कोलकाता में दिखे फरार चल रहे जीजेएम प्रमुख बिमल गुरुंग, पुलिस ने नहीं किया अरेस्ट, NDA से तोड़ा नाता, टीएमसी के साथ गठबंधन

By सतीश कुमार सिंह | Published: October 21, 2020 07:07 PM2020-10-21T19:07:05+5:302020-10-21T20:14:47+5:30

जीजेएम सुप्रीमो बिमल गुरुंग संवाददाताओं को संबोधित करने वाले थे, लेकिन अधिकारियों ने उन्हें कोलकाता के पास साल्ट लेक के गोरखा भवन में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दी।

Gorkha Janmukti Morcha leader Bimal Gurung seen Salt Lake Kolkata grenade attack at Kalimpong Police Station Darjeeling | कोलकाता में दिखे फरार चल रहे जीजेएम प्रमुख बिमल गुरुंग, पुलिस ने नहीं किया अरेस्ट, NDA से तोड़ा नाता, टीएमसी के साथ गठबंधन

2021 के बंगाल चुनाव में हम टीएमसी के साथ गठबंधन करेंगे और बीजेपी को जवाब देंगे। (photo-ani)

Highlights हम राजग से अलग हो रहे हैं क्योंकि भाजपा नीत सरकार ने अपने वायदों को पूरा नहीं किया।केंद्र ने उनके द्वारा की गई प्रतिबद्धता को पूरा नहीं किया लेकिन ममता बनर्जी ने अपने द्वारा किए गए सभी वादों को पूरा किया। मैं खुद को एनडीए से अलग करना चाहूंगा, मैं बीजेपी के साथ अपने संबंध तोड़ना चाहूंगा।

कोलकाताः गोरखा जनमुक्ति मोर्चा के नेता बिमल गुरुंग आज कोलकाता के साल्ट लेक में दिखे। उन पर कलिम्पोंग पुलिस स्टेशन पर ग्रेनेड हमले और दार्जिलिंग के चौक बाजार क्षेत्र में 2017 में विस्फोट के संबंध में गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम के तहत आरोप लगाया गया था और फरार हो गए थे।

जीजेएम सुप्रीमो बिमल गुरुंग संवाददाताओं को संबोधित करने वाले थे, लेकिन अधिकारियों ने उन्हें कोलकाता के पास साल्ट लेक के गोरखा भवन में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दी। जीजेएम नेता बिमल गुरुंग ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि हम राजग से अलग हो रहे हैं क्योंकि भाजपा नीत सरकार ने अपने वायदों को पूरा नहीं किया।

2021 के विधानसभा चुनाव में हम ममता बनर्जी नीत तृणमूल कांग्रेस का समर्थन करेंगे

जीजेएम नेता बिमल गुरुंग ने कहा कि बंगाल में 2021 के विधानसभा चुनाव में हम ममता बनर्जी नीत तृणमूल कांग्रेस का समर्थन करेंगे और भाजपा का विरोध करेंगे। केंद्र ने उनके द्वारा की गई प्रतिबद्धता को पूरा नहीं किया लेकिन ममता बनर्जी ने अपने द्वारा किए गए सभी वादों को पूरा किया। इसलिए, मैं खुद को एनडीए से अलग करना चाहूंगा, मैं बीजेपी के साथ अपने संबंध तोड़ना चाहूंगा। 2021 के बंगाल चुनाव में हम टीएमसी के साथ गठबंधन करेंगे और बीजेपी को जवाब देंगे।

मैं केवल इतना कहना चाहता हूं कि गोरखालैंड की हमारी मांग अभी भी बनी हुई है, हम इस कारण को आगे बढ़ाएंगे। यह हमारा उद्देश्य है, हमारी दृष्टि है। 2024 के चुनाव में, हम उस पार्टी का समर्थन करेंगे जो इस कारण को आगे बढ़ाएगी। दार्जिलिंग में आंदोलन के बाद 2017 से फरार चल रहे जीजेएम सुप्रीमो बिमल गुरुंग कोलकाता के पास साल्ट लेक इलाके में नजर आए।

दार्जिलिंग में अलग राज्य के लिए आंदोलन के बाद 2017 से फरार चल रहे जीजेएम सुप्रीमो बिमल गुरुंग ने बुधवार को कहा कि उनके संगठन ने राजग से बाहर होने का फैसला किया है क्योंकि भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार पहाड़ी क्षेत्र के लिए ‘‘स्थायी राजनीतिक समाधान तलाशने में नाकाम रही है।’’ करीबी सहयोगी रोशन गिरि के साथ सामने आए गुरुंग ने कहा कि केंद्र सरकार 11 गोरखा समुदायों को अनुसूचित जनजाति के तौर पर चिन्हित करने के अपने वादे को पूरा करने में नाकाम रही है।

उन्होंने 2021 के पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में भाजपा के खिलाफ मुकाबले में ममता बनर्जी के नेतृत्व वाली तृणमूल कांग्रेस का समर्थन करने का संकल्प जताया। गुरुंग ने यहां एक होटल में संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘2009 से ही हम राजग का हिस्सा रहे हैं लेकिन भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार ने पहाड़ के लिए स्थायी राजनीतिक समाधान निकालने का अपना वादा नहीं निभाया। उसने अनुसूचित जनजाति की सूची में 11 गोरखा समुदायों को शामिल नहीं किया। हम ठगा हुआ महसूस कर रहे हैं इसलिए आज हम राजग छोड़ रहे हैं।’’

गोरखा जनमुक्ति मोर्चा (जीजेएम) नेता गुरंग ने कहा कि पहाड़ छोड़ने के बाद वह तीन साल नयी दिल्ली में रहे और दो महीने पहले झारखंड चले गए थे। उन्होंने कहा, ‘‘अगर आज मैं गिरफ्तार हो गया तो कोई दिक्कत नहीं।’’ आंदोलन में कथित तौर पर हिस्सा लेने के लिए गुरुंग के खिलाफ 150 से ज्यादा मामले दर्ज किए गए थे।

दार्जिलिंग में वर्ष 2017 में पृथक राज्य की मांग को लेकर हुए प्रदर्शनों के बाद से फरार चल रहे जीजेएम प्रमुख बिमल गुरुंग को बुधवार को यहां के सॉल्ट लेक इलाके में गोरखा भवन के बाहर देखा गया। यहां वह मीडियाकर्मियों को संबोधित करने के लिये पहुंचे थे। सूत्रों ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि पुलिस उस स्थान पर मौजूद थी लेकिन उसने गुरुंग को गिरफ्तार नहीं किया।

गुरुंग पर 150 से ज्यादा मामले दर्ज हैं। इनमें गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) के तहत दर्ज मामले भी शामिल हैं। गोरखा भवन के अधिकारियों ने गुरुंग को अंदर आने नहीं दिया, जिसके बाद गुरुंग को कार में इंतजार करते देखा गया और बाद में वह वहां से चले गये। गौरतलब है कि 2017 में दार्जिलिंग में हुए विरोध प्रदर्शनों के बाद से पहली बार जीजेएम नेता को देखा गया है। गिरफ्तारी के बचने के लिए वह फरार चल रहे थे।

Web Title: Gorkha Janmukti Morcha leader Bimal Gurung seen Salt Lake Kolkata grenade attack at Kalimpong Police Station Darjeeling

भारत से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे