करणी सेना ने कहा-भय्यू महाराज पर था सरकार का दबाव, होनी चाहिए CBI जांच
By भाषा | Published: June 19, 2018 05:24 AM2018-06-19T05:24:04+5:302018-06-19T05:24:04+5:30
राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना के अध्यक्ष सुखदेव सिंह गोगामेड़ी ने यहां संवाददाताओं से कहा, "हमें सोशल मीडिया और अन्य स्त्रोतों से सूचनाएं मिल रही हैं कि भय्यू महाराज के पास नर्मदा नदी के किसी बड़े रेत घोटाले के अहम दस्तावेज थे और सरकार इस कारण उन पर दबाव बना रही थी।
इंदौर, 19 जूनः राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना ने सोमवार को दावा किया कि हाई प्रोफाइल आध्यात्मिक गुरु भय्यू महाराज के पास नर्मदा नदी के किसी बड़े रेत घोटाले के अहम दस्तावेज थे और इस वजह से सरकार उन पर दबाव बना रही थी। राजपूत संगठन ने मांग की कि आध्यात्मिक गुरु की मौत के मामले की सीबीआई जांच करायी जाये।
राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना के अध्यक्ष सुखदेव सिंह गोगामेड़ी ने यहां संवाददाताओं से कहा, "हमें सोशल मीडिया और अन्य स्त्रोतों से सूचनाएं मिल रही हैं कि भय्यू महाराज के पास नर्मदा नदी के किसी बड़े रेत घोटाले के अहम दस्तावेज थे और सरकार इस कारण उन पर दबाव बना रही थी। " गोगामेड़ी ने हालांकि अपने इस दावे के समर्थन में मीडिया के सामने कोई भी सबूत नहीं रखा।
उन्होंने कहा, "अगर सरकार ईमानदार है, तो उसे भय्यू महाराज की मौत के मामले की सीबीआई जांच का फौरन आदेश देना चाहिये ताकि दूध का दूध और पानी का पानी हो सके।" गोगामेड़ी ने चेतावनी दी कि अगर सरकार ने भय्यू महाराज की मौत के मामले की सीबीआई जांच का आदेश नहीं दिया, तो करणी सेना आंदोलन करेगी। भय्यू महाराज राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना के संरक्षक थे।
गोगामेड़ी ने संदेह जताया कि आध्यात्मिक गुरु की मौत के मामले में सरकार के किसी व्यक्ति या उनके किसी परिजन या उनके किसी सेवादार का भी हाथ हो सकता है।
उन्होंने नाराजगी जताते हुए कहा कि भय्यू महाराज के अंतिम संस्कार में सरकार का कोई भी नुमाइंदा या कोई बड़ा राजनेता नहीं पहुंचा, जबकि उनके जीवनकाल में सियासत की कई विशिष्ट हस्तियां उनके कदमों में शीश नवाती थीं।
गौरतलब है कि भय्यू महाराज (50) ने यहां बाइपास रोड स्थित अपने बंगले में 12 जून को गोली मारकर आत्महत्या कर ली थी। अधिकारियों के मुताबिक, पुलिस की शुरूआती जांच में सामने आया है कि भय्यू महाराज कथित पारिवारिक कलह से परेशान थे। हालांकि, पुलिस अन्य पहलुओं पर भी विस्तृत जांच कर पता लगाने में जुटी है कि हजारों लोगों की उलझनें सुलझाने का दावा करने वाले आध्यात्मिक गुरु को आत्महत्या का गंभीर कदम आखिर क्यों उठाना पड़ा।
गोगामेड़ी ने कहा कि यह बात उनके गले नहीं उतरती कि भय्यू महाराज ने पारिवारिक कलह या कर्ज के बोझ के चलते जान देने का कदम उठाया।
उन्होंने कहा, "भय्यू महाराज ऐसे व्यक्ति थे जो कई परिवारों के मसले सुलझा चुके थे। ऐसे में वह अपने परिवार के कलह से परेशान कैसे हो सकते थे ? उन्होंने अपनी मौत से पहले बीएमडब्ल्यू कार बुक करा रखी थी. फिर उनके कर्ज में डूबे होने का सवाल कहां उठता है?" गोगामेड़ी ने यह आरोप भी लगाया कि आज राजस्थान से मध्यप्रदेश की सीमा में प्रवेश के बाद उन्हें पुलिस ने आगर-मालवा जिले और उज्जैन शहर के पास रोका और उनसे कहा कि वह भय्यू महाराज की मौत के मामले को न उठायें, वरना माहौल बिगड़ सकता है।
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