Dharmendra Pradhan Odisha: लो जी हो गया कंफर्म!, ओडिशा में कौन बनेगा मुख्यमंत्री, पीएम मोदी के साथ रहेंगे ये तीनों दिग्गज
By सतीश कुमार सिंह | Updated: June 9, 2024 16:04 IST2024-06-09T15:58:40+5:302024-06-09T16:04:33+5:30
Dharmendra Pradhan Odisha: लोकप्रिय आदिवासी चेहरे और छह बार के सुंदरगढ़ के सांसद जुएल ओरम, संबलपुर के सांसद धर्मेंद्र प्रधान और राज्यसभा सांसद अश्विनी वैष्णव केंद्रीय मंत्रिपरिषद में बने रहेंगे।

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Dharmendra Pradhan Odisha: मनोनीत प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी रविवार शाम को शपथ लेने जा रहे हैं। इस बीच पुराने सहयोगी भी शपथ ले सकते हैं। ओडिशा में भाजपा ने लोकसभा चुनाव में शानदार प्रदर्शन किया है। लोकप्रिय आदिवासी चेहरे और छह बार के सुंदरगढ़ के सांसद जुएल ओरम, संबलपुर के सांसद धर्मेंद्र प्रधान और राज्यसभा सांसद अश्विनी वैष्णव केंद्रीय मंत्रिपरिषद में बने रहेंगे। अब सवाल है कि ओडिशा में मुख्यमंत्री कौन बनेगा। भाजपा के पहली बार सत्ता संभालने के साथ ही ओराम और प्रधान दोनों को मुख्यमंत्री पद की दौड़ में सबसे आगे माना जा रहा था।
54 वर्षीय प्रधान ने मोदी के पिछले दो कार्यकालों में केंद्रीय मंत्री के रूप में काम किया है और पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस, शिक्षा और कौशल विकास जैसे प्रमुख विभागों को संभाला है और उन्हें ओडिशा में भाजपा का एक प्रमुख चेहरा माना जाता है। पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री के रूप में अपने कार्यकाल के दौरान प्रधान मंत्री उज्ज्वला योजना के सफल कार्यान्वयन का श्रेय दिया जाता है।
पूर्व केंद्रीय मंत्री देबेंद्र प्रधान के बेटे, धर्मेंद्र को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के साथ घनिष्ठ संबंध माना जाता है। भुवनेश्वर के उत्कल विश्वविद्यालय से मानव विज्ञान में मास्टर डिग्री हासिल की। प्रधान ने 1983 में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) कार्यकर्ता के रूप में अपना राजनीतिक जीवन शुरू किया।
अंगुल जिले के तालचेर के रहने वाले प्रधान पहली बार 2000 में पल्लाहारा विधानसभा सीट से राज्य विधानसभा के लिए चुने गए और 2004 में तत्कालीन देवगढ़ संसदीय क्षेत्र से लोकसभा में चले गए। 2019 में, जब बीजद के साथ गठबंधन समाप्त होने के बाद भाजपा ने ओडिशा में अपने दम पर विधानसभा चुनाव लड़ा, तो प्रधान ने फिर से पल्लाहारा से चुनाव लड़ा, लेकिन असफल रहे।
बाद में दो बार राज्यसभा के लिए नामांकित किया गया। प्रधान ने बिहार में भाजपा के चुनाव प्रभारी और कर्नाटक, उत्तराखंड, झारखंड और ओडिशा में पार्टी मामलों के प्रभारी के रूप में भी काम किया है। ओडिशा में पहली भाजपा सरकार के शपथग्रहण समारोह की तारीख 10 जून की जगह 12 जून कर दी गई है। पार्टी नेता जतिन मोहंती और विजयपाल सिंह तोमर ने रविवार को इसकी पुष्टि की।
मोहंती ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की व्यस्तता के कारण कार्यक्रम स्थगित किया गया है। मोदी रविवार को अपने शपथग्रहण समारोह में व्यस्त रहेंगे और अगले दिन पार्टी सांसदों से मिलेंगे। इसके अलावा, नवनिर्वाचित सदस्यों की पहली विधायक दल की बैठक अब 11 जून को तय की गई है। चुनाव प्रचार के दौरान मोदी ने कहा था कि ओडिशा की पहली भाजपा सरकार 10 जून को शपथ लेगी।
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष मनमोहन सामल ने भी शनिवार को इसकी पुष्टि की थी। पार्टी सूत्रों ने हालांकि बताया कि तारीख बदलने का फैसला रविवार को लिया गया। इस बीच, नए मुख्यमंत्री को लेकर अब भी रहस्य बना हुआ है। सूत्रों के मुताबिक, भाजपा के वरिष्ठ नेता और नवनिर्वाचित विधायक सुरेश पुजारी नयी दिल्ली पहुंचे, जिससे अटकलें लगाई जा रही हैं कि वह शीर्ष पद के प्रमुख दावेदारों में से एक हो सकते हैं। पुजारी 2019 के चुनाव में बरगढ़ से लोकसभा के लिए चुने गए थे। उन्होंने हाल ही में ब्रजराजनगर विधानसभा क्षेत्र से चुनाव जीता।
उनके समर्थकों का मानना है कि उन्हें केंद्रीय नेताओं के साथ चर्चा के लिए नयी दिल्ली बुलाया गया है। भाजपा का केंद्रीय नेतृत्व अभी तक मुख्यमंत्री पद के लिए किसी नेता के नाम पर अंतिम फैसला नहीं कर पाया है, लेकिन पार्टी की ओडिशा इकाई के अध्यक्ष मनमोहन सामल ने शनिवार को संवाददाताओं से कहा कि स्पष्ट तस्वीर सामने आने के लिए दो दिन और इंतजार करना होगा।
नयी दिल्ली से लौटने के बाद सामल ने कहा कि भाजपा संसदीय बोर्ड अपनी बैठक में मुख्यमंत्री के बारे में निर्णय लेगा। भाजपा ने 147 सदस्यीय विधानसभा में 78 सीट जीतकर सहज बहुमत हासिल किया। पार्टी ने मुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित किए बिना मोदी के नेतृत्व में चुनाव लड़ा था। इस बीच, भुवनेश्वर के जनता मैदान में शपथग्रहण समारोह के आयोजन की तैयारियां चल रही हैं।