ऑनलाइन ठगों ने प्रख्यात भारतीय महिला पत्रकारों को निशाना बनाया:न्यूयार्क टाइम्स

By भाषा | Updated: December 16, 2021 20:42 IST2021-12-16T20:42:23+5:302021-12-16T20:42:23+5:30

Eminent Indian women journalists targeted by online thugs: New York Times | ऑनलाइन ठगों ने प्रख्यात भारतीय महिला पत्रकारों को निशाना बनाया:न्यूयार्क टाइम्स

ऑनलाइन ठगों ने प्रख्यात भारतीय महिला पत्रकारों को निशाना बनाया:न्यूयार्क टाइम्स

न्यूयार्क,16 दिसंबर न्यूयार्क टाइम्स ने बृहस्पतिवार को अपनी एक खबर में कहा कि एनडीटीवी की पूर्व समाचार प्रस्तोता (एंकर) निधि राजदान सहित भारत में मीडिया की कई हस्तियों को ऑनलाइन ठगों ने हार्वर्ड में प्रतिष्ठित नौकरी देने का वादा कर निशाना बनाया है।

समाचार पत्र ने कहा है कि ठगों की पहचान एक रहस्य बनी हुयी है, लेकिन इन घटनाओं ने इस बारे में सवाल खड़े किये हैं कि अपने ब्रांड की मजबूती से रक्षा करने वाला एक प्रतिष्ठित विश्वविद्यालय होने के बावजूद हार्वर्ड ने इस धोखाधड़ी को रोकने के लिए कार्रवाई क्यों नहीं की, जबकि उसे स्पष्ट रूप से इस बारे में आगाह किया गया था।

ठगों ने अपना एक अन्य शिकार केंद्र में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी की प्रवक्ता निघत अब्बास को बनाया। जब ठगों ने उनसे पासपोर्ट का विवरण और अन्य निजी सूचना देने का आग्रह किया, तब उन्होंने ईमेल में शामिल किये गये हार्वर्ड के प्रशासकों में से एक से सीधे छानबीन की।

अंतरराष्ट्रीय मामलों के लिए हार्वर्ड के एक प्रशासक बेली पायने के कार्यालय ने जवाब देते हुए कहा कि अधिकारिक न्योता, जो हार्वर्ड डॉट एजु ईमेल पते से भेजा गया प्रतीत हो रहा है, फर्जी है।

समाचार पत्र ने कहा है कि पायने ने जब अब्बास से पूछा कि क्या वह और अधिक सूचना साझा करना चाहेंगी, अब्बास ने संयुक्त अरब अमीरात का एक फोन नंबर, ईमेल, फर्जी हार्वर्ड दस्तावेजों के स्क्रीन शॉट और होटल बुकिंग रिकार्ड भेजे। लेकिन यह स्पष्ट नहीं है कि हार्वर्ड ने क्या कार्रवाई की।

खबर में कहा गया है कि पायने ने टिप्पणी करने के लिए आग्रह किये जाने पर कोई जवाब नहीं दिया। हार्वर्ड के प्रवक्ता जैसन न्यूटन ने इस बारे में टिप्पणी करने से इनकार कर दिया कि विश्वविद्यालय ने अब्बास द्वारा उपलब्ध कराई गई सूचना पर क्या किया।

ठगों ने अपना पहला ज्ञात निशाना पत्रकार रोहिणी सिंह को बनाया था, जिन्हें मध्य अगस्त 2019 में खुद को तौसीफ अहमद बताने वाले एक व्यक्ति से ट्विटर पर संदेश मिला था। उन्हें अहमद ने एक उच्च स्तरीय मीडिया सम्मेलन में हिस्सा लेने के लिये न्योता दिया था।

समाचार पत्र ने बताया कि अगला निशाना पत्रकार जैनब सिकंदर को बनाया गया। उन्हें भी 22 अगस्त 2019 को अहमद से टि्वटर पर हार्वर्ड में एक उच्च स्तरीय मीडिया सम्मेलन में हिस्सा लेने के लिए संदेश मिला था।

अगला निशाना एक प्रमुख भारतीय प्रकाशन की एक अन्य महिला पत्रकार थी, जिन्होंने नाम का खुलासा नहीं करने की शर्त पर यह जानकारी दी।

नवंबर 2019 में हैकरों ने निधि राजदान से संपर्क साधा। उन्हें 14 नवंबर 2019 को एक छात्रा से हार्वर्ड मीडिया सेमिनार में हिस्सा लेने का न्योता मिला। इसके बाद ईमेल से उन्हें तौसीफ अहमद नाम के एक व्यक्ति से संपर्क कराया गया।

कोविड-19 महामारी शुरू होने से ठीक पहले राजदान से कहा गया कि उनके लिए हार्वर्ड में एक नौकरी है। उन्हें एक लंबा चौड़ा अनुबंध भेजा गया था।

अब्बास की तरह उन्होंने भी हार्वर्ड से पूरे प्रकरण की जांच करने का अनुरोध किया। उन्होंने कहा कि हार्वर्ड ने उन्हें कभी जवाब नहीं दिया।

राजदान ने इस संबंध में दिल्ली पुलिस में एक प्राथमिकी दर्ज कराई थी।

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Web Title: Eminent Indian women journalists targeted by online thugs: New York Times

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