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सर्दी में खांसी और जुकाम से हैं परेशान तो अपनाए ये देसी उपाय झट-पट मिलेगी राहत

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: December 11, 2018 07:03 IST

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सर्दियों के इस मौसम में तापमान में गिरावट होने से और शुष्क हवा के कारण इन्फेक्शन फैलने का अधिक खतरा होता है। दूसरा, ठंड के मौसम में इम्युनिटी सिस्टम भी कमजोर हो जाता है जिससे सर्दी-खांसी, जुकाम, फ्लू, खांसी, बुखार, गले की खराश, बंद नाक, टॉन्सिल्स जैसी बीमारियों का खतरा भी ज्यादा होता है। इन रोगों से छुटकारा पाने के लिए आपको हर बार गोलियां लेने की जरूरत नहीं है। आप कुछ घरेलू उपचार के जरिए भी इनसे राहत पा सकते हैं। इनके लिए आप नमक का इस्तेमाल कर सकते हैं। सर्दियों में रोजाना रात को सोने से पहले नमक के पानी के गरारे करने से आपको पूरी सर्दियां इन समस्याओं से बचने में मदद मिल सकती है।
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1) दांत के कीड़ों और मुंह के छालों का होगा सफाया: अगर दांतों में या मसूड़ों में दर्द हो, सूजन हो, कीड़े हो गए हों या किसी भी तरह का इन्फेक्शन हो तो नमक और निवाये पानी से कुल्ले करने से दर्द और सूजन से तुरंत राहत मिलती है। इस तरह के पानी से कुल्ले करने से मुंह के छालों, जीभ का लाल होना, मुंह में ज़्यादा पानी, थूक आना व मुंह की कई अन्य समस्याओं से भी राहत मिलती है।
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2) दांत और मसूड़ों की सफाई: नमक और ग्राम पानी से गरारे करने से गले में मौजूद गंदगी पूरी तरह साफ़ हो जाती है। इस तरह के पानी से कुल्ले करने से मुंह की भी पूरी तरह से सफाई हो जाती है। यह एक तरह से माउथ वाश का काम करता है।
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3) सर्दी-जुकाम, खराश का सफाया: अगर गले में सर्दी-जुकाम, खराश, या किसी भी अन्य कारण से दर्द हो रहा हो, तो नमक और पानी से गरारे करने पर गले के दर्द में राहत मिलती है। इससे गले के अंदर सूजे हुए टिशूज़ की सिकाई हो जाती है और बैक्टीरिया भी नष्ट होते हैं।
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4) टॉन्सिल्स की समस्या होने पर: टोन्सिल हमारे शरीर में पहले से ही मौजूद होता है, यह हमारे जीभ के पीछे की भाग से सटा हुआ होता है। यह हमारे गले में जहा पर नाक का छिद्र तथा मुख का छिद्र मिलता है, ठीक वही पर जीभ के पिछले भाग से जुडा हुआ स्थित पाया जाता है। अगर किसी कारण वास इसमें संक्रमण हो जाये या इसमें सुजन आ जाये तो इससे काफी दर्द होता है। इससे राहत पाने के लिए आपको रोजाना सुबह शाम गर्म पानी से कुल्ले करने चाहिए।
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5) मुंह का प्राकृतिक पीएच बैलेंस: कई बार डॉक्टर्स भी ऐसा करने की सलाह देते हैं क्योंकि नमक के पानी से गरारे करने से मुंह के नैचुरल पीएच को बैलेंस रखने में मदद मिलती है। बैक्टीरिया के कारण डिस्टर्ब हो चुका मुंह का प्राकृतिक पीएच बैलेंस इस तरह के पानी से गरारे और कुल्ले करने से मेन्टेन होता है।
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6) गले और मुंह के पास अंगों में ब्लड सर्कुलेशन: गले, मुँह, और आसपास के अंगों में ब्लड सर्कुलेशन बढ़ाने के लिए भी नमक और निवाये पानी से कुल्ले करना असरदार है। कई बार नाक, गले के इन्फेक्शन से सर-दर्द भी हो जाता है, जो ऐसे पानी से गरारे करने से दूर होता है।
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7) बंद नाक से मिलेगी तुरंत राहत: अगर सर्दी हो, नाक बंद हो, मतलब किसी भी तरह का नैजल कंजेशन हो तो नमक और निवाये पानी से बार-बार गरारे करने पर राहत मिलती है और नाक खुल जाती है| अगर साईनस से संबंधित परेशानियाँ हों, तो भी इस तरह से गरारे करना बेहद लाभदायक है।
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8) बुखार के लिए फायदेमंद: नियमित रूप से नमक के पाने के गरारे करने से बुखार के लक्षणों को भी कम करने में मदद मिलती है। इसके अलावा नमक वाले पानी में कपड़ा भिगोकर माथे पर रखने से बुखार कम होता है।
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