जयंतीलाल भंडारी का ब्लॉग: अर्थव्यवस्था में लौट रही उम्मीद

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: February 11, 2020 05:59 AM2020-02-11T05:59:34+5:302020-02-11T05:59:34+5:30

नए वित्तीय वर्ष 2020-21 में भारतीय अर्थव्यवस्था के सुस्ती के दौर से बाहर आने की संभावनाएं बताने वाले प्रसिद्ध वैश्विक मीडिया समूह ब्लूमबर्ग ने ताजा रिपोर्ट में कहा कि अगस्त 2019 के बाद के पांच महीनों में अर्थव्यवस्था के 8 में से 5 सूचकांकों पर भारतीय अर्थव्यवस्था का प्रदर्शन सुधरते हुए दिखाई दे रहा है. 

Hope returning to economy | जयंतीलाल भंडारी का ब्लॉग: अर्थव्यवस्था में लौट रही उम्मीद

प्रतीकात्मक फोटो

Highlightsविगत पांच महीनों में सर्विस सेक्टर की गतिविधियां बढ़ी हैं. औद्योगिक उत्पादन में बढ़ोत्तरी हुई है. विदेशी मुद्राकोष 475 अरब डॉलर के रिकॉर्ड स्तर पर है तथा शेयर बाजार भी संतोषजनक स्तर पर है.

वित्तीय वर्ष 2020-21 का बजट प्रस्तुत होने के बाद अर्थव्यवस्था के निराशा के दौर से बाहर निकलने के संकेत दिखाई देने लगे हैं. जहां उद्योग-कारोबार क्षेत्न में उम्मीद की किरणों दिखने लग गई हैं, वहीं शेयर बाजार का ग्राफ भी सुधरते हुए दिखाई देने लगा है.

हाल ही में 4 एवं 5 जनवरी को प्रकाशित भारत के मैन्युफैक्चरिंग का हाल बताने वाले परचेजिंग मैनेजर्स इंडेक्स और सेवा क्षेत्न की गतिविधियों का हाल बताने वाले सर्विसेस बिजनेस एक्टिविटी इंडेक्स ने बढ़त दिखाई है. यह मैन्युफैक्चरिंग इंडेक्स इस समय पिछले आठ साल के सबसे ऊंचे स्तर पर पहुंच गया है. दिसंबर 2019 में यह इंडेक्स 52.7 अंक पर था, जो जनवरी 2020 में बढ़कर 55.3 पर पहुंच गया है. जबकि सर्विसेस इंडेक्स जो दिसंबर 2019 में 53.3 था, वह जनवरी 2020 में बढ़कर 55.5 अंक पर रहा. 

माना जाता है कि यदि ये इंडेक्स 50 से ऊपर है, तो यह न केवल अर्थव्यवस्था विस्तार, उत्पादन व सेवा क्षेत्न वृद्धि का संकेत है, बल्कि अनुकूल बाजार, नई मांग, बिक्री, कच्चे माल की खपत और रोजगार बढ़ने का भी संकेत है. इसी तरह हाल ही में अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) की प्रमुख क्रिस्टालिना जार्जीवा ने दावोस में आयोजित विश्व आर्थिक मंच (डब्ल्यूईएफ) 2020 के सम्मेलन में कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था में गिरावट अस्थायी है और शीघ्र ही यह सुस्ती के दौर से बाहर आ सकती है. 

नए वित्तीय वर्ष 2020-21 में भारतीय अर्थव्यवस्था के सुस्ती के दौर से बाहर आने की संभावनाएं बताने वाले प्रसिद्ध वैश्विक मीडिया समूह ब्लूमबर्ग ने ताजा रिपोर्ट में कहा कि अगस्त 2019 के बाद के पांच महीनों में अर्थव्यवस्था के 8 में से 5 सूचकांकों पर भारतीय अर्थव्यवस्था का प्रदर्शन सुधरते हुए दिखाई दे रहा है. 

विगत पांच महीनों में सर्विस सेक्टर की गतिविधियां बढ़ी हैं. औद्योगिक उत्पादन में बढ़ोत्तरी हुई है. कर्ज की मांग बेहतर हुई है. विदेशी मुद्राकोष 475 अरब डॉलर के रिकॉर्ड स्तर पर है तथा शेयर बाजार भी संतोषजनक स्तर पर है. हम आशा करें कि बजट प्रस्तुत होने के बाद जो सुकूनभरी आर्थिक उम्मीदें उभरी हैं, उन्हें साकार करने के लिए सरकार नए वित्तीय वर्ष 2020-21 की शुरुआत से ही बजट में घोषित लक्ष्यों और परियोजनाओं के कारगर क्रि यान्वयन की डगर पर बढ़ेगी.

Web Title: Hope returning to economy

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