वैसे तो हर बीमारी पीड़ादायक होती है लेकिन कुछ बीमारियां ऐसी होती हैं जिनका जीवन पर ज्यादा बुरा प्रभाव पड़ता है। यह बीमारियां सामान्य बीमारियों से बिल्कुल अलग होती हैं। कई बार तो ये बीमारियां जीवनभर मरीज का पीछा नहीं छोड़ती हैं। यह ऐसी ऐसी बीमारियां हैं जिसकी वजह से मरीज का जीवन नर्क बन जाता है। सबसे ज्यादा परेशानी तो तब होती है, जब इनका कोई इलाज नहीं मिलता है। आज हम आपको कुछ ऐसी विचित्र बीमारियों के बारे में बतायेंगे, जो किसी इंसान को हो जाये, तो उसका जीवन तबाह हो सकता है।
1) एस्कारियासिस (Ascariasis) एस्कारियासिस गोल कृमि एस्केरिस लम्ब्रीकॉइड्स परजीवी के कारण होने वाली बीमारी है। आपको जानकार हैरानी होगी कि 85 फीसदी से अधिक मामलों में संक्रमण के कोई लक्षण नहीं होते हैं। इससे छोटी आंत में कीड़े हो जाते हैं। इन कीड़ों की लंबाई 30 सेंटीमीटर तक बढ़ सकती है। कुछ मामलों में इनकी लंबाई बढ़ने पर पीड़ित को कफ, बोलने में परेशानी, सांस में परेशानी, बलगम में खून और उल्टी आना जैसे लक्षण महसूस हो सकते हैं।
2) कैंस्रम ओरिस (Cancrum Oris) इसे नोमा रोग के रूप में भी जाना जाता है। यह एक गैंग्रीन इन्फेक्शन है जिससे मुंह और चेहरे का विनाश होता है। अफ्रीकी युवाओं में यह बीमारी आम है। इस रोग में चेहरे के सॉफ्ट और हार्ड टिश्यू डैमेज हो जाते हैं। इसके लक्षणों में मुंह ने दर्दनाक छाले होना शामिल है। यह छाले बार-बार होते हैं और चेहरे की स्किन, हड्डी व टिश्यू को डैमेज कर देते हैं जिससे चेहरे का आकार बदल जाता है।
3) मायसिस (Myiasis) यह एक ऐसी विचित्र बीमारी है जिसमें शरीर में मांस खाने वाले कीड़े पैदा हो जाते हैं। दुखद यह है कि मरीज को इसका पता भी नहीं चलता है। इस बीमारी के सही कारणों पर खोज चल रही है। हालांकि पिछले कुछ सालों में इससे निपटने के लिए मैगोट थेरेपी का इस्तेमाल बढ़ा है लेकिन कुछ मेडिकल एक्सपर्ट इससे निपटने के लिए इस थेरेपी के साथ घावों को साफ करने के लिए इलाज के पुराने तरीके अपना रहे हैं।
4) एपिडर्मोडिसप्लासिया वेरुसीफोर्मिस (Epidermodysplasia Verruciformis)एपिडर्मोडिसप्लासिया वेरुसीफोर्मिस एक ऐसी बीमारी है जिसमें मरीज हाथ पैरों की त्वचा पेड़ की टहनियों की तरह बढ़ती चली जाती है। त्वचा की यह बीमारी प्रतिरक्षा प्रणाली यानी इम्युनिटी सिस्टम में गड़बड़ी के कारण होती है, जिससे ह्यूमन पैपिलोमा वायरस (human papilloma virus) का खतरा अधिक होता है। इस वायरस से अक्सर पुराने एचपीवी इन्फेक्शन, त्वचा के घावों और मेलेनोमा त्वचा कैंसर होने का जोखिम बढ़ जाता है।
5) हाइड्राडेनिटिस सुप्पुरातीव (Hidradenitis Suppurativa) यह स्किन की बीमारी है जिससे व्यक्ति को त्वचा पर दर्दनाक फफोले हो जाते हैं। बगल, जांघ, कूल्हों के बीच, ब्रेस्ट के नीचे रगड़ खाने वाले हिस्सों में इसका अधिक खतरा होता है। कई सालों तक रहने वाली यह बीमारी गंभीर होती चली जाती है। इसका कारण बालों का रोम छिद्र बंद होना माना जाता है। इसके कारणों में हार्मोन असंतुलन, मेटाबोलिक सिंड्रोम और जेनेटिक कारण हैं।
इस बात का रखें ध्यानएक्सपर्ट्स मानते हैं कि किसी भी बीमारी के शुरूआती लक्षणों को पहचानने के बाद समय पर इलाज कराने से उससे काफी हद तक बचाव किया जा सकता है। इसलिए अगर आपको इस तरह के कोई लक्षण दिखते हैं, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।