जम्मू-कश्मीर के अलगाववादी नेता यासीन मलिक की मुश्किलें बढ़ने वाली है। इंडियन एयरफोर्स के चार जवानों के हत्या के आरोप में जम्मू में 1 अक्टूबर से टाडा कोर्ट में यासिन मलिक के खिलाफ सुनवाई शुरू होगी।
25 जनवरी 1990 को श्रीनगर में यासीन मलिक पर चार जवानों के हत्या के मामले में केस दर्ज हुआ था।
जम्मू-कश्मीर में आर्टिकल 370 के प्रावधानों को हटाए जाने के बाद से ही मलिक हिरासत में हैं।
जम्मू कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (जेकेएलएफ) के प्रमुख पर 1989 में तत्कालीन गृह मंत्री मुफ्ती मोहम्मद सईद की बेटी रूबैया सईद को अगवा करने तथा 1990 में भारतीय वायु सेना के चार कर्मियों को मार डालने के मामले में कथित संलिप्तता का आरोप है।
जेकेएलएफ पर गैर कानूनी गतिविधि (रोकथाम) कानून के तहत प्रतिबंध लगा दिया गया है।
इसी साल अप्रैल महीने में यासीन मलिक को जम्मू कश्मीर में अलगाववादियों और आतंकी समूहों के वित्त पोषण संबंधी एक मामले में गिरफ्तार किया गया था।