america donald trump: जॉर्डन में 2000000 फलस्तीनी शरणार्थी?, 1500000 और रखने की बात, शरणार्थियों को लेकर राष्ट्रपति ट्रंप प्रस्ताव को जॉर्डन ने किया विरोध
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: January 27, 2025 10:17 IST2025-01-27T10:16:46+5:302025-01-27T10:17:58+5:30
america donald trump: मिस्र और जॉर्डन के साथ-साथ फलस्तीनियों को भी यह चिंता है कि एक बार वे गाजा से चले गए तो इजराइल उन्हें कभी भी वहां लौटने की अनुमति नहीं देगा।

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america donald trump: अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा मिस्र और जॉर्डन पर गाजा से बड़ी संख्या में फलस्तीनी शरणार्थियों को शरण देने का दबाव बनाने का जॉर्डन की सरकार ने विरोध किया है। ट्रंप ने एयर फोर्स वन विमान में शनिवार को संवाददाताओं से कहा कि उन्होंने दिन में जॉर्डन के राजा अब्दुल्ला द्वितीय के साथ फोन पर अपने रुख को लेकर चर्चा की और वह रविवार को मिस्र के राष्ट्रपति अब्देल फतह अल सीसी के साथ बात करेंगे। ट्रंप ने कहा, “मैं चाहता हूं कि वे ज्यादा से ज्यादा लोगों को स्वीकार करें।
आप शायद 15 लाख लोगों की बात कर रहे हैं, लेकिन हम चाहते हैं कि पूरे इलाके को साफ किया जाए और हम कह सकें कि युद्ध खत्म हो गया है।” ट्रंप ने कहा कि वह चाहेंगे कि “मिस्र लोगों को ले जाए और मैं चाहूंगा कि जॉर्डन भी लोगों को ले जाए।” मिस्र और जॉर्डन के साथ-साथ फलस्तीनियों को भी यह चिंता है कि एक बार वे गाजा से चले गए तो इजराइल उन्हें कभी भी वहां लौटने की अनुमति नहीं देगा।
मिस्र और जॉर्डन दोनों ही देशों की अर्थव्यवस्थाएं लगातार संघर्षरत हैं। उनकी दोनों सरकारों और अन्य अरब देशों को डर है कि बड़ी संख्या में शरणार्थियों के आने से उनके अपने देश और क्षेत्र में भारी अस्थिरता पैदा हो सकती है। जॉर्डन में पहले से ही 20 लाख से अधिक फलस्तीनी शरणार्थी रह रहे हैं।
मिस्र ने गाजा की सीमा से सटे मिस्र के सिनाई प्रायद्वीप में बड़ी संख्या में फलस्तीनियों को स्थानांतरित करने के सुरक्षा निहितार्थों के बारे में चेतावनी दी है। ट्रंप ने शनिवार को कहा कि वह जॉर्डन, मिस्र और अन्य अरब देशों से अनुरोध करते हैं कि वे गाजा पट्टी से अधिक से अधिक संख्या में फलस्तीनी शरणार्थियों को स्वीकार करें, ताकि युद्धग्रस्त क्षेत्र से ज्यादा से ज्यादा लोगों को बाहर निकाला जा सके।
ट्रंप ने सुझाव दिया कि गाजा की 23 लाख की आबादी में से अधिकतर का पुनर्वास अस्थायी या दीर्घकालिक हो सकता है। जॉर्डन के विदेश मंत्री अयमान सफादी ने रविवार को कहा कि ट्रंप द्वारा प्रस्तावित विचार के प्रति उनके देश का विरोध दृढ़ और अटूट है। युद्ध की शुरुआत में इजराइल के कुछ अधिकारियों ने यह विचार उठाया था। अमेरिकी कांग्रेस में ट्रंप के एक सहयोगी ने भी उनके विचार पर हैरानी जताई है।