कोरोना काल में बदल गया पढ़ाई का प्रारूप, अगस्त में पूरे देश के लिए जारी होगा मॉड्यूल, दिसंबर तक देश के सभी शिक्षकों को प्रशिक्षित करने का लक्ष्य
By लोकमत समाचार ब्यूरो | Published: July 16, 2020 09:22 PM2020-07-16T21:22:39+5:302020-07-16T21:22:39+5:30
कोरोना काल में बच्चों की पढ़ाई का पूरा प्रारूप बदल गया है, इसके लिए शिक्षकों को भी खास तरह की ट्रेनिंग दी जा रही है।
संजीव कुमार गुप्ता/नई दिल्ली। कोरोना काल में ऑनलाइन पढ़ाई के मॉड्यूल को लेकर दो दिन पहले ही केंद्र ने दिशा-निर्देश जारी किए हैं। जिसमें ऑन स्क्रीन पढ़ाई का समय तय किया गया है। जिससे छात्र मोबाइल के एडिक्शन से बच सकें। इससे एक कदम आगे बढ़ते हुए एनसीईआरटी ने ऑनलाइन पठन-पाठन को लेकर शिक्षकों को ऑनलाइन प्रशिक्षित करने का मॉड्यूल तैयार किया है।
राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद (एनसीईआरटी) के निदेशक डा. ऋषिकेश सेनापति ने लोकमत से विशेष बातचीत में कहा कि देश में अभी तक शिक्षकों की ट्रेनिंग फेस-टू-फेस मोड पर चल रही थी। पहली बार बुधवार से इसे निष्ठा से दीक्षा पोर्टल पर लाकर ऑनलाइन किया गया है। पूरे देश में अगस्त से शिक्षकों को ऑनलाइन मोड पर ट्रेनिंग देने के लिए शुरूआत होगी और दिसंबर तक सभी शिक्षकों को प्रशिक्षित करने का लक्ष्य रखा गया है।
एचआरडी मिनिस्टर ने निष्ठा के ऑनलाइन प्रारूप को लॉन्च किया
केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने गुरुवार को निष्ठा के ऑनलाइन प्रारूप को लॉन्च किया। जिससे आंध्र प्रदेश के 1200 प्रमुख शिक्षण संसाधनों के शिक्षकों को प्रशिक्षित करने के लिए किया जाएगा। ऑनलाइन कार्यक्रम में उन्होंने कहा कि कोरोना संकट को देखते हुए जब हम हर प्रकार से डिजिटल प्रणाली की तरफ बढ़ रहे हैं ऐसे में निष्ठा जैसी महत्वपूर्ण योजना का डिजिटलीकरण भी अत्यंत आवश्यक था। एनसीईआरटी ने इस दिशा में बेहद प्रशंसनीय काम किया है।
कोरोना काल में बदल गया पढ़ाई का प्रारूप
उन्होंने एनसीईआरटी के निदेशक डा. ऋषिकेश सेनापति ने लोकमत से कहा कि कोरोना काल में छात्रों की पढ़ाई का पूरा प्रारूप ही बदल गया है। बेहतर आउटकम लर्निंग के प्रयोग को सार्थक बनाने के लिए इस दिशा में आगे बढ़ने की जरूरत है। मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, जम्मू-कश्मीर और बिहार में शिक्षकों की ट्रेनिंग अभी चल रही है। केरल और पश्चिम बंगाल में अभी इसे लांच किया जाना है। इसके अलावा 23 राज्यों, केंद्र शासित प्रदेशों में जिला स्तरीय शिक्षक प्रशिक्षण कार्यक्रम शुरू हो चुका है। उन्होंने कहा कि अभी तक के फेस-टू-फेस प्रशिक्षण कार्यक्रम में 17.5 लाख शिक्षकों को प्रशिक्षित किया जा चुका है।
24 लाख शिक्षकों को दी जाएगी ट्रेनिंग
कोरोना की स्थिति को देखते हुए शेष 24 लाख शिक्षकों और स्कूल प्रमुखों को प्रशिक्षण प्रदान करने के लिए निष्ठा प्लेटफार्म को अब दीक्षा पोर्टल पर लाकर शिक्षकों को ऑनलाइन प्रशिक्षित किया जाएगा। ऑनलाइन प्रारूप में विभिन्न माध्यमों द्वारा प्रशिक्षण दिया जाएगा। इसमें लिखित रूप से चीज़ें मिलेंगी, वीडियो भी होंगे। इसके अलावा स्वयंप्रभा डीटीएच टीवी चैनल पर राष्ट्रीय संसाधन व्यक्तियों द्वारा लाइव सत्र भी आयोजित किए जाएंगे। शिक्षकों, एसआरजी और एनआरजी के सदस्यों के साथ बातचीत के लिए इंटरएक्टिव वॉयस रिस्पांस सिस्टम का उपयोग किया जायेगा।