बसंत पंचमी: सरस्वती पूजा पर बनाएं ये 6 पीले प्रसाद, देवी खुशकर खोलेंगी सफलता के मार्ग
By गुलनीत कौर | Published: February 8, 2019 03:54 PM2019-02-08T15:54:35+5:302019-02-08T15:54:35+5:30
मां सरस्वती को पीला रंग प्रिय है इसलिए इसदिन लोग पीले वस्त्र पहनते हैं और पीली चीजों का ही दान भी करते हैं। देवी की पूजा के भोग के लिए भी पीली मिठाईयां, पकवान आदि बनाए जाते हैं। सरस्वती पूजा में पीले मीठे चावल बनाने की परंपरा है।
10 फरवरी को देशभर में बसंत पंचमी का त्योहार मनाया जाएगा। यह त्योहार स्कूलों में भी धूमधाम से मनाया जाता है। चूंकि यह दिन मां सरस्वती के आगमन दिवस की खुशी में मनाते हैं और देवी ज्ञान की देवी हैं, इसलिए स्कूलों में इसदिन कई कार्यक्रम किए जाते हैं। हिन्दू कैलेंडर के मुताबिक माघ शुक्ल पंचमी को मां सरस्वती का जन्म हुआ था।
हिन्दू धर्म में ऐसी मान्यता है कि मां सरस्वती को पीला रंग प्रिय है इसलिए इसदिन लोग पीले वस्त्र पहनते हैं और पीली चीजों का ही दान भी करते हैं। देवी की पूजा के भोग के लिए भी पीली मिठाईयां, पकवान आदि बनाए जाते हैं। सरस्वती पूजा में पीले मीठे चावल बनाने की परंपरा है। लेकिन इसके अलावा आप और क्या क्या प्रसाद रूप में बना सकते हैं, आइए आपको बताते हैं:
1) बेसन के लड्डू
बेसन के लड्डू उत्तर भारत की एक सदाबहार और बहुत ही लोकप्रिय मिठाई है। बेसन के लड्डू बनाना बहुत आसान है। इसे बनाने के लिए बेसन को देशी घी में भूना जाता है। चूकी मां सरस्वती को पीला रंग प्रिय है, इसलिए बसंत पंचमी के दिन आपको सभी पूजा पंडालों में बेसन के लड्डू जरूर दिखेंगे।
2) मूँग की दाल का हलवा
मूँग की दाल का हलवा बहुत ही पारंपरिक मिठाई है। जाड़े के मौसम में भारत में तीज त्यौहार, शादियों आदि में मूँग दाल हलवा बहुत चाव से बनता है। यह हलवा स्वादिष्ट होता है और यह जल्दी भी बन जाता है।
3) रवा केसरी/केसरिया सूजी का हलवा
रवा केसरी सूजी का केसरिया हलवा है। सूजी के हलवे को भारत के अलग अलग प्रांतों में अलग अलग तरीके से बनाया जाता है । जैसे कि उत्तर भारत में जहां हम सूजी को एकदम लाल होने तक भूनते हैं और हलवा भी लाल ही होता है वहीं गुजरात में हल्की सूजी भूनकर इसे दूध में पकाकर हलवा बनाया जाता है। दक्षिण भारत में रवा केसरी बनाने का चलन है। पारम्परिक रूप से बनायें तो इस हलवे में काफी घी होता है।
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4) केसरिया मीठे चावल
मीठे चावल, पारंपरिक भारतीय मिठाई है जो कि खासतौर पर मां सरस्वती की पूजा के लिए बनाए जाते हैं। खोए/ मावा, शक्कर, सूखे मेवे, और केसर की भीनी-भीनी खुशबू लिए यह चावल बहुत स्वादिष्ट होते हैं। इनको केसरिया चावल भी कहते हैं। मीठे चावल को बनाने की कई विधियां हैं।
5) शाही फिरनी
फिरनी को मोटे पिसे चावल को दूध में पकाकर बनाया जाता है। फिरनी काफी कुछ खीर के जैसे ही होती है लेकिन यह बहुत ही कम समय में बन जाती है। फिरनी में बादाम और पिस्ता के साथ केसर की खुश्बू और इलायची का स्वाद भी होता है।
6) मकई का हलवा
मकई का हलवा गुजरात और राजस्थान की खासियत है। गुजराती-राजस्थानी थाली में अक्सर भुट्टे का हलवा परोसा जाता है जो खाने में बहुत स्वादिष्ट होता है। आप भी इस बसंत पंचमी बनाइये मकई का हलवा।