्ध स्मारक पर जा कर सोमवार को श्रद्धांजलि दी । गौरतलब है कि 1999 में भारतीय सशस्त्र बलों ने अपने शौर्य का परिचय देते हुये करगिल की पहाड़ी की चोटी पर कब्जा करने के पाकिस्तान के मंसूबे को विफल कर दिया था । इसे ‘आपरेशन विजय’ नाम दिया गया था ।
श्रीनगर के जन संपर्क अधिकारी (रक्षा) कर्नल एमरान मुसावी ने बताया कि द्रास स्थित युद्ध स्मारक पर करगिल विजय दिवस की 22 वीं वर्षगांठ पर एक समारोह का आयोजन किया गया था । लद्दाख के उप राज्यपाल आर के माथुर ने इस समारोह में बतौर मुख्य अतिथि हिस्सा लिया । उन्होंने स्मारक पर पुष्पचक्र अर्पित किये और शहीदों को श्रद्धांजलि दी । पूरे देश में आज उन शहीदों को श्रद्धांजलि दी जा रही है।