Bundelkhand University: पेपर लीक गिरोह का भंडाफोड़, सामने आया फोटो खींचकर लीक करने वाले का नाम, 32 लोग गिरफ्तार
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: April 8, 2022 08:44 PM2022-04-08T20:44:54+5:302022-04-08T20:45:42+5:30
झांसी के श्री राम महाविद्यालय के प्रबंधक अध्यक्ष, लिपिक, शिक्षक और प्रिंसिपल की संलिप्तता के चलते प्रश्न पत्र की फोटो मोबाइल से खींचकर स्टोर कीपर की रिश्तेदार मुस्कान यादव के मोबाइल पर भेजा गया था।
झांसी:बुंदेलखंड यूनिवर्सिटी में 6 अप्रैल को बीएससी भौतिक विज्ञान के द्वितीय वर्ष के पेपर लीक कांड का भंडाफोड़ पुलिस ने कर दिया है। इसमें पुलिस ने उस शख्स का भी नाम उजागर कर दिया है जिसने पेपर की फोटो खींचकर उसे लीक किया था। मामले में झांसी पुलिस ने 32 लोगों को हिरासत में लिया है।
पेपर लीक मामले में महाविद्यालय का स्टाफ संलिप्त
झांसी के श्री राम महाविद्यालय के प्रबंधक अध्यक्ष, लिपिक, शिक्षक और प्रिंसिपल की संलिप्तता के चलते प्रश्न पत्र की फोटो मोबाइल से खींचकर स्टोर कीपर की रिश्तेदार मुस्कान यादव के मोबाइल पर भेजा जाना पाया गया है। जिलाधिकारी रविंद्र कुमार ने कहा,“हमने बुंदेलखंड विश्वविद्यालय से जुड़े पेपर लीक गिरोह को पकड़ा है। बंगरा के एक कॉलेज के स्टोर कीपर ने प्रश्न पत्र अपनी भतीजी को भेजा जिससे यह कई छात्रों तक पहुंचा।”
26 छात्रों को माना गया अपराधी, सभी के खिलाफ मुकदमा दर्ज
मामले में 26 छात्रों को अपराधी माना गया है। इन छात्रों पर आरोप है कि इन्होंने प्रश्नपत्र को वायरल किया। इसके अलावा आधा दर्जन अज्ञात लोगों पर भी जांच की तलवार लटक रही है। थाना नवाबाद पुलिस ने सभी आरोपियों को गिरफ्तार करके जेल भेज दिया है। इन सभी छात्रों पर सार्वजनिक परीक्षा अधिनियम की धारा 3, 9, 10, और 66D के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है।
उत्तर प्रदेश: झांसी पुलिस ने परीक्षा पेपर लीक गिरोह का भंडाफोड़ कर 32 लोगों को हिरासत में लिया।
— ANI_HindiNews (@AHindinews) April 8, 2022
ज़िलाधिकारी ने कहा,“हमने बुंदेलखंड विश्वविद्यालय से जुड़े पेपर लीक गिरोह को पकड़ा है। बंगरा के एक कॉलेज के स्टोर कीपर ने प्रश्न पत्र अपनी भतीजी को भेजा जिससे यह कई छात्रों तक पहुंचा।” pic.twitter.com/aDLcsjqEC7
कैसे हुआ पेपर लीक?
झांसी के जीएम के अनुसार, श्री राम महाविद्यालय के कर्मचारी राजदीप यादव ने अपनी रिश्तेदार मुस्कान यादव को फिजिक्स द्वितीय का पेपर भेजा था, जिसके बाद यह पेपर वायरल हुआ। इस मामले में विद्यालय के लिपिक राजदीप यादव, प्रबंध समिति के सदस्य आजाद यादव, प्रबंधक चंद्रपाल सिंह यादव, टीचर अनूप यादव, चपरासी भगवानदास, प्रिंसिपल संजीव श्रीवास्तव, अध्यक्ष अरविंद यादव पर परीक्षा की शुचिता भंग करके आर्थिक लाभ प्राप्त करने का मुकदमा किया गया है।