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सावधान! चाय/कॉफी पीते समय बिल्कुल भी न करें यह एक गलती, शरीर बन जाएगा कैंसर जैसे रोगों का अड्डा

By उस्मान | Updated: November 9, 2020 14:49 IST

हेल्दी डाइट टिप्स : एक्सपर्ट्स के अनुसार तीन बार चाय पीने से शरीर में प्लास्टिक के 75,000 सूक्ष्म कण चले जाते हैं।

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ठळक मुद्देतीन कप चाय पीने से शरीर में जा रहे प्लास्टिक के 75,000 सूक्ष्म कणआईआईटी खड़गपुर के एक अध्ययन में यह बात सामने आईकप में इस्तेमाल होने वाली हाइड्रोफोबिक फिल्म सेहत के लिए खतरनाक

आजकल हर चाय की दूकान, शादी किसी समारोह में चाय का कॉफी पीने के लिए प्लास्टिक के कपों का इस्तेमाल होता है। आपको जानकर थोड़ा आश्‍चर्य होगा कि रोजाना डिस्‍पोजल में चाय पीना सेहत के लिए घातक साबित हो सकता है।

आईआईटी खड़गपुर के एक अध्ययन में यह बात सामने आई है कि कागज के बने एक बार इस्तेमाल करने योग्य कपों से चाय पीना सेहत के लिए हानिकारक है और यदि कोई व्यक्ति उनमें दिन में तीन बार चाय पीता है तो उसके शरीर में प्लास्टिक के 75,000 सूक्ष्म कण चले जाते हैं। 

चाय का कप सेहत के लिए खतरनाक क्योंअनुसंधान का नेतृत्व करने वाली आईआईटी खड़गपुर में एसोसिएट प्रोफेसर सुधा गोयल ने कहा कि एक बार इस्तेमाल करने योग्य कागज के कपों में पेय पदार्थ पीना आम बात हो गई है।

उन्होंने कहा, 'हमारे अनुसंधान में इस बात की पुष्टि हुई है कि इन कपों में प्लास्टिक और अन्य हानिकारक तत्वों के कारण गर्म तरल वस्तु संदूषित हो जाती है। इन कपों को बनाने के लिए आमतौर पर हाइड्रोफोबिक फिल्म की एक परत चढ़ाई जाती है, जो मुख्तय: प्लास्टिक की बनी होती है। इसकी मदद से कप में तरल पदार्थ टिका रहता है। यह परत गर्म पानी डालने पर 15 मिनट के भीतर गलने लगती है।' 

शरीर में जा रहे प्लास्टिक के 75,000 सूक्ष्म कणगोयल ने कहा, 'हमारे अध्ययन के अनुसार एक कप में 15 मिनट के लिए 100 मिली. गर्म तरल रखने से उसमें 25,000 माइक्रोन आकार के प्लास्टिक के सूक्ष्म कण घुलने लगते हैं। यानी रोजाना तीन कप चाय या कॉफी पीने वाले व्यक्ति के शरीर में प्लास्टिक के 75,000 सूक्ष्म कण चले जाते हैं, जो आंखों से दिखाई नहीं देते।' 

प्लास्टिक कप में चाय पीने के नुकसान कैंसर का खतरादरअसल ये कप पॉलीस्टीरीन से बने होते हैं जो स्वास्थ्य के लिए बहुत ज्यादा नुकसानदायक है। जब आप चाय इसमें डालते हैं तो इसके कुछ तत्व चाय में घुलकर पेट के अंदर चले जाते हैं जिससे आगे चलकर आपको कैंसर भी हो सकता है।

एलर्जीप्लास्टिक या थर्मोकोल के कप में चाय या कॉफी और यहां तक कि गर्म पानी भी पीना त्वचा में रैशेज का कारण बन सकता है! इससे किसी तरह की एलर्जी का पहला संकेत है गले में खराश या दर्द होना। पेट के समस्याएं कप से लिक्विड का रिसाव न हो, इसके लिए उनपर वैक्स की परत लगी होती है। हर बार इनमें चाय पीना यानी हर बार वैक्स का शरीर के भीतर जाना और जमा होना। इसकी वजह से पेट की आंतों की समस्‍या हो सकती है। गर्भवती महिलाओं के लिए खतरालास्टिक के कप में मेट्रोसेमिन, बिस्फिनोल और बर्ड इथाईल डेक्सिन नामक कैमिकल हमारे शरीर में पहुंचते हैं, जो शरीर केलिए बहुत अधिक नुकसानदायक है। बच्‍चों और गर्भवती महिला ओं के लिए यह खतरा बढ़ा सकते है। बिगड़ सकता है पाचन तंत्रप्लास्टिक या थर्मोकोल के कप से पीने पर इनके साथ-साथ इनमें पाए जाने वाले एसिड भी भीतर पहुंच जाते हैं और आंतों में जमा हो जाते हैं। इससे पाचन तंत्र पर असर पड़ता है।

(समाचार एजेंसी भाषा के इनपुट के साथ) 

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