कांग्रेस की मध्य प्रदेश इकाई के अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने शनिवार को कहा कि टीकों का पर्याप्त भंडार न होने के वाबजूद केन्द्र सरकार द्वारा एक मई से 18 वर्ष से 44 वर्ष के उम्र वाले लोगों को कोरोना वायरस का टीका लगाने के तीसरे चरण की घोषणा करना जनता के साथ बड़ा धोखा एवं चुनावी जुमला साबित हुआ है और उच्चतम न्यायालय को इसमें संज्ञान लेना चाहिये।
कमलनाथ ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली भाजपा नीत सरकार पर तंज कसते हुए ट्वीट किया, ‘‘एक मई से 18 वर्ष से अधिक उम्र वाले लोगों को कोरोना वायरस टीका लगाने के तीसरे चरण की घोषणा बनी जनता के साथ बड़ा धोखा एवं चुनावी जुमला। 19 अप्रैल को मोदी सरकार द्वारा की गई घोषणा 28 अप्रैल से पंजीयन शुरू करने की की गयी बात , 29 अप्रैल को पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश में मतदान का अंतिम चरण था।’’
उन्होंने लिखा, ‘‘अंतिम चरण का चुनाव समाप्त होते ही टीके के तीसरे चरण की घोषणा की असलियत सामने आई। देश भर में टीके का भारी टोटा, 2.5 करोड़ से अधिक लोगों ने रजिस्ट्रेशन कराये लेकिन टीकों का ही पता नहीं, कब आयेगी, कब लगेगी, कुछ पता नहीं।’’कमलनाथ ने कहा, ‘‘कई राज्यों ने टीके नहीं होने के कारण अपना टीकाकरण कार्यक्रम टाल दिया। मतदान के अंतिम चरण में युवाओं को लुभाने के लिए की गयी यह झूठी घोषणा, यह घोषणा सिर्फ चुनावी जुमला और जनता के साथ बड़ा धोखा साबित हुई।’’
उन्होंने कहा, ‘‘कोराना वायरस की इस भीषण महामारी में भी भाजपा सरकार ने जनता को सिर्फ़ अपने चुनावी फायदे के लिये टीके के नाम पर जुमलों एवं झूठे वादों से ठगने का काम किया। अभी भी झूठ बोलने से बाज नहीं आ रहे हैं (भाजपा के नेता)। अभी भी सिर्फ चिंता चुनाव जीतने की, जनता से नहीं कोई सरोकार।’’उनके बयान पर प्रदेश भाजपा के मंत्री राहुल कोठारी ने कमलनाथ के इस आरोप को गलत बताते हुए कहा कि एक मई से 18 वर्ष से 44 वर्ष के उम्र वाले लोगों को कोरोना टीका लगाने के तीसरे चरण की घोषणा चुनावी घोषणा नहीं थी।
उन्होंने सवाल करते हुए कहा, ‘‘ऐसा लगता है कि कमलनाथ हर चीज को राजनीति के नजरों से देखते हैं। केन्द्र सरकार पहले भी इस टीकाकरण के बारे में घोषणा कर सकती थी। अंतिम चरण के मतदान तक इंतजार करने की क्या जरूरत थी?’’कोठारी ने बताया कई राज्यों ने 18 वर्ष से ऊपर वाले लोगों के लिए एक मई से टीकाकरण शुरू भी कर दिया है और अन्य राज्य भी जल्द इसे शुरू कर देंगे।