केजरीवाल ने सिंगापुर दौरे के लिए अभी तक मंजूरी नहीं दिए जाने पर पीएम मोदी को लिखी चिट्ठी, कहा- ये देश के हित के खिलाफ
By विनीत कुमार | Published: July 17, 2022 01:35 PM2022-07-17T13:35:21+5:302022-07-17T13:59:19+5:30
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चिट्ठी लिखकर सिंगापुर दौरे के लिए मंजूरी देने का आग्रह किया है। केजरीवाल को शहरों से जुड़े विश्व शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए इसी महीने सिंगापुर जाना है।
नई दिल्ली: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चिट्ठी लिखकर केंद्र से उनके सिंगापुर दौरे के लिए मंजूरी देने का आग्रह किया है। केजरीवाल को जुलाई में शहरों से जुड़े विश्व शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए सिंगापुर जाना है। उन्होंने पीएम मोदी को लिखी चिट्ठी में कहा, 'किसी मुख्यमंत्री को इतने महत्वपूर्ण मंच पर जाने से रोकना देश के हित के खिलाफ है...यह निमंत्रण देश के लिए गर्व और सम्मान की बात है।'
केजरीवाल को जून में सिंगापुर के उच्चायुक्त साइमन वोंग द्वारा बैठक के लिए आमंत्रित किया गया था और उन्होंने निमंत्रण स्वीकार कर लिया था। हालांकि अभी तक उन्हें केंद्र से इस यात्रा की अनुमति नहीं मिली है।
केजरीवाल ने लिखा, 'सिंगापुर सरकार ने हमें विश्व स्तरीय सम्मेलन में दिल्ली मॉडल पेश करने के लिए आमंत्रित किया है।' उन्होंने आगे कहा, 'दिल्ली मॉडल दुनिया भर के कई बड़े नेताओं के सामने पेश किया जाएगा। पूरी दुनिया दिल्ली मॉडल के बारे में जानना चाहती है।'
केजरीवाल ने कहा, 'जितनी जल्दी हो सके अनुमति दें ताकि मैं इस यात्रा के साथ देश का नाम ऊंचा कर सकूं।' बता दें कि पिछले महीने भी ऐसी खबरें आई थीं कि दिल्ली सरकार की कई महत्वपूर्ण फाइलों को उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने अभी तक मंजूरी नहीं दी है। इससे उपराज्यपाल कार्यालय और अरविंद केजरीवाल सरकार के बीच नए सिरे से गतिरोध पैदा होने का अनुमान है।
‘प्रोटोकॉल’ के मुताबिक मुख्यमंत्री समेत किसी भी मंत्री को आधिकारिक विदेश यात्राओं के लिए गृह मंत्रालय से मंजूरी लेनी होती है और मंजूरी के लिए फाइल उपराज्यपाल कार्यालय के जरिए गृह मंत्रालय को भेजी जाती है।
इससे पहले साल 2019 में केंद्र ने केजरीवाल को इसी तरह की एक यात्रा के लिए अनुमति नहीं दी थी। केंद्र की ओर यह कहा गया था कि मुख्यमंत्री का मेयरों के लिए आयोजित एक बैठक में भाग लेना अनुचित है।