पटनाः बिहार में जनता दरबार में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आज उस वक्त आगबबूला हो गए, जब उनके सामने दर्जनों ऐसी शिकायतें आईं, जिसमें प्रशासन की खामियां थीं. यही नहीं अधिकारियों के मनमानेपन की भी बातों से उन्हें रूबरू होना पड़ा.
भूमि विवाद और अधिकारों की लापरवाही का मामला सुनकर मुख्यमंत्री दंग रह गये. अधिकांश मामले स्थानीय थाना और अंचल के सामने आये. इस दौरान लोक शिकायत निवारण अधिनियम की भी पोल खुल गई. लोक शिकायत में निर्णय आने के बाद आदेश का पालन अधिकारी नहीं कर रहे हैं.
मुख्यमंत्री के जनता दरबार में दर्जनों ऐसे मामले आये, जिसमें लोक शिकायत अधिनियम में फैसला आने के बाद भी अंचलाधिकारियों ने उस आदेश का पालन नहीं किया. शिकायत मिलने के बाद मुख्यमंत्री हरकत में आये और मुख्य सचिव को कहा कि देखिए यह क्या हो रहा है? वहीं भूदान की जमीन को लेकर भी मुख्यमंत्री अचानक चिंतित दिखे.
जनता दरबार में मौजूद मुख्य सचिव को मुख्यमंत्री ने तुरंत तलब किया. उन्होंने कहा कि ये चीफ सेक्रेट्री साहब सुनिये इधर...... इसके बाद मुख्य सचिव तुरंत हाजिर हुए. लगातार शिकायत मिलने के बाद मुख्यमंत्री भी अचंभित हो गये. उन्होंने कहा कि हाल ही में मीटिंग हुई तब तो इस तरह के मामले नहीं आये. अब हमने जनता दरबार शुरू किया तो इस बात की जानकारी मिल रही कि अंचल अधिकारी व अन्य अधिकारी आदेश का पालन नहीं कर रहे हैं.
उन्होंने तत्काल मुख्य सचिव से लेकर आमिर सुबहानी तक जैसे वरिष्ठ अधिकारियों को एक लाइन से खड़ा कर सुना दिया कि आखिरकार किस तरीके से प्रशासन के लोग काम कर रहे हैं? मुख्यमंत्री ने कहा कि भूदान की जमीन को लेकर 2018 में ही पूर्व मुख्य सचिव की अध्यक्षता में एक कमिटी का गठन किया गया था. लेकिन आज तक उसकी रिपोर्ट नहीं आई.
कमिटी ने अब तक क्या किया, कितना काम हुआ इसकी समीक्षा करिये. क्योंकि काफी पहले ही भूदान की जमीन को लेकर कमेटी बनाई गई और कोई रिपोर्ट नहीं आई. मुख्यमंत्री ने मुख्य सचिव और अपने प्रधान सचिव को इस मामले को देखने को कहा. यह तो काफी चिंता विषय है. आप लोग इस मामले को देखिए. हम भी इस मामले को एक दिन देखेंगे.
मुजफ्फरपुर से आये इस शख्स की बात सुन कर मुख्यमंत्री गुस्से में आ गये. तुरंत राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग के अपर मुख्य सचिव को फोन लगाया और कहा कि तुरंत इसको दिखवाइए. युवक कह रहा कि जनता दरबार जाने की बात कहने पर वहां का अधिकारी कहता है कि प्रधानमंत्री के यहां जाओ.
यह कह रहा कि बिना पैसे का कुछ नहीं होता. इसकी जांच करवाइए और कार्रवाई करिए. दरअसल, उस युवक मुख्यमंत्री से शिकायत किया कि उनकी जमीन पर कब्जा कर लिया गया है. इसको लेकर हम हर जगह गये लेकिन न्याय नहीं मिला. थाना वाला मिला हुआ है. शख्स ने कहा कि हम कहां जायें आप ही बताइए..? कहीं कोई सुनवाई नहीं हो रही. यह कहकर युवक फुट-फुट कर रोने लगा.