44 साल की चाची का 14 साल के भतीजे से प्यार, चाचा ने करा दी दोनों की शादी, जानें क्या है पूरा मामला
By एस पी सिन्हा | Published: September 19, 2022 02:38 PM2022-09-19T14:38:29+5:302022-09-19T14:39:27+5:30
बिहार में पूर्णिया जिले के वनमनखी थाना क्षेत्र का मामला है। महिला के पति ने ग्रामीणों से विचार-विमर्श कर यह फैसला लिया। ग्रामीणों की मौजूदगी में भतीजे के साथ चाची की शादी करा दी गई।
पटनाः बिहार में पूर्णिया जिले के वनमनखी थाना क्षेत्र के एक गांव से रिश्तों को कलंकित करने वाला मामला सामने आया है, जहां 44 साल की चाची ने अपने 14 साल भतीजे को दिल दे बैठी। इतना ही नहीं दोनों के बीच अवैध संबंध भी बनने लगे।
रिश्तों को शर्मसार करने का खुलासा 12 सितंबर को उसवक्त हुआ जब चाचा ने अपनी पत्नी को भतीजे के साथ आपत्तिजनक अवस्था में पकड़ लिया। इसके बाद महिला के पति ने ग्रामीणों से विचार-विमर्श कर यह फैसला लिया कि दोनों की शादी करा दी जाये। ग्रामीणों की मौजूदगी में भतीजे के साथ चाची की शादी करा दी गयी।
प्राप्त जानकारी के अनुसार मामला उजागर होने के बाद पुलिस हरकत में आई है। महिला के पति समेत अन्य ग्रामीणों पर प्राथमिकी दर्ज की गई है और मामले की जांच की जा रही है। पुलिस ने बताया कि चाची और भतीजे को चाचा ने आपत्तिजनक हालत में पकड़ लिया था। इसके बाद जबरन दोनों की शादी करा दी गयी है।
इस दौरान कई ग्रामीण भी मौजूद रहे। नाबालिग ने अपनी चाची के मांग में सिंदूर भी डाला। शादी करने के बाद महिला ने नाबालिग पति के पैर भी छुए। वहीं ग्रामीणों का कहना है कि महिला का पति पंजाब में काम करता है। महिला घर पर ही रहती थी, लेकिन चाची और भतीजे के अवैध संबंध की जानकारी पूरे गांव के लोगों को थी।
नाबालिग का परिवार भी इस बात को जनता था। फिर ग्रामीणों ने महिला के पति को फोन पर इसकी सूचना दी। पत्नी और भतीजे के बीच अवैध संबंध की जानकारी गांव वालों से मिलने के बाद पति चुपके से गांव आ गया। फिर पत्नी और 14 साल के भतीजे को आपत्तिजनक हालत में पकड़ लिया तो घर में हंगामा मच गया।
भीड़ जमा हो गई। गांव वालों से राय ली गई और तय हुआ कि दोनों की शादी कर दी जाये। फिर उसी घर में दोनों की शादी करा दी गई। इस दौरान कोई विरोध न हो, इसके लिए ग्रामीण लाठी और डंडा के साथ लैस थे। ग्रामीणों के डर से महिला और नाबालिग ने शादी कर ली। इस दौरान नाबालिग का परिवार भी मौके पर मौजूद रहा, लेकिन ग्रामीणों के डर से कोई शादी का विरोध नहीं कर पाया।