Coronavirus America Breaking News: अमेरिका में अब तक 10,000 से अधिक लोगों की मौत, ट्रंप ने कहा- सोशल डिस्टेंसिंग बहुत जरूरी
By गुणातीत ओझा | Updated: April 7, 2020 05:25 IST2020-04-07T05:25:42+5:302020-04-07T05:25:42+5:30
कोरोना वायरस की शुरूआत होने के बाद से अमेरिका में 10,000 से अधिक लोग इस बीमारी की वजह से मौत का शिकार बन चुके हैं। जॉन्स हॉपकिन्स विश्वविद्यालय ने सोमवार को यह जानकारी दी। बाल्टीमोर में स्थित यह संस्थान दुनिया भर में कोरोना वायरस के संक्रमण के मामलों और इसकी वजह से होने वाली मौत के आंकड़े एकत्र कर रहा है।

कोरोना वायरस से अमेरिका में 10,000 से अधिक लोग मौत का शिकार बन चुके हैं।
वाशिंगटन। इस साल जनवरी के आखिर में कोरोना वायरस की शुरूआत होने के बाद से अमेरिका में 10,000 से अधिक लोग इस बीमारी की वजह से मौत का शिकार बन चुके हैं। जॉन्स हॉपकिन्स विश्वविद्यालय ने सोमवार को यह जानकारी दी। बाल्टीमोर में स्थित यह संस्थान दुनिया भर में कोरोना वायरस के संक्रमण के मामलों और इसकी वजह से होने वाली मौत के आंकड़े एकत्र कर रहा है। संस्थान का कहना है कि अमेरिका में अब तक कोविड-19 के संक्रमण के कम से कम 3,47,003 मामले हैं जबकि इससे 10,335 लोगों की जान जा चुकी है।
United States #Coronavirus deaths top 10,000: AFP news agency quoting Johns Hopkins tracker
— ANI (@ANI) April 6, 2020
अब तक 16 लाख जांच, ट्रंप ने कहा- सोशल डिस्टेंसिंग बहुत जरूरी
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि देश में कोरोना वायरस के लिए अब तक 16 लाख जांच की गई हैं। उन्होंने देशवासियों से सामाजिक दूरी बनाए रखने के लिए घरों के भीतर ही रहने की अपील की। ट्रंप ने रविवार को व्हाइट हाउस में प्रेस वार्ता के दौरान कहा, “अमेरिका में अब तक 16 लाख जांच की गई हैं जो किसी भी देश के मुकाबले सबसे ज्यादा हैं। लगभग पूरे देश के लिए बड़ी आपदा की घोषणा कर दी गई है और अमेरिका की 33 करोड़ जनसंख्या में से 95 प्रतिशत से अधिक लोग घरों के भीतर रहने के आदेश के तहत हैं।” ट्रंप ने कहा कि दुनिया भर से लाखों मास्क, दस्ताने, सुरक्षात्मक उपकरण और चिकित्सीय आपूर्ति देश में पहुंचाई गई हैं।
ट्रंप ने कहा, ‘‘यह वास्तव में पुरजोर सैन्य अभियान है जो हमने शुरू किया है और खासकर पिछले कुछ हफ्तों से। 50 राज्यों एवं क्षेत्रों में बड़ी आपदा की घोषणा करने की तैयारी है जो बहुत असामान्य है।” कोरोना वायरस से निपटने के लिए मलेरिया की दवाई हाइड्रोक्लोरोक्वीन के इस्तेमाल पर अपने जोर को दोहराते हुए ट्रंप ने कहा कि अमेरिका ने देश भर में बांटने के लिए करीब 2.9 करोड़ खुराक की खरीद की है। उधर मृतकों का आंकड़ा लगातार बढ़ने के साथ स्वास्थ्य अधिकारियों ने चेताया है कि आने वाला हफ्ता “पर्ल हार्बर जैसा क्षण” हो सकता है। इसे देखते हुए अमेरिकी गवर्नरों ने तेजी से फैल रहे कोरोना वायरस के खिलाफ राष्ट्रीय रणनीति बनाने की व्हाइट हाउस से अपील की है।
देश में वैश्विक महामारी संकट से उबरने के लिए नीति बना रहे वरिष्ठ वैज्ञानिक एंथनी फाउची ने बड़े खतरे को लेकर आगाह किया और कहा कि अमेरिकियों को “बुरे हफ्ते” के लिए तैयार रहना चाहिए। फाउची ने रविवार को सीबीएस से कहा, “मैं यह नहीं कहूंगा कि हमने इस पर काबू पा लिया है।” अमेरिकी सर्जन जनरल जेरोम एडम्स ने और सख्त लहजे में चेतावनी देते हुए फॉक्स न्यूज से कहा, “यह ज्यादातर अमेरिकियों की जिंदगी में सबसे मुश्किल और दुख भरा हफ्ता होने जा रहा है।’’ उन्होंने कहा, “यह हमारे लिए पर्ल हार्बर, 9/11 जैसा क्षण होने जा रहा है, बस फर्क इतना है कि यह सिर्फ हमारे यहां ही नहीं होगा।”
वहीं, अमेरिकी नौसैन्य कमांडर जिन्हें अपने कोरोना वायरस प्रभावित चालक दल के सदस्यों के लिए सार्वजनिक तौर पर मदद मांगने के चलते अपनी नौकरी गंवानी पड़ी थी, वह कोविड-19 की जांच में संक्रमित पाए गए हैं। कैप्टन ब्रेट क्रोजियर की कोविड-19 जांच के नतीजों की जानकारी रविवार को न्यूयॉर्क टाइम्स में प्रकाशित हुई थी। इससे कुछ ही घंटे पहले अमेरिकी रक्षा मंत्री मार्क एस्पर ने कैप्टन को नौकरी से निकाले जाने को सही ठहराया था। उनको नौकरी से हटाए जाने के फैसले की चौतरफा आलोचना हुई थी और इसे सम्मानित अधिकारी को दी गई अनुचित सजा करार दिया गया जो अपने क्रू की भलाई की बात कर रहे थे। गुआम में पोत खड़ा किया जाने के बाद उन्होंने अपने वरिष्ठों से पोत को जल्द खाली करने की इजाजत देने का अनुरोध किया था। क्रोजियर ने मीडिया में लीक हो गए पत्र में लिखा था, “हम युद्ध में नहीं हैं। नौसैनिकों का मरना जरूरी नहीं है।” लेकिन पेंटागन के कुछ वरिष्ठ अधिकारियों का कहना था कि उनकी प्रार्थना सार्वजनिक कर उन्होंने गलती की जिसकी सजा उन्हें मिली।