आस्ट्रेलिया में भारत के लिये पदार्पण की उम्मीद नहीं थी, पहले मैच में दबाव में था: नटराजन

By भाषा | Updated: January 24, 2021 19:23 IST2021-01-24T19:23:23+5:302021-01-24T19:23:23+5:30

India were not expected to make their debut in Australia, under pressure in first match: Natarajan | आस्ट्रेलिया में भारत के लिये पदार्पण की उम्मीद नहीं थी, पहले मैच में दबाव में था: नटराजन

आस्ट्रेलिया में भारत के लिये पदार्पण की उम्मीद नहीं थी, पहले मैच में दबाव में था: नटराजन

चेन्नई, 24 जनवरी बतौर नेट गेंदबाज आस्ट्रेलिया गये तेज गेंदबाज थांगरासू नटराजन ने इस दौरे पर सभी तीनों प्रारूपों में पदार्पण करके इतिहास बना दिया और रविवार को उन्होंने कहा कि उन्हें एक प्रारूप में भी मौका मिलने की उम्मीद नहीं थी जिससे भारत के लिये पहला मैच खेलते समय वह दबाव में थे।

जब नटराजन को ब्रिसबेन में आस्ट्रेलिया के खिलाफ चौथे और अंतिम टेस्ट के लिये चुना गया तो वह एक ही दौरे पर सभी (तीनों) प्रारूपों में टीम के लिये पदार्पण करने वाले भारत के एकमात्र खिलाड़ी बन गये।

नटराजन ने सलेम जिले में चिन्नाप्पामपट्टी में पत्रकारों से कहा, ‘‘मैं अपना काम करने के लिये प्रतिबद्ध था। लेकिन मुझे वनडे में मौका मिलने की उम्मीद नहीं थी। मैं आस्ट्रेलिया में पदार्पण की उम्मीद नहीं कर रहा था। ’’

उन्होंने कहा, ‘‘ जब मुझे बताया गया कि मैं इसमें खेलूंगा तो मैं दबाव में था। मैं मौके का फायदा उठाना चाहता था। खेलना और एक विकेट लेना सपने की तरह था। ’’

नटराजन ने श्रृंखला के निर्णायक टेस्ट में तीन विकेट चटकाये और भारत की शानदार जीत का हिस्सा बने।

नटराजन ने तमिल में कहा, ‘‘भारत के लिये खेलने के बाद मैं अपनी खुशी को शब्दों में बयां नहीं कर सकता। यह सपने की तरह था। मुझे कोचों और खिलाड़ियों से भी काफी सहयोग मिला। उन्होंने मेरा समर्थन किया और मुझे काफी प्रोत्साहित किया। मैं उनके समर्थन की वजह से अच्छा करने में सफल रहा। ’’

नटराजन ने यह भी कहा कि उन्हें विराट कोहली और अजिंक्य रहाणे की कप्तानी में खेलना काफी अच्छा लगा क्योंकि उन्होंने काफी प्रोत्साहित और सहयोग किया।

उन्होंने कहा, ‘‘विराट कोहली और अजिंक्य रहाणे ने मुझे अच्छी तरह से संभाला। उन्होंने मुझे काफी सकारात्मक चीजें कहीं और मुझे प्रेरित किया। मुझे दोनों की कप्तानी में खेलना अच्छा लगा। ’’

उन्होंने तीन मैचों की श्रृंखला के तीसरे और अंतिम मैच में वनडे पदार्पण किया और दो विकेट चटकाये जिसमें मार्नस लाबुशेन उनका पहला अंतरराष्ट्रीय विकट थे।

नटराजन ने कहा कि वह तब भावुक हो गये थे जब कोहली ने टी20 श्रृंखला जीतने के बाद ट्राफी उन्हें दी थी। 29 साल के खिलाड़ी ने कहा, ‘‘जब कोहली ने टी20 श्रृंखला जीतने के बाद ट्राफी मुझे दी तो मेरी आंखे डबडबा गयीं। ’’

अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ियों के साथ ड्रेसिंग रूम साझा करने के बारे में नटराजन ने कहा कि यह शुरू में मुश्किल था लेकिन बाद में वह उनसे कई चीजें सीखने में सफल रहे।

बायें हाथ के तेज गेंदबाज ने कहा, ‘‘कई भारतीय और विदेशी खिलाड़ियों के साथ आईपीएल में खेलने से मदद मिली क्योंकि वो अनुभव उपयोगी था। मैं उनके साथ बात कर सकता था और उनसे सीख सकता था। पहले यह मुश्किल था, लेकिन बाद में यह ठीक हो गया। मैं उनसे कई चीजें सीखने में सफल रहा।

Disclaimer: लोकमत हिन्दी ने इस ख़बर को संपादित नहीं किया है। यह ख़बर पीटीआई-भाषा की फीड से प्रकाशित की गयी है।

Web Title: India were not expected to make their debut in Australia, under pressure in first match: Natarajan

अन्य खेल से जुड़ीहिंदी खबरोंऔर देश दुनिया खबरोंके लिए यहाँ क्लिक करे.यूट्यूब चैनल यहाँ इब करें और देखें हमारा एक्सक्लूसिव वीडियो कंटेंट. सोशल से जुड़ने के लिए हमारा Facebook Pageलाइक करे