BJP-AIADMK के बीच हुआ गठबंधन का आधिकारिक एलान, बीजेपी 5 सीटों पर लड़ेगी चुनाव
By विकास कुमार | Published: February 19, 2019 05:52 PM2019-02-19T17:52:12+5:302019-02-19T17:58:28+5:30
अन्नाद्रमुक के संयोजक और उपमुख्यमंत्री ओ. पन्नीरसेल्वम तथा केंद्रीय मंत्री एवं भाजपा के वरिष्ठ नेता पीयूष गोयल ने ‘‘महागठबंधन’’की घोषणा की। गोयल तमिलनाडु के लिए भाजपा के प्रभारी हैं।
चेन्नई में पीयूष गोयल ने पनीरसेल्वम और पलानीस्वामी की मौजूदगी में गठबंधन का एलान कर दिया है। उन्होंने कहा है कि यह गठबंधन राज्य में बड़ी जीत दर्ज करेगा। बीजेपी 5 सीटों पर चुनाव लड़ेगी और AIADMK 21 सीटों पर चुनाव लड़ेगी। बाकी सीट सहयोगी दल पीएमके को और अन्य दलों को मिलेगा।
अन्नाद्रमुक के संयोजक और उपमुख्यमंत्री ओ। पन्नीरसेल्वम तथा केंद्रीय मंत्री एवं भाजपा के वरिष्ठ नेता पीयूष गोयल ने ‘‘महागठबंधन’’की घोषणा की। गोयल तमिलनाडु के लिए भाजपा के प्रभारी हैं।
Piyush Goyal, BJP: We will support AIADMK in the by-elections on 21 assembly seats in Tamil Nadu. We have agreed to contest elections in the leadership of OPS & EPS in state & in leadership of Modi Ji in center pic.twitter.com/2nUZAPHiaM
— ANI (@ANI) February 19, 2019
दोनों दलों के बीच दूसरे और अंतिम दौर की चर्चा के बाद यह घोषणा की गई। चर्चा में मुख्यमंत्री के। पलानीस्वामी भी शामिल थे। इससे पहले अन्नाद्रमुक ने पीएमके के साथ समझौता किया जिसके तहत वेन्नियार की पार्टी को 40 में से सात सीटें दी गईं। केंद्र शासित क्षेत्र पुडुचेरी की सीट भी पीएमके के हिस्से में गई है।
Tamil Nadu Deputy CM O Panneerselvam: AIADMK and BJP will have an alliance for Lok Sabha elections which will be a mega and winning alliance pic.twitter.com/WeEADmnzR6
— ANI (@ANI) February 19, 2019
जयललिता के निधन के बाद जब पलानीस्वामी और पनीरसेल्वम के बीच राजनीतिक तकरार हुआ था तब पीएम मोदी ने ही बीच-बचाव किया था और पार्टी को टूटने से बचाया था। इसके बाद से ही कहा जा रहा था कि नरेन्द्र मोदी और पनीरसेल्वम की बढ़ती नजदीकियों के मायने हैं जिसका असर लोकसभा चुनाव से पहले मिल सकता है।
बीजेपी और एआईएडीएमके के बीच गठबंधन की ख़बरें ऐसे समय में आ रही है जब डीएमके के अध्यक्ष स्टालिन ने कांग्रेस के साथ गठबंधन करने का इशारा दिया है। लेकिन अभी तक कोई भी औपचारिक एलान नहीं हुआ है।
जयललिता और नरेन्द्र मोदी की राजनीतिक नजदीकी हमेशा से रही थी। लेकिन कभी चुनावी गठबंधन नहीं हुआ। लेकिन अम्मा के निधन के बाद उनकी पार्टी की स्थिति कमजोर हुई है और कमल हसन और रजनीकांत जैसे नए खिलाड़ियों के आ जाने के कारण भी प्रतिस्पर्धा बढ़ गई है। ऐसे में एआईएडीएमके के पास बीजेपी से गठबंधन के अलावा कोई ख़ास चारा नहीं रह गया था।