पश्चिम बंगाल: मस्जिदें खोलने पर कन्फ्यूजन, बंगाल इमाम एसोसिएशन के अध्यक्ष ने दी घर से ही नमाज अदा करने की सलाह
By अजीत कुमार सिंह | Published: May 31, 2020 03:16 PM2020-05-31T15:16:08+5:302020-05-31T15:16:08+5:30
ममता बनर्जी ने 1 जून से धार्मिक स्थलों को खोलने और जून के दूसरे हफ्ते से 70 प्रतिशत कर्मचारियों की उपस्थिति के साथ राज्य सरकार के कार्यालयों में कामकाज शुरू करने जैसे कई तरह की छूट देने का एलान किया था.
1 जून से पश्चिम बंगाल में धार्मिक स्थलों को खोले जाने पर कन्फ्यजन बना हुआ है. बंगाल इमाम एसोसिएशन के अध्यक्ष मोहम्मद याहिया कहते हैं कि अपनी प्रेस कॉन्फ्रेंस में सीएम ममता बनर्जी ने सभी धार्मिक स्थलों को 1 जून से खोले जाने का एलान कर दिया था. हमारे पास इसे लेकर ज्यादा जानकारी नहीं होने की वजह से हम इस पर कोई फैसला नहीं ले पा रहे हैं.
याहिया कहते हैं कोविड 19 महामारी की वजह से पैदा हुए हालात में हमारी सलाह यही है कि हमें पहले की तरह घरों में ही नमाज़ अदा करनी चाहिए. याहिया मस्जिद कमेटी और इमामों से अपील करते हैं कि मस्जिदों को फिलहाल बंद ही रखा जाए. अगर आगे 1 महीना मस्जिदें नहीं खुलेंगी तो इससे कोई ज्यादा नुकसान नहीं होगा.
It is our suggestion that we should continue to offer prayers as we are doing now as situation is grim. We also appeal to Masjid Committees&Imams to not open the doors of mosques immediately.If mosques don't open for a month, it won't incur any loss: Mohammad Yahiya #WestBengalhttps://t.co/4zz2vDZeuh
— ANI (@ANI) May 31, 2020
क्या कहा था सीएम ममता बनर्जी ने
29 मई को कोविड-19 लॉकडाउन के जारी रहने का संकेत देते हुए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने 1 जून से धार्मिक स्थलों को खोलने और जून के दूसरे हफ्ते से 70 प्रतिशत कर्मचारियों की उपस्थिति के साथ राज्य सरकार के कार्यालयों में कामकाज शुरू करने जैसे कई तरह की छूट देने का एलान किया था. ममता बनर्जी ने कहा था कि राज्य सरकार के कार्यालय 70 प्रतिशत उपस्थिति के साथ काम करेंगे जबकि निजी क्षेत्र को कामकाज पर खुद फैसला लेना होगा । इससे पहले बनर्जी ने आठ जून से निजी और सरकारी कार्यालयों को पूरी उपस्थिति के साथ खोलने की घोषणा की थी। अपने फेसबुक पेज पर एक बयान में बनर्जी ने कहा कि जरूरी असर के लिए लॉकडाउन जारी रहेगा । कर्नाटक के बाद पश्चिम बंगाल ऐसा दूसरा राज्य होगा जो धार्मिक स्थलों के द्वार को खोलने की अनुमति देगा।
इनपुट भाषा