पहले फाइनल में जगह बनाने की कोशिश होती थी, मौजूदा निशानेबाज पदक के बारे में सोचते है: नारंग

By भाषा | Updated: July 18, 2021 18:51 IST2021-07-18T18:51:14+5:302021-07-18T18:51:14+5:30

Earlier there was an attempt to make the final, current shooters think about medals: Narang | पहले फाइनल में जगह बनाने की कोशिश होती थी, मौजूदा निशानेबाज पदक के बारे में सोचते है: नारंग

पहले फाइनल में जगह बनाने की कोशिश होती थी, मौजूदा निशानेबाज पदक के बारे में सोचते है: नारंग

... अभिषेक होरे...

नयी दिल्ली, 18 जुलाई  ओलंपिक पदक विजेता गगन नारंग का मानना है कि रियो खेलों (2016) में निराशाजनक प्रदर्शन के पांच साल बाद भारतीय निशानेबाजों का ‘मजबूत’ दल तोक्यो खेलों में सफलता हासिल करने के लिए तैयार है, बशर्ते उनका ध्यान ना भटके।

लंदन ओलंपिक (2012) में कांस्य पदक जीतने वाले इस राइफल निशानेबाज ने कहा कि पदक के लिए थोड़ी किस्मत की भी जरूरत होगी।

नारंग ने पीटीआई-भाषा से कहा, ‘‘ हमारे समय में, शुरुआती दिनों में, हम फाइनल में जगह बनाने के बारे में सोचते थे, फिर अगले मुकाबले पर ध्यान लगाते थे। यह टीम हालांकि पदक जीतने की सोच रही है। यह एक मजबूत टीम है और मुझे अपने निशानेबाजों से अच्छे प्रदर्शन की उम्मीद है।’’

निशानेबाज से मेंटोर बने इस पूर्व खिलाड़ी ने कहा कि मौजूदा निशानेबाजों की सोच में बदलाव आया है। उन्होंने कहा, ‘‘ उनमें से अधिकांश को अंतरराष्ट्रीय निशानेबाजी खेल महासंघ (आईएसएसएफ) विश्व कप सहित विभिन्न टूर्नामेंट में भाग लेने और जीत दर्ज करने का अनुभव हैं।’’

आईएसएसएफ विश्व कप में कई स्वर्ण पदकों के विजेता ने भारतीय निशानेबाजों को एकाग्रता बनाए रखने पर जोर दिया और कहा कि वास्तविकता यह है कि ओलंपिक एक खिलाड़ी के करियर की सबसे कठिन चुनौती है ।

नारंग अपनी सबसे सफल शिष्य इलावेनिल वालारिवान को वीडियो कॉल और संदेशों के जरिए नियमित तौर पर सुझाव देते है। गुजरात की 21 साल की यह निशानेबाज 10 मीटर एयर राइफल में देश का प्रतिनिधित्व करेगी।

इस चैम्पियन निशानेबाज ने कहा, ‘‘ हां, हम वीडियो कॉल के माध्यम से संपर्क में हैं और मैं इला (इलावेनिल) से खेलों की तैयारियों और अन्य सभी महत्वपूर्ण पहलुओं के बारे में बात कर रहा हूं।’’

  ओलंपिक खेल 23 जुलाई से शुरू होकर आठ अगस्त को समाप्त होंगे। निशानेबाजी की स्पर्धाएं उद्घाटन समारोह के अगले दिन से शुरू हो जाएंगी और 10 दिन तक चलेंगी।

कोविड-19 महामारी के कारण इन खेलों का आयोजन दर्शकों के बिना होगा।

उन्होंने कहा कि इलावेनिल ने 14 जुलाई को उनकी देख-रेख में अभ्यास के सात साल पूरे कर लिये और छह दिनों के बाद ओलंपिक में उसे पोडियम (पदक विजेता) पर देखना उनके लिए सबसे बड़ी खुशी होगी।

वह दिसंबर 2019 से अपने पसंदीदा आयोजन में दुनिया की नंबर एक निशानेबाज रही हैं। महामारी के कारण हालांकि तब से कई प्रतियोगिताओं का आयोजन नहीं हो सका।

महज 12 साल की उम्र में इस खेल से जुड़ने वाली इलावेनिल ने राष्ट्रीय स्तर पर अपना पहला स्वर्ण पदक 13 साल की उम्र में हासिल किया था।

नारंग से प्रशिक्षण लेने के बाद उन्होंने सुहल और सिडनी में आईएसएसएफ जूनियर विश्व कप में स्वर्ण पदक जीते। उन्होने 2019 में सीनियर निशानेबाजी में पुतिन और रियो डी जनेरियो आईएसएसएफ विश्व कप में स्वर्ण पदक जीत कर अपना परचम लहराया था।

  तोक्यो खेलों में भारत के इस बार रिकार्ड 15 निशानेबाज शिरकत करेंगे। भारतीय टीम में आठ राइफल, पांच पिस्टल और दो स्कीट निशानेबाज हैं।

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