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बसपा यूपी में कानून का राज कायम करेगी, पूर्व सीएम मायावती बोलीं-वर्ष 2007 की तरह पूर्ण बहुमत की सरकार बनाने के लिए कर रहे संघर्ष

By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: February 17, 2022 20:56 IST

UP Election 2022: स्थानीय लोगों को नौकरी के लिए दूसरे स्थानों पर पलायन करना पड़ता था और जब 2007 में बसपा सत्ता में आई तो उसने यहां से डकैतों का सफाया कर दिया।

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ठळक मुद्देसपा सरकार के शासनकाल में एक जाति विशेष के विकास के लिए ही काम किया जाता था। प्रदेश में धर्म के आधार पर नफरत की भावना और तनाव का माहौल पैदा हुआ है। बसपा अध्यक्ष ने कहा कि सभी समुदायों के महापुरुषों को बसपा की सरकार ने हमेशा सम्मान दिया।

UP Election 2022: बहुजन समाज पार्टी (बसपा) अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने बृहस्पतिवार को विपक्षी दलों पर 'विकास विरोधी' होने का आरोप लगाते हुए कहा कि सत्ता में आने पर उनकी सरकार प्रदेश में कानून का राज कायम करेगी और प्रदेश से युवाओं का पलायन रोकेगी।

मायावती ने यहां एक चुनावी रैली को संबोधित करते हुए कहा "हम वर्ष 2007 की तरह पूर्ण बहुमत की सरकार बनाने के लिए संघर्ष कर रहे हैं ताकि लोगों को भाजपा के जातिवादी संकीर्ण मानसिकता वाले अहंकार पूर्ण और तानाशाही भरे शासन से मुक्ति मिल सके।" बसपा अध्यक्ष ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि यह पार्टी दलितों और पिछड़ों की विरोधी है।

जब कांग्रेस सत्ता में होती है तो वह महिलाओं, दलितों और पिछड़ों के लिए कोई भी काम करना भूल जाती है। उन्होंने जोर देकर कहा कि बांदा और चित्रकूट में डकैतों का राज हुआ करता था जिसकी वजह से स्थानीय लोगों को नौकरी के लिए दूसरे स्थानों पर पलायन करना पड़ता था और जब 2007 में बसपा सत्ता में आई तो उसने यहां से डकैतों का सफाया कर दिया।

उन्होंने भाजपा के साथ-साथ सपा को भी सत्ता से दूर रखने की अपील करते हुए कहा कि पिछली सपा सरकार के शासनकाल में एक जाति विशेष के विकास के लिए ही काम किया जाता था लेकिन बसपा ने समाज के हर वर्ग के कल्याण के लिए काम किया। उसके बाद जब सपा और भाजपा सत्ता में आई तो उन्होंने बसपा के किए गए कार्यों को पलट दिया।

बसपा अध्यक्ष ने कहा कि सभी समुदायों के महापुरुषों को बसपा की सरकार ने हमेशा सम्मान दिया और सत्ता में एक बार फिर आने पर उन्हें समुचित सम्मान देना जारी रखा जाएगा। मायावती ने आरोप लगाया कि भाजपा की नीतियां जातिवाद और पूंजीवाद को बढ़ावा देने तथा राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संकीर्ण विचारों को आगे बढ़ाने पर केंद्रित हैं और इसकी वजह से प्रदेश में धर्म के आधार पर नफरत की भावना और तनाव का माहौल पैदा हुआ है। 

टॅग्स :उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावविधानसभा चुनाव 2022मायावतीबीएसपीसमाजवादी पार्टीकांग्रेसBJP
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