एमबीबीएस के प्रथम वर्ष को छात्रों को हिंदुत्व से जुड़े व्यक्तियों व आंबेडकर के बारे में पढ़ाया जाएगा
By भाषा | Published: September 5, 2021 08:40 PM2021-09-05T20:40:44+5:302021-09-05T20:40:44+5:30
मध्य प्रदेश के शिक्षा मंत्री विश्वास सारंग ने रविवार को कहा कि प्रदेश में एमबीबीएस छात्रों को प्रथम वर्ष के आधार पाठ्यक्रम के तहत राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के संस्थापक के बी हेडगेवार, भारतीय जनसंघ के नेता दीनदयाल उपाध्याय, स्वामी विवेकानंद और बी आर आंबेडकर के सिद्धांतों एवं जीवन दर्शन के बारे में पढ़ाया जाएगा। सारंग ने कहा कि इस पहल का उद्देश्य एमबीबीएस के छात्रों को सामाजिक और नैतिक मूल्य सिखाना है। हेडगेवार, उपाध्याय, स्वामी विवेकानंद संघ के हिंदुत्व पंथ का हिस्सा हैं, जो सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वैचारिक एवं राजनीतिक परामर्शदाता के रूप में माने जाते हैं।मंत्री ने कहा कि एमबीबीएस प्रथम वर्ष के छात्र आयुर्वेद के जनक महर्षि चरक और शल्य चिकित्सा के जनक के रूप में जाने जाने वाले भारत के महान चिकित्साशास्त्री ऋषि सुश्रुत के बारे में भी पढ़ेंगे। सारंग ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘एमबीबीएस (बैचलर ऑफ मेडिसिन, बैचलर ऑफ सर्जरी) के प्रथम वर्ष के पाठ्यक्रम में छात्रों को हेडगेवारजी, उपाध्याय जी, स्वामी विवेकानंदजी, आंबेडकरजी और अन्य महान हस्तियों के बारे में व्याख्यान दिया जाएगा। इन महान हस्तियों के जीवन दर्शन पर दिये गये व्याख्यान छात्रों में नैतिक मूल्यों एवं सिद्धांतों के साथ-साथ सामाजिक और चिकित्सीय नैतिकता को जागृत करेगा।’’ एमबीबीएस छात्रों के लिए अगला शैक्षणिक सत्र इस साल के अंत तक शुरू होने की संभावना है। उन्होंने कहा, ‘‘राष्ट्रीय आयुर्विज्ञान आयोग (एनएमसी) के मुताबिक, नैतिक मूल्यों को (एमबीबीएस के) प्रथम वर्ष में आधार पाठ्यक्रम का हिस्सा होना चाहिए। इसलिए हमने छात्रों के चरित्र के निर्माण के लिए इन महान हस्तियों को शामिल करने के बारे में सोचा।
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