कोल इंडिया पर्यावरण संरक्षण की आवश्यकता के प्रति संवेदनशील: अग्रवाल
By भाषा | Published: June 6, 2021 03:20 PM2021-06-06T15:20:30+5:302021-06-06T15:20:30+5:30
नयी दिल्ली छह जून सार्वजनिक क्षेत्र की कोयला खनन कंपनी कोल इंडिया ने कहा कि वह पर्यावरण संरक्षण की आवश्यकता के प्रति पूरी तरह से संवेदनशील है और सतत खनन प्रथाओं का पालन करती है।
कोल इंडिया लिमिटेड (सीआईएल) की तरफ से यह बयान तब आया है जब, विशेष कर कोयले सहित जीवाश्म ईंधन के जलने के कारण वैश्विक जलवायु परिवर्तन के बारे में चिंता की जा रही है।
कोल इंडिया के अध्यक्ष प्रमोद अग्रवाल ने कहा कि कंपनी , ‘‘पारिस्थितिक तंत्र के पुनरोद्धार, जमीन के प्रभावी जैविक-उद्धार, जल के समुचित उपयोग के अनुपालन को उतना ही महत्व देती है जितना उत्पादन को । हमने वित्त वर्ष 2020-21 के दौरान 862 हेक्टेयर क्षेत्र में करीब बीस लाख पौधे रोपे हैं, जो लक्ष्य से 16 प्रतिशत अधिक है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘कोल इंडिया लिमिटेड पर्यावरण संरक्षण की आवश्यकता के प्रति पूरी तरह से संवेदनशील है और खनन की स्वस्थ प्रथाओं का पालन करती है। अबतक 24 इको-पार्क और खानन क्षेत्र पर्यटन परियोजनाएं तैयार की जा चुकी हैं। वित्त वर्ष 2021 में सीआईएल ने खदान के पानी के प्रभावी उपयोग को 703 गांवों से जोड़ा, जिससे 11 लाख लोगों को फायदा पंहुचा हैं।’’
उन्होंने कहा कि हमारा अस्तित्व हमारे पारिस्थितिकी तंत्र की मजबूती पर निर्भर करता है। जिस तरह से पारिस्थितिकी तंत्र समाप्त हो रहा है और हम इसकी सुरक्षा सुनिश्चित नहीं करेंगे तो परिणाम भयानक होंगे।
उल्लेखनीय है कि कोल इंडिया देश में घरेलू उपयोग के 80 प्रतिशत कोयला का उत्पादन करती है।
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