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कुछ तटवर्ती क्षेत्रों को तूफानों का अधिक जोखिम है-एक मौसमविद की व्याख्या कि ऐसा क्यों है

By भाषा | Updated: May 29, 2021 18:03 IST

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(एथेना मैसन मौसम विज्ञान प्रशिक्षक, यूनिवसिर्टी ऑफ फ्लोरिडा)

गैन्जविल (अमेरिका), 29 मई (द कन्वर्सेशन) उत्तरी अटलांटिक में प्रत्येक तटरेखा उष्णकटिबंधी तूफानों के लिहाज से संवेदनशील है, लेकिन कुछ क्षेत्रों में अन्य क्षेत्रों के मुकाबले तूफान से होने वाने विनाश का अधिक जोखिम है।

इसे समझने के लिए आइये अधिक करीब से देखते हैं कि उष्णकटिबंधी तूफान किस तरह बनते हैं और क्या चीज उन्हें विनाशकारी रूप में तब्दील कर देती है।

तूफान के घटक

किसी भी तूफान के बनने के लिए तीन घटकों की आवश्यकता होती है: गर्म समुद्री सतह जल जो कम से कम लगभग 80 डिग्री फारेनहाइट (26.5 सी) हो, नमी की एक मोटी परत जो समुद्र की सतह से लगभग 20,000 फुट तक विस्तारित हो और न्यूनतम लंबवत वायु अपरूपण जिससे कि मेघ गर्जन और बिजली कड़कने युक्त तूफान निर्बाध रूप से लंबवत बढ़ सके।

ये प्रमुख स्थितियां अफ्रीका अपतटीय क्षेत्र में प्राय: पाई जाती हैं।

तूफान (हरिकेन) मेक्सिको की खाड़ी और कैरीबियाई क्षेत्र में भी बन सकते हैं, लेकिन जो अफ्रीका के पास से शुरू होते हैं, उनके आगे की तरफ हजारों मील गर्म पानी होता जिससे वे आगे बढ़ते समय ऊर्जा प्राप्त कर सकते हैं। ऊर्जा उन्हें शक्तिशाली तूफान में परिवर्तित करने में मदद कर सकती है।

वायु करंट अधिकतर उष्णकटिबंधी तूफानों को अफ्रीका से कैरीबियाई क्षेत्र, फ्लोरिडा और मेक्सिको की खाड़ी की तरफ पश्चिमी पथ पर अग्रसर करते हैं। कुछ मध्य अक्षांश में उत्तर की तरफ चले जाते हैं जहां मौजूद हवाएं पश्चिम से पूर्व की तरफ चली जाती हैं और उन्हें घुमाकर वापस अटलांटिक में ले जाती हैं।

अन्य का सामना ठंडे सागरीय तापमान से होता है जो उन्हें ईंधन या उस उच्च वायु अपरूपण से वंचित करता है जो उन्हें अलग-अलग करता है।

मौसम संबंधी समय भी तूफान के मार्गों को प्रभावित करता है

मौसम के शुरू में, जून और जुलाई में समुद्री सतह का तापमान गर्म रहता है और वायुमंडलीय वायु अपरूपण मुक्त अटलांटिक में धीरे से कम हो जाता है। मौसम के शुरू में आने वाले ज्यादातर तूफान कैरीबियाई क्षेत्र और मेक्सिको की खाड़ी में एक छोटे क्षेत्र में विकसित होते हैं जहां प्रमुख स्थितियां जल्द शुरू हो जाती हैं।

वे विशिष्ट रूप से भूमि के नजदीक बनते हैं, इसलिए तटवर्ती क्षेत्रों में रहनेवाले लोगों के पास तैयारी के लिए ज्यादा समय नहीं होता, लेकिन इन तूफानों में शक्ति हासिल करने के लिए आदर्श स्थितियां भी नहीं होतीं। टेक्सास, लुसियाना और मिसिसिप्पी तथा मध्य अमेरिका में मौसम के शुरू में तूफान आने की अधिक संभावना होती है क्योंकि पूर्वी हवाएं पूर्व से पश्चिम की ओर गति को अनुकूल बनाती हैं।

गर्मी में जब सतह जल को गर्मी मिलती है तो तूफान की तीव्रता और गंभीरता बढ़नी शुरू हो जाती है, खासकर अगस्त से अक्टूबर तक तूफानों के चरम मौसम के दौरान।

मौसम के अंत की तरफ, पूर्वी हवाएं पश्चिम से पूर्व की तरफ बढ़ना शुरू करती हैं, समुद्र के तापमान में गिरावट आने लगती है और ठंडे मोर्चे पश्चिमी खाड़ी से तूफान को दूर करने तथा उन्हें फ्लोरिडा पनहैंडल की तरफ धकेलने में मदद कर सकते हैं।

तूफान की भयावहता के मामले में समुद्र तल की सतह मायने रखती है

समुद्र की सतह का आकार इस संबंध में भी भूमिका निभा सकता है कि तूफान कितना विनाशकारी होगा। तूफान की शक्ति वर्तमान में पूरी तरह इसकी हवाओं की अधिकतम गति के आधार पर मापी जाती है। लेकिन तूफान समुद्र के पानी को भी एक से दूसरी जगह ले जाते हैं जिससे पानी में ऊंची लहरें उठती हैं जिसे तूफान से पहले इसकी हवाएं तट की तरफ ले जाती हैं।

तूफान से उठने वाली लहरें जानमाल के लिए सबसे बड़ा खतरा होती हैं और 1963 से 2012 के बीच सभी संबंधित प्रत्यक्ष मौतों में से लगभग 49 प्रतिशत मौतों के लिए ये जिम्मेदार हैं।

हरिकेन कटरीना (2005) इसका एक प्रमुख उदाहरण है, जब कटरीना न्यू ओर्लियंस से टकराया तो लगभग 1,500 लोगों की मौत हुई, जिनमें से अनेक की मौत तूफान से उठी लहरों और फिर इससे उत्पन्न बाढ़ जैसी स्थिति के कारण हुई।

तूफान कहां ज्यादा आते हैं

कुछ साल पहले, नेशनल ओशनिक एंड एटमसफेरिक एडमिनिस्ट्रेशन ने 1944 से 1999 तक आए उष्णकटिबंधी तूफानों के आधार पर अमेरिकी तटरेखाओं पर तूफानों की संभावना का विश्लेषण किया था।

इसने पाया कि न्यू ओर्लियंस में हर साल उष्णकटिबंधी तूफान आने की लगभग 40 प्रतिशत संभावना रहती है। मियामी और केप हैटेरस, नॉर्थ कैरोलिना, दोनों के लिए यह संभावना बढ़कर 48 प्रतिशत हो गई। हाल के वर्षों में कुछ विनाशकारी तूफानों का सामना कर चुके सैन जुआन, प्यूर्तो रिको के लिए यह संभावना 42 प्रतिशत पाई गई।

जलवायु परिवर्तन से बढ़ रहा है जोखिम

धरती का तापमान बढ़ने के साथ समुद्री सतह का तापमान बढ़ने से इन आम तूफान क्षेत्रों से परे और अधिक क्षेत्रों को अधिक उष्णकटिबंधी तूफानों का सामना करना पड़ सकता है।

नेशनल हरिकेन सेंटर ने 2021 को तूफानों के लिहाज से व्यस्त वर्ष बताया है, हालांकि ऐसी उम्मीद नहीं है कि यह 2020 जैसा रहेगा जब 30 नामित तूफान आए थे।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

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