ताइवान ने सैन्य ताकत के प्रदर्शन के बीच चीन के ‘रास्ते’ को खारिज किया

By भाषा | Updated: October 10, 2021 16:35 IST2021-10-10T16:35:43+5:302021-10-10T16:35:43+5:30

Taiwan rejects China's 'way' amid display of military might | ताइवान ने सैन्य ताकत के प्रदर्शन के बीच चीन के ‘रास्ते’ को खारिज किया

ताइवान ने सैन्य ताकत के प्रदर्शन के बीच चीन के ‘रास्ते’ को खारिज किया

ताइपे, 10 अक्टूबर (एपी) ताइवान की राष्ट्रपति साई इंग वेन ने चीन की ओर से एकीकरण को लेकर बढ़ते दबाव के बीच रविवार को द्वीप की रक्षा करने का संकल्प लिया। वेन ने यह संकल्प पिछले हफ्ते बीजिंग के साथ उत्पन्न अभूतपूर्व तनाव के बाद दोहराया है।

राष्ट्रीय दिवस पर आयोजित परेड में ताइवान की रक्षा क्षमता का प्रदर्शन किया गया और इस दौरान राष्ट्रपति साई इंग वेन ने चीनी सेना के बलप्रयोग को दृढ़ता से खारिज किया।

राष्ट्रपति साई ने कहा, ‘‘हम राजनीतिक यथास्थिति को एकतरफा रूप से बदलने से रोकने के लिए पूरी कोशिश करेंगे।’’

उन्होंने कहा, ‘‘हम राष्ट्रीय रक्षा को बढ़ावा देते रहेंगे और यह सुनिश्चित करेंगे कि कोई भी ताइवान को चीन द्वार निर्धारित मार्ग पर चलने के लिए मजबूर नहीं करे। हम अपना बचाव करने के लिए दृढ़ संकल्प का प्रदर्शन करते रहेंगे।’’

चीन, ताइवान को अपना क्षेत्र होने का दावा करता है जबकि यह द्वीप 1949 में गृहयुद्ध के दौरान कम्युनिस्ट शासित मुख्य भूमि से अलग होने के बाद से स्वायत्तशासी है।

साई ने चीन के अधिनायकवादी और एकल पार्टी कम्युनिस्ट शासन प्रणाली के विपरीत ताइवान में अनुनादी लोकतंत्र पर जोर दिया।

उन्होंने कहा, ‘‘इसका कारण यह है कि चीन ने जो रास्ता बनाया है, वह न तो ताइवान के लिए एक स्वतंत्र और लोकतांत्रिक जीवन शैली प्रदान करता है, न ही हमारे 2.3 करोड़ लोगों के लिए संप्रभुता प्रदान करता है।’’

ताइपे के मध्य में प्रेसिडेंशियल ऑफिस बिल्डिंग में आयोजित समारोह के दौरान ताइवान के विभिन्न जातीय समूहों से गायकों ने कार्यक्रम प्रस्तुत किया।

सर्वेक्षण दिखाता है कि अधिकतर ताइवानी स्वतंत्र राज्य की यथास्थिति कायम रखने के पक्ष में हैं और चीन द्वारा एककीकरण का पुरजोर विरोध करते हैं जबकि चीन का कहना है कि वह द्वीप पर नियंत्रण स्थापित करने के लिए जरूरत पड़ी तो सैन्य बल का भी इस्तेमाल करेगा।

साई अपने सार्वजनिक संबोधन में शायद ही चीन का नाम लेती हैं लेकिन उनका यह भाषण गत एक साल से चीन द्वारा सैन्य उत्पीड़न के कारण बढ़ते तनाव को इंगित करता है। पिछले साल सितंबर से लेकर अबतक चीन ने 800 से अधिक बार अपने लड़ाकू विमानों को ताइवान की ओर उड़ाया है।

गत शुक्रवार से चीन , रिकॉर्ड संख्या में लड़ाकू विमान ताइवान के करीब अंतरराष्ट्रीय हवाई क्षेत्र में भेज रहा है। ताइवान संभावित खतरे के मद्देनजर जापान, ऑस्ट्रेलिया और अमेरिका जैसे देशों से अपने अनौपचारिक संबंधों को मजबूत कर रहा है।

साई ने कहा, ‘‘जितना अधिक चीन हमपर दबाव बनाएगा, उतनी ही हम उपलब्धि प्राप्त करेंगे।’’

राष्ट्रपति के भाषण के बाद ताइवान के रक्षा मंत्रालय ने मिसाइल लांचर, बख्तरबंद वाहनों सहित अपने हथियारों का प्रदर्शन किया जबकि लड़ाकू विमानों और हेलीकॉप्टर ने फ्लाइट पास्ट किया। इनमें एक-16, स्वदेशी लड़ाकू विमान और मिराज 2000 शामिल थे।

वायुसेना की ताकत का प्रदर्शन करने के बाद सीएम32 टैंक और उसके बाद ट्रकों में रखी मिसाइल प्रणाली प्रदर्शित की गई।

साई ने कहा कि ताइवान शांतिपूर्ण क्षेत्रीय विकास में योगदान देना चाहता हैं, भले ही हिंद-प्रशांत क्षेत्र में स्थिति ‘और तनावपूर्ण और जटिल’ हो गई है।

गौरतलब है कि शनिवार को चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने कहा था कि ताइवान का एकीकरण ‘‘ निश्चित तौर पर किया जाएगा’’। हालांकि साथ ही दावा किया कि ‘शांतिपूर्ण’ एकीकरण संभव है।

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