कोलकाता रेप-मर्डर के बाद सिलचर मेडिकल कॉलेज की एडवाइजरी, छात्रों का फूटा गुस्सा, बोलें- 'सुधार करने के बजाय..'
By आकाश चौरसिया | Published: August 14, 2024 12:02 PM2024-08-14T12:02:28+5:302024-08-14T12:19:54+5:30
कोलकाता डॉक्टर रेप-मर्डर केस के बाद असम के सिलचर स्थित मेडिकल कॉलेज ने जारी की एडवाइजरी। इसमें कहा, 'रात के समय छात्रावास छोड़ने से बचें..', लेकिन इस पर छात्रों ने आलोचना कर दी और कहा कि सुधार करना जरूरी है, बजाया हमें कमरे से बाहर निकलने से रोकें।
कोलकाता: पश्चिम बंगाल के कोलकाता में हुई घटना को देखते हुए असम के सिलचर मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल (SMCH) ने एडवाइजरी जारी करे हुए महिला डॉक्टरों और दूसरे स्टाफ में काम कर रही महिलाओं को रात में छात्रावास से निकलने और अनजान जगह जाने से बचने की सलाह दी। हालांकि, इस एडवाइजरी पर सबका गुस्सा फूट पड़ा और सब ने कहा कि सुधार करने के बजाया हमें कहा जा रहा है कि आप अपने कमरे में रहें।
संस्थान के प्राचार्य सह मुख्य अधीक्षक डॉ. भास्कर गुप्ता के अनुसार, कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में हाल ही में हुई दुखद और निंदनीय घटना को देखते हुए यह एडवाइजरी जारी की गई है। नोट के तहत महिला डॉक्टरों और अन्य कर्मचारियों को रात के समय सुनसान, कम रोशनी वाले और कम आबादी वाले इलाकों में घूमने से बचने का सुझाव दिया।
डॉ. गुप्ता ने लिखते हुए कहा, "महिला डॉक्टरों, छात्रों और कर्मचारियों को जितना संभव हो, उन स्थितियों से बचना चाहिए जहां वे अकेले हों। रात के समय छात्रावास या आवास कक्ष छोड़ने से बचें, जब तक कि बिल्कुल आवश्यक न हो, संबंधित प्राधिकारी को पूर्व सूचना दें।" उन्होंने आगे उन्हें देर रात या विषम घंटों के दौरान परिसर से बाहर जाने से बचने का सुझाव दिया।
सभी छात्रावास सीमाओं को संस्थान और प्रशासन द्वारा निर्धारित छात्रावास मानदंडों और विनियमों का पालन करना चाहिए। सतर्क रहें और ऐसे व्यक्तियों से जुड़ने से बचें जो अज्ञात प्रतीत होते हों या संदिग्ध स्वभाव के हों। हमेशा सुनिश्चित करें कि आपके पास अत्यावश्यक परिस्थितियों में आपातकालीन संपर्क करने का साधन हो।
उन्होंने लिखा, ''ड्यूटी पर रहते हुए आपको भावनात्मक रूप से संतुलित रहना चाहिए, आसपास के माहौल के बारे में सतर्क रहना चाहिए और जनता के साथ शालीनता से बातचीत करनी चाहिए, ताकि आप बेईमान लोगों का अनावश्यक ध्यान आकर्षित न करें"।
अधिकारियों ने कहा कि किसी भी मुद्दे या शिकायत को तुरंत लिंग उत्पीड़न समिति, अनुशासनात्मक समिति, आंतरिक शिकायत समिति, एंटी रैगिंग समिति के अध्यक्ष/सदस्यों को सूचित किया जाना चाहिए।
डॉ. गुप्ता ने लिखा, "यह सिलचर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के डॉक्टरों, छात्रों और स्टाफ सदस्यों के व्यापक हित में जारी किया गया है, जिसमें महिला सदस्यों पर विशेष जोर दिया गया है।"
मंगलवार शाम को डॉ. गुप्ता ने कहा कि वे किसी भी अप्रिय घटना को रोकना चाहते हैं. उन्होंने कहा, "रोकथाम हमेशा एक बेहतर विकल्प होता है और हम उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करना चाहते थे।" हालांकि, छात्रों ने इसके खिलाफ कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की और उन्होंने कहा कि अधिकारियों को उन्हें अपने कमरों में रहने के लिए कहने के बजाय सुरक्षा व्यवस्था में सुधार करना चाहिए।
नाम न छापने की शर्त पर एक महिला डॉक्टर ने कहा, "हमें अक्सर पुरुष कर्मचारियों और पुरुष परिचारकों से छेड़छाड़ और अश्लील शब्दों का सामना करना पड़ता है। हमने इसे कई बार उजागर करने की कोशिश की लेकिन कुछ नहीं बदला। अब, परिसर के अंदर हमें उचित सुरक्षा देने के बजाय , एसएनसीएच अधिकारी हमें कमरों में रहने के लिए कह रहे हैं, हम इससे आहत और शर्मिंदा हैं''।