क्या अब पीएम मोदी की कार भी होगी स्वदेशी, चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग करते हैं अपने ही देश में बनी कार का इस्तेमाल, देखें तस्वीर
By रजनीश | Published: July 18, 2020 06:16 AM2020-07-18T06:16:05+5:302020-07-18T06:16:05+5:30
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप जिस कार से चलते हैं वह अमेरिका की ही कंपनी जनरल मोटर्स द्वारा निर्मित कैडिलैक वन कार है। चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग भी चीनी में बनी हॉगकी (Hongqi) कार का का प्रयोग करते हैं। रूसी राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन भी अपने ही देश रूस की बनी कोर्टेज औरस में सफर करते हैं।
देशभर में चीनी उत्पादों के बहिष्कार के साथ ही भारत में ‘वोकल फॉर लोकल’ और ‘आत्मनिर्भर भारत’ की खूब चर्चा हो रही है। लेकिन वोकल फॉर लोकल और आत्मनिर्भर भारत की बात करने वाले देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जिस बीएमडब्ल्यू कार में कई बार देखा जाता है वह खुद विदेशी कंपनी की कार है।
अब सोशल मीडिया पर लोग यह भी कह रहे हैं कि कि पीएम मोदी को भी देश में बनी कार का इस्तेमाल करना चाहिए। अब एनआईडी के छात्रों ने प्रधानमंत्री की 'मेक इन इंडिया' कार का स्केल मॉडल तैयार किया है।
अधिकतर बड़े देशों के राष्ट्राध्यक्षों के पास है स्वदेशी कार
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप जिस कार से चलते हैं वह अमेरिका की ही कंपनी जनरल मोटर्स द्वारा निर्मित कैडिलैक वन कार है। चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग भी चीनी में बनी हॉगकी (Hongqi) कार का का प्रयोग करते हैं। रूसी राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन भी अपने ही देश रूस की बनी कोर्टेज औरस में सफर करते हैं। इस कार को बनाने के लिए बॉश (Bosch) और पोर्शे (Porsche) कंपनी की मदद ली गई है।
फिलहाल इन गाड़ियों का इस्तेमाल करते हैं पीएम
पीएम मोदी के काफिले में पहले से ही तीन तरह की गाड़ियां हैं। इनमें BMW 7-सीरीज हाई सिक्योरिटी, लैंड रोवर रेंज रोवर और टोयोटा लैंड क्रूजर कार हैं। ये तीनों ही गाड़ियां विदेशी कंपनियां बनाती हैं। इन वाहनों की देखरेख का जिम्मा एसपीजी के पास है। ये वही एसपीजी है जिसके पास पीएम की सुरक्षा का भी जिम्मा होता है। फिलहाल किसी भारतीय कंपनी को भारत के प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति के लिए कार बनाने की जिम्मेदारी नहीं दी गई है।
NID के छात्रों ने तैयार किया कॉन्सेप्ट मॉडल
नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिजाइन (NID) के छात्रों ने प्रधानमंत्री मोदी की कार का कॉन्सैप्ट स्केल मॉडल तैयार किया है। छात्रों ने इसका गाड़ी का नाम टाटा गरूड़ रखा है।
नाम भले ही टाटा गरूण रखा गया हो लेकिन इसके निर्माण से फिलहाल टाटा का कोई लेना देना नहीं है। लेकिन टाटा के चीफ डिजाइनर प्रताप बोस ग्लोबल डिजाइंस ऑफ टाटा मोटर्स के वाइस प्रेसिडेंट हैं और एनआईडी के पूर्व छात्र भी रहे हैं।
फीचर्स
छात्रों ने प्रधानमंत्री के लिए टाटा गरुड़ का जो कॉन्सेप्ट मॉडल तैयार किया है, वह लिमोजिन पर बेस्ड है। इसी मॉडल पर अन्य देशों के राष्ट्राध्यक्षों की कारों को डिजाइन किया गया है।
इसके फ्रंट में स्प्लिट हेडलैंप दिए हैं। ये हेडलैंप टाटा की हैरियर, ग्रेविटास की तरह हैं। कार में ह्यूमैनिटी लाइन, चौड़े एयर इनटेक दिए गए हैं। इसमें 26 स्पोक वाली अलॉय व्हील्स, फेंडर्स पर टाटा बैजिंग और ऑल ब्लैक रूफ दी गई है। जो मॉडल पेश किया गया है वह ब्लू शेड में बनाया गया है।
भारतीय कंपनियां करें पहल
विदेशी कंपनियों की तरह ही भारतीय टाटा और महिंद्रा भी ऐसी गाड़ी बना सकते हैं। ये दोनों ही कंपनियां देश के डिफेंस सेक्टर के लिए भी कई गाड़ियां बनाते रहे हैं। डिफेंस के लिए बनाई गई टाटा और महिंद्रा की गाड़ियों को दूसरे देशों में भी एक्सपोर्ट किया जाता है।
हाल ही में महिंद्रा की डिफेंस के लिए वाहन बनाने वाली इकाई ने एक ऐसा बख्तरबंद वाहन तैयार किया है जो IED ब्लास्ट को सहने में सक्षम है। इसके साथ ही इस वाहन में लगा खास सिस्टम सड़क पर छिपाए गए विस्फोटक को पहचान करने और उसे उठाने में सक्षम है।